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Kisan Andolan: किसानों ने केंद्र को रविवार तक का दिया समय, जानें मीटिंग में कहां फंसा पेंच

Kisan Andolan: तीसरे दौर की वार्ता में भी कुछ ठोस निकलकर सामने नहीं आया। हालांकि, दोनों पक्ष चौथे दौर की बातचीत के लिए जरूर राजी हो गए।

Krishna Chaudhary
Published on: 16 Feb 2024 4:10 AM GMT (Updated on: 16 Feb 2024 5:41 PM GMT)
Kisan Andolan
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Kisan Andolan  (photo: social media )

Kisan Andolan: किसान अपनी 13 सूत्रीय मांगों को लेकर एकबार फिर सडकों पर उतर गए हैं। उनका आरोप है कि केंद्र ने जो वादे किए थे, उससे अब वो पीछे हट रही है। मंगलवार से पंजाब के किसानों का विरोध – प्रदर्शन जारी है और वे दिल्ली की ओर जाने के लिए शंभू बॉर्डर पर फंसे हुए हैं, जहां हरियाणा पुलिस उन्हें आगे नहीं बढ़ने दे रही। धीरे-धीरे अन्य किसान संगठन भी इस आंदोलन में कूदते नजर आ रहे हैं।

इस तनाव भरे माहौल के बीच गुरुवार शाम को किसानों और केंद्र सरकार के प्रतिनिधि एकबार फिर बातचीत की मेज पर आए। हालांकि, तीसरे दौर की वार्ता में भी कुछ ठोस निकलकर सामने नहीं आया। हालांकि, दोनों पक्ष चौथे दौर की बातचीत के लिए जरूर राजी हो गए। अगली बैठक रविवार को शाम छह बजे चंडीगढ़ में होगी। तब तक किसान शंभू बॉर्डर से आगे नहीं बढ़ेंगे।

हरियाणा पुलिस की कार्रवाई पर जताई नाराजगी

संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक के प्रमुख जगजीत सिंह डल्लेवाल और किसान मजूदर संघर्ष समिति के महासचिव सरवन सिंह पंढेर ने बैठक में हरियाणा पुलिस और पैरामिलिट्री फोर्सेज की कार्रवाई का मुद्दा उठाया। उन्होंने केंद्र सरकार पर दोहरी नीति अपनाने का आरोप लगाया। उन्होंने घायल किसानों की तस्वीर, आंसू गैस के खाली गोले और रबड़ बुलेट दिखाते हुए कहा एक तरफ सरकार बातचीत के लिए बुलाती है, दूसरी तरफ शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे किसानों पर अनावश्यक बल प्रयोग कर उन्हें घायल किया जा रहा है। किसान नेताओं और उनके संगठनों के सोशल मीडिया अकाउंट्स बंद कराए जा रहे हैं। सरकार ऐसा करके बातचीत का माहौल खराब कर रही है। इस पर तुरंत रोक लगाई जाए।

बैठक खत्म होने के बाद बाहर निकले किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने कहा कि आंदोलन शांतिपूर्वक ढंग से जारी रहेगा। हम कोई छेड़छाड़ नहीं करेंगे, हमारी तरफ से कुछ नहीं किया जाएगा। ये हम किसानों से भी अपील करेंगे। सरकार ने बैठक बुलाई है, हम तब तक इंतजार करेंगे। रविवार को अगर हमें कोई सकारात्मक नतीजा नहीं मिला तो हम अपना आंदोलन जारी रखेंगे।

बैठक में किसानों का वकील बनकर शामिल हुआ – पंजाब सीएम

तीसरे दौर की वार्ता में पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान भी शामिल हुए। वो पहले दौर की वार्ता में भी शामिल हुए थे। हालांकि, दूसरी दौर की बातचीत में वो नहीं पहुंचे थे। कल किसानों ने उनसे बैठक में शामिल होने की अपील की थी, जिसके बाद वो शामिल हुए। भगवंत मान ने केंद्रीय मंत्रियों के साथ मीटिंग के बाद कहा कि मैं किसानों का वकील बनकर वहां गया था। किसान यूनियन और केंद्र सरकार के बीच लंबी बातचीत हुई। हर विषय पर विस्तार से चर्चा हुई, सकारात्मक चर्चा हुई है।

मान ने कहा कि किसानों के आंदोलन से पंजाब सबसे अधिक प्रभावित हो रहा है। बैठक में हमने इंटरनेट सेवा बंद करने करने की बात की, बच्चों के एग्जाम पर बात की। साथ ही किसानों पर दागे जा रहे आंसू गैस के गोले पर भी बात की। हरियाणा सरकार बिल्कुल भी ऐसा न करे और हमारे अधिकार क्षेत्र का ख्याल रखे और किसानों को आगे बढ़ने के लिए बैरिकेड्स को हटा दिया जाए।

बैठक को लेकर क्या बोले केंद्रीय कृषि मंत्री

बैठक के बाद केंद्रीय कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा ने मीडिया को ब्रीफ करते हुए कहा कि बहुत ही अच्छे माहौल में सकारात्मक चर्चा हुई है और किसान संगठनों ने जिन विषयों पर ध्यान आकर्षित कराया है उसे संज्ञान में लेते हुए विस्तार पूर्वक चर्चा को अगली तिथि रविवार को शाम 6 बजे फिर से चर्चा को जारी रखेंगे।

कहां फंसा है पेंच

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, कल रात हुई बैठक में किसानों और सरकार के बीच कुल 13 मांगों में से कई पर सहमति बन गई थी। लेकिन लखीमपुर खीरी मामले में अजय मिश्रा टेनी, एमएसपी की गारंटी और कर्जमाफी पर पेंच फंसा हुआ है। बैठक में सरकार ने किसानों को बताया कि गेहूं और धान की एमएसपी पर खरीद पहले ही सुनिश्चित हो चुकी है। इसके अलावा कपास की भी एमएसपी पर खरीद सुनिश्चित की गई है। गन्ना फिलहाल देश में सबसे ज्यादा रेट पर है। ऐसे में अन्य फसलों के लिए रातों-रात एमएसपी की घोषणा नहीं की जा सकती।

बता दें कि गुरुवार की बैठक में कई किसान संगठनों के प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया। इनकी ओर से पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान और वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा भी शामिल हुए। वहीं केंद्र सरकार की ओर से केंद्रीय कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा, पीयूष गोयल और नित्यानंद राय शामिल हुए।

Monika

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Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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