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ग्लेशियर टूटने से 150 से ज्यादा लापता, 4-4 लाख रुपये के मुआवजे का ऐलान

उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर टूटने से भारी तबाही मची है। मिली जानकारी के मुताबिक, चमोली जिले के रेणी गांव के पास ग्लेशियर टूटा है। ग्लेशियर टूटने से ऋषि गंगा पावर प्रोजेक्ट तबाह हो गया।

Dharmendra kumar
Published on: 7 Feb 2021 7:02 AM GMT
ग्लेशियर टूटने से 150 से ज्यादा लापता, 4-4 लाख रुपये के मुआवजे का ऐलान
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उत्तराखंड के चमोली जिले में ग्लेशियर टूट गया है। ग्लेशियर के टूटने की वजह से पानी भरभराकर उफान पर आ गया। इससे बड़ी मात्रा में पानी बहकर नीचे की तरफ आ रहा है। ऐसे में बड़े बहाव की वजह से तबाही की आशंका जताई जा रही है।

देहरादून: उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर टूटने से भारी तबाही मची है। मिली जानकारी के मुताबिक, चमोली जिले के रेणी गांव के पास ग्लेशियर टूटा है। ग्लेशियर टूटने से ऋषि गंगा पावर प्रोजेक्ट तबाह हो गया। आपदा प्रबंधन और प्रशासन बचाव कार्य में जुटा है। बताया जा रहा है कि 150 से ज्यादा लोग लापता हैं।

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यूपी में हाई अलर्ट के बाद जिलों में तैयारी

उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर फटने के बाद शाहजहांपुर में नदी किनारे बसे गांव में दहशत का माहौल है। हालांकि सरकार की तरफ से हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। जिसके बाद पुलिस प्रशासन के अधिकारियों ने ढाईघाट मेले और नदी किनारे बसे गांव में जाकर लाउडस्पीकर से सुरक्षित स्थान पर जाने का ऐलान करवाया। खास बात ये है कि, इस वक्त रामगंगा नदी के पास ढाईघाट मेला लगा हुआ है, जिसमें हजारों की संख्या में श्रद्धालु और साधू संत कल्पवास करते हैं। लेकिन अनाउंस होने के बाद सभी ने अपने अपने टेंट उखाड़ना शुरू कर दिए हैं।

आसिफ अली, शाहजहांपुर

PM रिलीफ फंड से मृतकों के परिजनों को 2 लाख देने का ऐलान

पीएमओ ने बताया है कि पीएम मोदी ने उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर के टूटने से हुए दुखद हिमस्खलन की वजह जान गंवाने वालों के परिजनों के लिए PMNRF से 2 लाख रुपये और गंभीर रूप से घायल लोगों को 50,000 रुपये देने का निर्णय लिया है।

मृतकों के परिजनों को 4-4 लाख रुपये का मुआवजा

जायजा लेने के बाद देहरादून लौटे उत्तराखंड के सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि केंद्र सरकार पूरी मदद कर रही है। पीएम मोदी और गृह मंत्री ने फोन पर तत्काल बात की और हरसंभव मदद की बात कही। एसडीआरएफ और मेडिकल टीम तैनात है। स्थानीय लोग आज अवकाश पर थे। इसके साथ उत्तराखंड के सीएम ने मृतकों के परिजनों को 4-4 लाख रुपयों का मुआवजा देने का ऐलान भी किया। उन्होंने बताया कि यूपी, बिहार, गुजरात सरकार ने भी मदद की पेशकश की है।

डीआरडीओ की विशेष टीम गई उत्तराखंड

DRDO के हिमस्खलन एक्सपर्ट की टीम भी उत्तराखंड गई है। DRDO के पास हिमस्खलन की निगरानी और अग्रिम चेतावनी के लिए एक विशेष टीम है। डीआरडीओ की ये टीम राहत, बचाव और बाद में पुनर्वास कार्यक्रम में सहायता के लिए भेजी गई है।

