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76% LED बल्ब सेहत पर डाल रहे बुरा असर, चीनी बल्ब साबित हो रहे जानलेवा

बिजली के कई उपकरण पहले से ही सेहत के लिए खतरनाक माने जा रहे थे, अब इसी में LED भी शामिल हो गया है। घर में बिजली बचाने के लिए एलईडी बल्ब का इस्तेमाल करते हैं

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Published on: 31 Oct 2017 5:41 AM GMT
76% LED बल्ब सेहत पर डाल रहे बुरा असर, चीनी बल्ब साबित हो रहे जानलेवा
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नई दिल्ली: बिजली के कई उपकरण पहले से ही सेहत के लिए खतरनाक माने जा रहे थे, अब इसी में LED भी शामिल हो गया है। घर में बिजली बचाने के लिए एलईडी बल्ब का इस्तेमाल करते हैं तो थोड़ा सा सावधान हो जाइए। ऐसा इसलिए क्योंकि भारत में बिकने वाले 76% एलईडी बल्ब को लगाना खतरे से खाली नहीं है। इससे आपके परिवार को स्वास्थ्य संबंधी शिकायतें हो सकती हैं। चीन में निर्मित जो बल्ब भारतीय बाज़ारो में बिक रहे हैं, वह बहुत ही खतरनाक हैं। उनके निर्माण और रखरखाव में किसी मानक का पालन नहीं किया गया है।

नीलसन द्वारा किए गए एक सर्वे के अनुसार, देश भर में बिकने वाले तीन चौथाई से अधिक एलईडी बल्ब सरकार की तरफ से जारी ग्राहक सुरक्षा मानकों को पूरा नहीं करते हैं। इससे लोगों की जान का खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। एलईडी बल्ब से निकलने वाली गैस कई लोगों का स्वास्थ्य बिगाड़ रही है।

सर्वे में देश भर के 200 से अधिक रिटेल आउटलेट्स पर मुंबई, हैदराबाद, अहमदाबाद और दिल्ली में किए गए सर्वे के अनुसार, ज्यादातर बल्ब मानकों पर खरे नहीं उतरे हैं। सबसे ज्यादा बुरा हाल राजधानी दिल्ली में है, जहां पर ऐसे बल्ब बड़ी संख्या में बिकते हैं, जो कि मानकों को पूरा नहीं करते हैं। नॉन ब्रांडेड एलईडी बल्ब का बिकने से सरकार के मेक इन इंडिया को झटका लग रहा है, क्योंकि सस्ते बल्ब के बिकने से आर्थिक नुकसान भी हो रहा है।

भारतीय मानक ब्यूरो ने अगस्त में एलईडी बल्ब बनाने वाली सभी कंपनियों को आदेश दिया था कि वो अपने उत्पाद को ब्यूरो के साथ रजिस्टर करें, ताकि उनका सेफ्टी चेक किया जा सके। देश भर में चीन से चोर रास्ते से मंगाए गए सस्ते बल्ब ज्यादा बिक रहे हैं।

चीन में बने एलईडी बल्ब सबसे ज्यादा हानिकारक हैं क्योंकि इनके उत्पादन में किसी प्रकार के मानकों का ध्यान नहीं रखा जाता है। इससे सरकार को टैक्स भी नहीं मिलता है। सर्वे में पता चला है कि 48 फीसदी बल्ब में बनाने वाली कंपनी का पता नहीं था, तो 31 फीसदी में बल्ब बनाने वाली कंपनी का नाम ही नहीं था।

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