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G20 Meeting: यूक्रेन युद्ध को लेकर जी20 की बैठक हुई प्रभावित, अमेरिका – रूस एक दूसरे पर बरसे, भारत को सराहा

G20 Meeting: पिछले एक साल से जारी रूस-यूक्रेन जंग तमाम अंतरराष्ट्रीय बैठकों को प्रभावित कर रही है। गुरूवार को नई दिल्ली में जी20 के विदेश मंत्रियों की बैठक भी इससे अछूती नहीं रही। तमाम कोशिशों के बावजूद भारत बैठक के बाद साझा बयान जारी नहीं करवा सका।

Krishna Chaudhary
Published on: 3 March 2023 1:07 PM IST
USA and Russia G20 Meeting
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USA and Russia G20 Meeting (Photo: Social Media)

G20 Meeting: पिछले एक साल से जारी रूस-यूक्रेन जंग तमाम अंतरराष्ट्रीय बैठकों को प्रभावित कर रही है। गुरूवार को नई दिल्ली में जी20 के विदेश मंत्रियों की बैठक भी इससे अछूती नहीं रही। तमाम कोशिशों के बावजूद भारत बैठक के बाद साझा बयान जारी नहीं करवा सका। रूस-चीन जहां एक पाले में दिखे, वहीं अन्य देश दूसरे पाले में। यहां भी अमेरिका और रूस के बीच तनातनी बनी रही।

अमेरिकी-रूसी विदेश मंत्रियों की मुलाकात

जी20 की बैठक से इतर अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव से मुलाकात की। दोनों नेताओं के बीच यह मुलाकात करीब 10 मिनट चली। बातचीत का एक ही मुद्दा था, जंग को जल्द से जल्द खत्म करना। जंग शुरू होने के बाद दोनों नेताओं की यह पहली मुलाकात है। इससे पहले जनवरी 2022 में दोनों देशों के विदेश मंत्री जेनेवा में मिले थे, तब युद्ध की आहट को लेकर तनाव चरम पर था। एक महीने बाद यानी फरवरी में रूस ने यूक्रेन पर धावा बोल दिया।

पुतिन युद्ध खत्म करने में इंटरस्टेड नहीं – ब्लिंकन

अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि हमने अपने रूसी समकक्ष से यही कहा कि वो जंग को खत्म करें। बैठकर बातचीत करें और हल निकालें। जी20 के नेता भी यहीं चाहते हैं कि दोनों देशों में शांति हो। हम कूटनीति के जरिए जंग खत्म करने के पक्ष में हैं। लेकिन रूसी राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन युद्ध खत्म करने में दिलचस्पी नहीं दिखा रहे हैं। उन्होंने कहा कि हम जी20 के लिए भारत के एजेंडे का समर्थन करते हैं।

रूस ने अमेरिका को कोसा और भारत की तारीफ की

बैठक के बाद प्रेस से बात करते हुए रूसी विदेश मंत्री सर्गेइ लावरोव ने अमेरिका के साथ - साथ ब्रिटेन को भी निशाने पर लिया। उन्होंने कहा कि दोनों देश यूक्रेन मसले का शातिंपूर्ण समाधान नहीं चाहते हैं। लावरोव ने कहा कि अमेरिका कुछ देशों पर दवाब डाल रहा है कि वो यूएन में रूस के खिलाफ वोट करें। ये देश दवाब में नहीं आए क्योंकि वे पश्चिमी देशों के खेल को समझते हैं। वहीं, रूसी विदेश मंत्री ने भारत की तारीफ करते हुए कहा कि भारत एक बड़ी वैश्विक शक्ति बनने का दावेदार है। बतौर जी20 अध्यक्ष उसकी भूमिका काबिलेतारीफ है।

जी20 बैठक में साझा बयान में सहमति

बता दें कि जी20 बैठक को लेकर साझा बयान न जारी होने को लेकर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि अधिकांश मुद्दों पर सदस्य देशों में सहमति बन गई, लेकिन यूक्रेन संघर्ष के मुद्दे पर मतभेद हैं। अगर सभी मुद्दे पर सबके विचार एकसमान होते तो साझा बयान अवश्य जारी होता। उन्होंने उन दो देशों का नाम नहीं लिया, जिन्होंने साझा बयान के दो पैराग्राफ पर असहमति प्रकट करते हुए हस्ताक्षर करने से मना कर दिया। लेकिन अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने खुलकर मीडिया में इसके लिए रूस और चीन को जिम्मेदार ठहराया।



Prashant Dixit

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