×

Amarnath Suraksha: अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा को लेकर चिंताएं बढ़ीं, शाह की बैठक में बनेगी पुख्ता रणनीति

Amarnath Yatra Suraksha: अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा को लेकर गृह मंत्री अमित शाह की चिंताएं बढ़ गई हैं।

Anshuman Tiwari
Report Anshuman TiwariPublished By Ragini Sinha
Published on: 17 May 2022 2:45 AM GMT
Amarnath Yatra pilgrims
X

घाटी में अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा को लेकर चिंताएं बढ़ीं (Social media)

Amarnath Yatra Suraksha: जम्मू-कश्मीर में आतंकियों की ओर से कश्मीरी हिंदुओं और पंडितों को निशाना बनाए जाने के बाद अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा को लेकर चिंताएं बढ़ गई हैं। अमरनाथ यात्रा की शुरुआत 30 जून को होने वाली है और इस यात्रा में इस बार करीब आठ लाख श्रद्धालुओं के शामिल होने की उम्मीद जताई जा रही है। इसके लिए 11 अप्रैल को रजिस्ट्रेशन का काम भी शुरू हो चुका है। इस बार काफी संख्या में लोग अमरनाथ की यात्रा के लिए इच्छुक दिख रहे हैं।

ऐसे में घाटी में टारगेट किलिंग की बढ़ती घटनाओं के कारण जम्मू-कश्मीर प्रशासन चिंतित दिखाई दे रहा है। अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा के लिए दिल्ली में आज उच्चस्तर पर गहराई से मंथन किया जाएगा। गृह मंत्री अमित शाह की समीक्षा बैठक में हिस्सा लेने के लिए उपराज्यपाल मनोज सिन्हा दिल्ली पहुंच चुके हैं। इस बैठक में जम्मू कश्मीर के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी, सीआरपीएफ के महानिदेशक और केंद्रीय खुफिया एजेंसियों के वरिष्ठ अफसर हिस्सा लेंगे। इस बैठक में अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा के लिए पुख्ता रणनीति तैयार की जाएगी।

घाटी में टारगेट किलिंग से बढ़ी चिंता

घाटी में अमरनाथ यात्रा की शुरुआत से पहले आतंकी संगठनों ने टारगेट किलिंग का खेल शुरू कर दिया है। आतंकियों ने पिछले सप्ताह पुलिसकर्मी रिया अहमद ठोकर को उसके घर के बाहर ही गोलियों से भून डाला था। उसके बाद आतंकियों ने कश्मीरी पंडित राहुल भट्ट की हत्या करके घाटी में एक बार फिर दहशत का माहौल बनाने की कोशिश की है।

आतंकियों ने राहुल भट्ट को तहसील ऑफिस में घुसकर भून डाला था। इस घटना के बाद घाटी के कश्मीरी पंडितों में जबर्दस्त बाल दिख रहा है। कश्मीरी पंडितों का कहना है कि घाटी में उनकी वापसी की बात करने वाली मोदी सरकार को पहले कश्मीरी पंडितों की सुरक्षा की पुख्ता व्यवस्था करनी चाहिए। इन घटनाओं के बाद अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा को लेकर सरकार की चिंताएं बढ़ गई हैं और इसीलिए इस मुद्दे पर गहराई से मंथन शुरू कर दिया गया है।

वरिष्ठ अफसरों के लगातार दौरे

केंद्रीय गृह सचिव आर के भल्ला ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर का दौरा किया था। इस यात्रा के दौरान उन्होंने नागरिक और पुलिस प्रशासन के साथ ही अर्धसैनिक बलों पर वरिष्ठ अफसरों के साथ बैठक करके सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत बनाने पर जोर दिया था। सीआरपीएफ के महानिदेशक पंकज सिंह ने भी हाल में जम्मू-कश्मीर के कई इलाकों का दौरा किया है।

उन्होंने बालटाल और अमरनाथ की पवित्र गुफा का दौरा करके अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा के लिए उठाए जा रहे कदमों पर भी चर्चा की है। इसके साथ ही उन्होंने आतंकवाद के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान के बारे में भी सीआरपीएफ अधिकारियों से विचार विमर्श किया है। दिल्ली में आज होने वाली उच्चस्तरीय बैठक में वे भी हिस्सा लेंगे और माना जा रहा है कि अपनी राय से गृह मंत्री को अवगत कराएंगे।

इस बार दिख रहा भारी उत्साह

अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा का मुद्दा इसलिए गंभीर हो गया है क्योंकि आतंकी संगठन टीआरएफ ने यात्रा के दौरान हमला करने की धमकी दे रखी है। अमरनाथ यात्रा की शुरुआत इस बार 30 जून को होगी और 11 अगस्त को यात्रा का समापन होगा। इसके लिए 11 अप्रैल से ही रजिस्ट्रेशन का काम शुरू हो गया है और इस बार अमरनाथ यात्रा के प्रति लोगों में भारी उत्साह दिख रहा है।

कोरोना की लहर कमजोर पड़ने के बाद इस बार काफी संख्या में लोगों के यात्रा में हिस्सा लेने की उम्मीद जताई जा रही है। यही कारण है कि सरकार अमरनाथ यात्रा शुरू होने से पहले ही मुकम्मल सुरक्षा व्यवस्था कर लेना चाहती है। राज्य में हाल में हुई आतंकी घटनाओं के कारण सरकार इस मुद्दे को लेकर काफी गंभीर नजर आ रही है।

शाह की बैठक में बनेगी रणनीति

सरकारी सूत्रों का कहना है कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के साथ उच्चस्तरीय बैठक के लिए जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा पहले ही दिल्ली पहुंच चुके हैं। सोमवार को उन्होंने केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के साथ मुलाकात में अमरनाथ यात्रा के मार्ग को दुरुस्त करने के लिए सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) की मदद मुहैया कराने का आग्रह किया था। उपराज्यपाल का कहना था कि ऊंचाई पर स्थित कठिन रास्तों को यात्रियों के लिए सुगम बनाया जाना चाहिए।

अब मंगलवार को होने वाली उच्चस्तरीय बैठक में अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा के पुख्ता रणनीति तैयार की जाएगी। इसके लिए गृह मंत्रालय की ओर से जम्मू-कश्मीर पुलिस, सीआरपीएफ, बीएसएफ और अन्य खुफिया और सुरक्षा एजेंसियों से उनकी कार्ययोजना के संबंध में रिपोर्ट पहले ही तलब की जा चुकी है। बैठक में इन रिपोर्टों के आधार पर अमरनाथ यात्रियों की सुरक्षा का पुख्ता रोडमैप तैयार किया जाएगा।

Ragini Sinha

Ragini Sinha

Next Story