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आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में भारी बारिश से शहर बने समंदर, 35 लोगों की मौत,राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की नायडू की मांग
आंध्र प्रदेश और तेलंगानान में जिस तरह के हालात देखने को मिल रहे है उसे देखते हुए मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने राष्ट्रीय आपदा की मांग की है।
भारी बारिश के कारण आंध्र प्रदेश और तेलंगाना दोनों राज्यों में हालात बेहद खराब बने हुए हैं। दोनों राज्यों के कई शहर समंदर बन गए हैं और सड़कों पर पानी ही पानी का नजारा दिख रहा है। भारी जलभराव होने के कारण कई जिलों का संपर्क दूसरे स्थानों से कट गया है। रेल पटरियों पर पानी भर जाने के कारण रेल सेवा भी पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गई है और सौ से अधिक ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है। भारी बारिश और बाढ़ ने दोनों राज्यों में अभी तक 35 लोगों की जान ले ली है।
घरों में पानी भर जाने के कारण हजारों लोगों ने राहत शिविरों में शरण ले रखी है। इस बीच आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने कहा कि राज्य के कई इलाकों में हालात बेहद गंभीर बने हुए हैं। उन्होंने कहा कि मूसलाधार बारिश के बाद राज्य में आई बाढ़ को वे राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग करेंगे।
भारी बारिश और बाढ़ से 35 लोगों की मौत
आंध्र प्रदेश में स्थिति गंभीर होने के कारण राहत और बचाव कार्य में जुटी टीमों की संख्या बढ़ाई गई है। पहले राहत और बचाव कार्यों में 26 टीमों को लगाया गया था मगर अब 36 टीमें लोगों को राहत पहुंचाने में लगी हुई हैं। बाढ़ की वजह से आंध्र प्रदेश में 29 और तेलंगाना में 16 लोगों की मौत हो गई है। आंध्र प्रदेश में राहत के लिए 138 बोट और 283 विशेषज्ञ तैराक भेजे गए हैं। बाढ़ की समस्या से जूझ रहे 42,000 लोगों को 176 राहत कैंपों में पहुंचाया गया है। बाढ़ से करीब डेढ़ सौ मवेशियों की भी मौत हो गई है और धान की फसल को भारी नुकसान पहुंचा है।
भारी बारिश ने तोड़ा 50 साल का रिकॉर्ड
आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में इस बार बारिश ने पिछले 50 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। भारी बारिश के कारण दोनों राज्यों में जान-माल का काफी नुकसान हुआ है। आंध्र प्रदेश के विजयवाड़ा में हालत सबसे ज्यादा गंभीर बने हुए हैं। चिंता की बात यह है कि दोनों राज्यों में आने वाले दिनों में भी बारिश की चेतावनी दी गई है। आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने सभी मंत्रियों को राहत कार्यों की निगरानी करने का निर्देश दिया है। वे खुद भी लगातार राहत कार्यों पर नजर बनाए हुए हैं। तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने भी राहत और बचाव कार्यों को तेज करने का निर्देश दिया है। इसके साथ ही मृतकों को दी जाने वाली राहत राशि 4 लाख से बढ़ाकर 5 लाख कर दी गई है।
राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग
इस बीच आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने कहा कि आंध्र प्रदेश और विशेष रूप से विजयवाड़ा मैं स्थिति बेहद गंभीर बनी हुई है। उन्होंने कहा कि मूसलाधार बारिश और उसके बाद आई बाढ़ मेरे लंबे राजनीतिक जीवन की सबसे बड़ी आपदा है। उन्होंने कहा कि भारी बारिश और बाढ़ ने 19 लोगों की जान ले ली है। मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि हमारे सामने हुदहुद तूफान और तितली चक्रवात जैसी कुछ घटनाएं थीं, लेकिन इनकी तुलना में यह मानवीय पीड़ा और संपत्ति का नुकसान सबसे बड़ा है।
उन्होंने कहा कि इस प्राकृतिक आपदा के संबंध में जल्द ही केंद्र सरकार को रिपोर्ट भेजी जाएगी। वे इस आपदा को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग करेंगे और राज्य को हुए इस बड़े नुकसान की भरपाई के लिए केंद्र सरकार से आर्थिक मदद मांगेंगे। उन्होंने कहा कि प्रकाशम बैराज में जलस्तर उच्चतम स्तर पर पहुंच चुका है।