भेजे गए नेवी के गोताखोर

केंद्र सरकार ने उत्तराखंड में नेवी के गोताखोरों को भी रेस्क्यू के लिए रवाना किया है। केंद्र सरकार ने बेहतर तरीके से नदी में रेस्क्यू करने के लिए गोताखोरों को भेजा। अब तक एनडीआरएफ की 5 टीमें उत्तराखंड भेजी गई हैं।

हालात पर कैबिनेट सेक्रेटरी की मीटिंग

चमोली हादसे पर नेशनल क्राइसिस मैनेटमेंट कमेटी (NCMC) की बैठक खत्म हो गई। कैबिनेट सेक्रेटरी की अध्यक्षता में यह बैठक हुई।बैठक में गृह सचिव, विद्युत मंत्रालय के सचिव, ITBP के महानिदेशक, चीफ आईडीएस, NDMA के सदस्य, NDRF के डीडी, CWC के चेयरमैन, IMD के डीजी और DRDO के चेयरमैन सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया. उत्तराखंड के मुख्य सचिव भी अपने अधिकारियों की टीम के साथ बैठक में शामिल थे।

बचाव कार्यों में भरपूर सहयोग करें कार्यकर्ता: प्रियंका गांधी

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने उत्तराखंड हादसे पर चिंता जताई है। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि उत्तराखंड में ग्लेशियर फटने से आई त्रासदी की खबर बहुत दुखद है। इस मुश्किल समय में पूरा देश उत्तराखंड के निवासियों के साथ खड़ा है। आपदा में फंसे लोगों के लिए मैं ईश्वर से प्रार्थना करती हूं। सभी कांग्रेस कार्यकर्ताओं से निवेदन है कि राहत और बचाव कार्यों में भरपूर सहयोग करें।



उत्तराखंड के लोगों साथ खड़े हैंः राजनाथ

देश के रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि ग्लेशियर के फटने से हुए नुकसान के बारे में मैं चमोली जिले के दृश्य देख रहा हूं। इस कठिन समय में हम त्रासदी से प्रभावित लोगों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैं। उत्तराखंड के लोगों की भलाई के लिए प्रार्थना कर रहा हूं।

सबके रक्षा के लिये भगवान से प्रार्थना करती हूं: उमा भारती

बीजेपी नेता उमा भारती ने कहा कि मै इस दुर्घटना से बहुत दुःखी हूं। उत्तराखंड देवभूमि है । वहां के लोग बहुत कठिनाई जा जीवन जी कर तिब्बत से लगी सीमाओं की रक्षा के लिए सजग रहते है । मैं उन सबके रक्षा के लिये भगवान से प्रार्थना करती हूं।



सुरंग में फंसे लोगों को निकालने की कोशिश

उत्तराखंड के सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने जानकारी दी कि कर्णप्रयाग में आज 3 बज कर 10 मिनट पर नदी में पानी की बहाव की स्थिति से साफ है कि बाढ़ की सम्भावना बहुत ही कम है। हमारा विशेष ध्यान सुरंगों में फंसे श्रमिकों को बचाने में है और हम सभी प्रयास कर रहे हैं। किसी भी समस्या से निपटने के सभी ज़रूरी प्रयास कर लिए गये हैं।

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राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने हादसे पर जताई संवेदना



सुरंग में करीब 20 लोगों के फंसे होने की आशंका

ग्लेशियर पटने से ऋषि गंगा प्रोजेक्ट को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है। यहां NTPC प्रोजेक्ट से 10 शव मिले हैं। आईटीबीपी के डीजी ने यह जानकारी दी है। कहा जा रहा है टनल में 15-20 लोगों के फंसे होने की आशंका है। प्रोजेक्ट पर करीब 120 लोग काम कर रहे थे। प्रोजेक्ट में काम करने वाले लोग तेज पानी में बह गए।

ऋषिगंगा हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट को नुकसान

केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने बताया कि उत्तराखंड में ग्लेशियर टूटने की वजह से ऋषिगंगा हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट क्षतिग्रस्त हुआ है और नदी का जल स्तर बढ़ने की सूचना मिली है। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत जी को इस संबंध में सहायता का आश्वासन दिया है। हम इस घटना पर लगातार नजर रख रहे हैं।

