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‘CAA’: हिंसक प्रदर्शन पर गृह मंत्रालय की नजर, अमित शाह ने बुलाई इमरजेंसी मीटिंग

नागरिकता संशोधन एक्ट (CAA) के खिलाफ देश के कई शहरों में प्रदर्शन जारी है। आज गुरुवार को एक बार फिर देश के कई हिस्सों में विरोध प्रदर्शन जारी रहा, लेफ्ट पार्टियों ने आज भारत बंद का आह्वान किया है।

Aditya Mishra
Published on: 19 Dec 2019 5:34 PM IST
‘CAA’: हिंसक प्रदर्शन पर गृह मंत्रालय की नजर, अमित शाह ने बुलाई इमरजेंसी मीटिंग
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नई दिल्ली: नागरिकता संशोधन एक्ट (CAA) के खिलाफ देश के कई शहरों में प्रदर्शन जारी है। आज गुरुवार को एक बार फिर देश के कई हिस्सों में विरोध प्रदर्शन जारी रहा, लेफ्ट पार्टियों ने आज भारत बंद का आह्वान किया है।

प्रदर्शन को देखते हुए देश के कई हिस्सों में धारा 144 लगा दी गई है। उत्तर प्रदेश, कर्नाटक के कई हिस्सों में बड़े प्रदर्शन की संभावना है। दिल्ली स्थित एम्स ने अपने कैंपस में किसी भी तरह के प्रदर्शन पर रोक लगा दिया है, जबकि लखनऊ में गाड़ी फूंक दी गई।

देश के कई शहरों में नागरिकता संशोधन एक्ट के खिलाफ विरोध प्रदर्शन पर गृह मंत्रालय की नजर है। सूत्रों के मुताबिक़ अमित शाह ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है। पुलिस और सुरक्षा बलों को हर स्थिति से निपटने के लिए तैयार रहने को बोला गया है।

सोशल साइट्स पर नजर रखी जा रही है। आपत्तिजनक पोस्ट करने वालों के खिलाफ सख्ती से निपटने के लिए निर्देश जारी कर दिए गये है। यूपी और दिल्ली समेत देश के अलग- अलग शहरों से कई उपद्रवियों की गिरफ्तारी की जा चुकी है। लोगों से शांति व्यवस्था बनाये रखने और कानून को हाथ में न लेने की अपील की गई है।

टेलीकॉम सेवाओं पर असर

दिल्ली के कई इलाक़ों में टेलीकॉम सेवाओं पर भी असर हुआ है। टेलीकॉम कंपनी एयरटेल और वोडाफन ने एक उपभोक्ताओं की शिकायत के जवाब में कहा है कि दिल्ली के कुछ इलाक़ों में इंटरनेट सेवा निलंबित की गई है। हालाँकि बाद में एयरटेल के कस्टमर केयर विभाग ने इन ट्वीट को डिलीट कर दिया।

दिल्ली मेट्रो ने कई स्टेशनों के एंट्री और एक्ज़िट गेट बंद कर दिए गए हैं। दिल्ली मेट्रो के मुताबिक सुरक्षा इंतजामों के मद्देनज़र बाराखंभा, वसंत विहार, मंडी हाउस, केंद्रीय सचिवालय, पटेल चौक, कोल कल्याण मार्ग, उद्योग भवन, आईटीओ, प्रगति मैदान, ख़ान मार्केट को बंद कर दिया गया है। इन स्टेशनों पर ट्रेन नहीं रुक रही हैं।

अमित शाह ने ट्वीट कर कही ये बात

एनआरसी को लेकर देश में भ्रम और भय के माहौल के बीच गृह मंत्री अमित शाह ने साफ किया है कि इससे किसी को घबराने और खौफ खाने की जरूरत नहीं है। यह प्रक्रिया किसी को भी बाहर नहीं करेगी।

मोदी सरकार इस बाबत अल्पसंख्यकों के लिए खास तौर पर व्यवस्था करेगी। विपक्ष ने इस संबंध में डर फैलाया है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि देश खुला छोड़ देने से नहीं चलता है।

घुसपैठियों को यहां से जाना ही पड़ेगा। इतना ही नहीं, उन्होंने आगे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी गांधी, देश के पहले पीएम पंडित जवाहर लाल नेहरू और पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल का भी जिक्र किया और अपनी बात रखी।

शाह ने एक के बाद एक किये ये पांच ट्वीट

पहले ट्वीट में उन्होंने लिखा- एनआरसी में धर्म के आधार पर कोई कार्रवाई नहीं होगी। जो भी एनआरसी के तहत इस देश का नागरिक नहीं पाया जाएगा सबको निकाला जाएगा।

आज अपने ही लाए क़ानून का विरोध करने वाले गुलाम नबी आजाद और सोनिया गांधी से पूछना चाहता हूं कि क्या आप कानून शोकेस में रखने के लिए लाये थे?

एनआरसी को लेकर देश में भ्रम और भय के माहौल के बीच गृह मंत्री अमित शाह ने साफ किया है कि इससे किसी को घबराने और खौफ खाने की जरूरत नहीं है। यह प्रक्रिया किसी को भी बाहर नहीं करेगी।

मोदी सरकार इस बाबत अल्पसंख्यकों के लिए खास तौर पर व्यवस्था करेगी। विपक्ष ने इस संबंध में डर फैलाया है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि देश खुला छोड़ देने से नहीं चलता है। घुसपैठियों को यहां से जाना ही पड़ेगा।

इतना ही नहीं, उन्होंने आगे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी गांधी, देश के पहले पीएम पंडित जवाहर लाल नेहरू और पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल का भी जिक्र किया और अपनी बात रखी।

एनआरसी में धर्म के आधार पर कोई कार्रवाई नहीं होगी: शाह

पहले ट्वीट में उन्होंने लिखा- एनआरसी में धर्म के आधार पर कोई कार्रवाई नहीं होगी। जो भी एनआरसी के तहत इस देश का नागरिक नहीं पाया जाएगा सबको निकाला जाएगा। आज अपने ही लाए क़ानून का विरोध करने वाले गुलाम नबी आजाद और सोनिया गांधी से पूछना चाहता हूं कि क्या आप कानून शोकेस में रखने के लिए लाये थे?

किसी को डरने की जरूरत नहीं : शाह

आखिरी ट्वीट में उनके हैंडल से लिखा गया- मैं पुनः स्पष्ट कर देता हूँ कि एनआरसी से किसी भी धर्म के भारतीय नागरिक को डरने की ज़रूरत नहीं है, आपको कोई बाहर नहीं कर सकता। और अल्पसंख्यक समुदाय के लिए सरकार विशेष व्यवस्था करेगी क्योंकि विपक्ष ने उनमें भय फैलाया है। मगर जो घुसपैठिए हैं वो कोई भी हों उनको देश से जाना ही होगा।

Aditya Mishra

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