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Monkey Fever ने बढ़ाई लोगों की चिंता, जानें इसके लक्षण और बचाव

Monkey Fever : कर्नाटक में एक बार फिर से मंकी फीवर के मामले तेजी से बढ़ते हुए दिखाई दे रहे हैं। यह जानवरों से इंसान में होने वाला एक संक्रमण है।

Richa Vishwadeepak Tiwari
Published on: 6 Feb 2024 8:45 AM GMT (Updated on: 6 Feb 2024 8:46 AM GMT)
Monkey Fever
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Monkey Fever (Photos - Social Media)

Monkey Fever : कर्नाटक के उत्तर कन्नड़ जिले में मंकी फीवर इन दिनों नागरिकों की चिंता बढ़ती हुई नजर आ रही है। अब तक यहां पर मंकी फीवर के 31 मामले सामने आए हैं जिनमें से 12 मरीजों को अलग-अलग अस्पताल में भर्ती करवाया गया है। कुछ लोगों का तो घर पर ही इलाज चल रहा है। अब तक जो जानकारी सामने आई है उसके मुताबिक इस फीवर से ग्रस्त सभी मरीजों की हालत सामान्य बनी हुई है। चलिए आपको बताते हैं कि मंकी फीवर क्या होता है इसके लक्षण किस तरह के दिखाई देते हैं। इससे कैसे बचा जा सकता है।

क्या है मंकी फीवर

सबसे पहले तो बता दें कि मंकी फीवर एक वायरस है। जो क्यानूर फॉरेस्ट डिजीज के नाम से भी पहचाना जाता है। यह बंदरों से इंसानों में फैलने वाली बीमारी है। जब इंसान संक्रमित जानवर के संपर्क में आता है तो इस रोग का शिकार हो जाता है। पहली बार इस बुखार की पहचान 1957 में हुई थी। आमतौर पर इसे मंकी फीवर कहकर बुलाया जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इस कारण से कई बंदरों की मौत हो गई थी।

Monkey fever causes


क्या है लक्षण

इस बीमारी के लक्षणों की बात करें तो व्यक्ति को तेज बुखार आता है। ठंड लगती है, मांसपेशियों में दर्द महसूस होता है। सर दर्द होने लगता है। उल्टी आती है। प्लेटलेट्स गिर जाते हैं। रक्तस्राव की समस्या होने लगती है और आंखों में दर्द तथा सूजन आती है।

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कैसे करें बचाव

इस बीमारी से खुद को सुरक्षित रखने का एकमात्र विकल्प इसका टिका है। इसकी 1 महीने में दो डोज लगाई जाती है। जो लोग जंगलों में या उसके आसपास रहते हैं। उन्हें इस संक्रमण के होने का खतरा ज्यादा रहता है क्योंकि यह वायरस ज्यादातर वन क्षेत्र में पाया जाता है। इससे बचने के लिए जरूरी है कि जानवरों के संपर्क में आने से परहेज किया जाए और साफ सफाई का विशेष ध्यान रखा जाए। स्वच्छता इस बीमारी से बचने का सबसे अच्छा तरीका है।

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Richa Vishwadeepak Tiwari

Richa Vishwadeepak Tiwari

Content Writer

मैं रिचा विश्वदीपक तिवारी पिछले 12 सालों से मीडिया के क्षेत्र में सक्रिय हूं। 2011 से मैंने इस क्षेत्र में काम की शुरुआत की और विभिन्न न्यूज चैनल के साथ काम करने के अलावा मैंने पीआर और सेलिब्रिटी मैनेजमेंट का काम भी किया है। साल 2019 से मैंने जर्नलिस्ट के तौर पर अपने सफर को शुरू किया। इतने सालों में मैंने डायमंड पब्लिकेशंस/गृह लक्ष्मी, फर्स्ट इंडिया/भारत 24, UT रील्स, प्रातः काल, ई-खबरी जैसी संस्थाओं के साथ काम किया है। मुझे नई चीजों के बारे में जानना, लिखना बहुत पसंद हैं , साथ ही साथ मुझे गाना गाना, और नए भाषाओं को सीखना बहुत अच्छा लगता हैं, मैं अपने लोकल भाषा से बहुत प्रभावित हु जिसमे , अवधी, इंदौरी, और बुंदेलखंडी आती हैं ।

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