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Mahalakshmi Temple: दिवाली पर करोड़ों की नोटों से सजने वाला मंदिर, प्रसाद में मिलते हैं पैसे

Diwali 2022 Mahalakshmi Temple: दिवाली के दिन भगवान गणपति, मां लक्ष्मी, मां सरस्वती और भगवान कुबेर जी की पूजा की जाती है। इस साल 24 अक्टूबर को दिवाली मनाई जाएगी।

Anupma Raj
Report Anupma Raj
Published on: 6 Oct 2022 12:44 PM IST
Mahalakshmi Temple
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Mahalakshmi Temple (Image: Social Media)

Diwali 2022 Mahalakshmi Temple: दिवाली के दिन भगवान गणपति, मां लक्ष्मी, मां सरस्वती और भगवान कुबेर जी की पूजा की जाती है। इस साल 24 अक्टूबर को दिवाली मनाई जाएगी। बता दे करोड़ों भक्त मां लक्ष्मी को धन के रूप में पूजा-पाठ करते हैं और धनतेरस और दिवाली के शुभ मौके पर भी मां लक्ष्मी की पूजा बड़े धूमधाम के साथ की जाती है। इस दौरान मां लक्ष्मी की मंदिर को काफी भव्य और खूबसूरत ढंग से सजाया जाता है।

दरअसल भारत के अलग-अलग राज्यों में ऐसे कई लक्ष्मी मंदिर मौजूद हैं जिसकी कहानी सुनकर और पढ़कर लोगों को थोड़ी हैरानी भी होती है। जी हां, मध्य प्रदेश में भी एक ऐसा ही मंदिर है जिसकी चर्चा हर दिवाली पर सुन को मिल सकती हैं। शायद आपको सुनने में थोड़ा अजीब लगें कि किसी मंदिर में प्रसाद के रूप में पैसे मिले। जी है, लेकिन यह सच है कि मध्य प्रदेश के रतलाम जिले में स्थित महालक्ष्मी के मंदिर को फूलों से नहीं बल्कि करेंसी नोट्स से सजाई जाती है। ऐसा कहा जाता है कि दिवाली के शुभ अवसर पर धनतेरस से लेकर पांच दिनों तक दीपोत्सव का आयोजन किया जाता है। इस दौरान मंदिर की दीवार और मां की मूर्ति की सजावट नोट्स से होती है।

इतना ही नहीं इसके अलावा मंदिर के प्रांगण में स्थित झालर को नोटों की गद्दियों से सजाया जाता है। आपको बता दे कि इस मंदिर में सिर्फ करेंसी नोट्स ही नहीं बल्कि सोना, चांदी की भी चढ़ावा चढ़ता है। इस अद्भुत सजावट के चलते यह मंदिर हर साल भक्तों और अन्य लोगों का ध्यान अपनी ओर खींचता है। दरअसल आपको बता दें कि इस मंदिर को एक या दो लाख से नहीं बल्कि करोड़ों करेंसी नोट्स से सजावट की जाती है। इसलिए हर साल धनतेरस से लेकर दिवाली तक यहां सुरक्षा व्यवस्था पर भी विशेष ध्यान रखा जाता है।

दरअसल ऐसा कहा जाता है जब तक पूजा-पाठ चलती है तब तक मंदिर के चारों तरफ पुलिस का पहरा रहता है ताकि मंदिर से कोई चोरी न कर सकें। इस प्रसिद्ध मंदिर के बारे में कई दिलचस्प कहानियां भी जुड़ी हुई हैं। ऐसा कहा जाता है कि इस मंदिर में जो भक्त दर्शन करने के लिए पहुंचता है उसे प्रसाद के रूप में नोट दिए जाते हैं। कई लोगों का तो यहां तक कहना है कि प्रसाद के रूप में सोना-चांदी भी दिए जाते हैं। अगर इस मंदिर की पौराणिक कथा के अनुआर ऐसा माना जाता है कि प्राचीन काल में राजा-महाराजा राज्य की सुख-समृधि और धन की प्राप्ति के लिए इस मंदिर में पैसे के साथ आभूषण चढ़ाया करते थे। उसके बाद से ही यह समझा जाने लगा कि जो भी भक्त इस मंदिर में आभूषण या फिर पैसे चढ़ाते हैं उनके घर में कभी भी धन की कमी नहीं होती है। साथ ही मां महालक्ष्मी की कृपा उनपर बनी रहती है। इसलिए यहां हर साल लाखों की संख्या में भक्त मां के दर्शन के लिए आते हैं।




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Content Writer

My name is Anupma Raj. I am from Patna. I'm a content writer with more than 3 years of experience.

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