राहुल गांधी बोले- बाढ़ त्रासदी बेहद दुखद

राहुल ने कहा कि चमोली में ग्लेशियर फटने से बाढ़ त्रासदी बेहद दुखद है। मेरी संवेदनाएँ उत्तराखंड की जनता के साथ हैं। राज्य सरकार सभी पीड़ितों को तुरंत सहायता दें। कांग्रेस साथी भी राहत कार्य में हाथ बटाएं।



पीएम मोदी ने फोन पर लिया हालात का जायजा

प्रधानमंत्री कार्यालय की तरफ से कहा गया है कि असम में रहते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तराखंड की स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने सीएम रावत और अन्य शीर्ष अधिकारियों से बात की। उन्होंने बचाव और राहत कार्यों का जायजा लिया। अधिकारी प्रभावितों को हर संभव सहायता प्रदान करने के लिए काम कर रहे हैं। तो वहीं पीएम मोदी ने भी ट्वीट किया है।



गृह मंत्री अमित शाह ने त्रिवेंद्र सिंह रावत से की बात

उत्तराखंड की वर्तमान स्थिति को लेकर के गृह मंत्री अमित शाह ने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत से बात की है। इसके साथ ही आईटीबीपी के डीजी एसएस देसवाल से भी उन्होंने पूरी जानकारी ली। गृह मंत्रालय हालात पर पूरी नजर बनाए हुए हैं। एनडीआरएफ के डीजी एसएन प्रधान और डिजास्टर मैनेजमेंट के अधिकारियों से भी गृह मंत्री ने बात की। राज्य में पूरी मदद के निर्देश दिए।



सीएम योगी ने जताया दुख

सीएम योगी ने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में ग्लेशियर टूटने से उत्पन्न हुई आपदा में अनेक नागरिकों के कालकवलित होने की सूचना से मन दुखी है। प्रभु श्री राम से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्माओं को शांति, शोकसंतप्त परिजनों को यह दुःख सहने की शक्ति व घायलों को शीघ्र स्वास्थ्य लाभ प्रदान करें।



अलकनंदा नदी का बहाव सामान्य

सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने बताया कि राहत की खबर ये है कि नंदप्रयाग से आगे अलकनंदा नदी का बहाव सामान्य हो चुका है। नदी का जलस्तर सामान्य से अब 1 मीटर ऊपर है ,लेकिन बहाव कम होता जा रहा है। राज्य के मुख्य सचिव, आपदा सचिव, पुलिस अधिकारी एवं मेरी समस्त टीम आपदा कंट्रोल रूम में स्थिति पर लगातार नज़र रख रहा है।



-उत्तराखंड पुलिस ने हेल्पलाइन नंबर जारी किया है।

-आईटीबीपी के 200 से ज्यादा अधिक बचाव कार्य में जुटे हुए हैं। SDRG की 10 टीमें भी मौके पर पहुंचीं हैं। हरिद्वार, ऋषिकेष और श्रीनगर में अलर्ट जारी किया गया है। ग्लेशियर टूटने के बाद भारतीय सेना को मौके पर बुलाया गया है। धौली पावर प्रोजेक्ट को सबसे अधिक नुकसान पहुंचा है।

उत्तराखंड में ग्लेशियर टूटने से उत्पन्न हुई परिस्थिति को देखते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के लिए रवाना हुए हैं। उन्होंने कहा कि मेरी सभी से विनती है कि कृपया कोई भी पुराने video share कर panic ना फैलाएं। स्थिति से निपटने के सभी ज़रूरी कदम उठा लिए गए हैं । आप सभी धैर्य बनाए रखें।



उन्होंने कहा कि अगर आप प्रभावित क्षेत्र में फंसे हैं, आपको किसी तरह की मदद की जरूरत है तो कृपया आपदा परिचालन केंद्र के नम्बर 1070 या 9557444486 पर संपर्क करें। कृपया घटना के बारे में पुराने वीडियो से अफवाह न फैलाएं।

धौलीगंगा नदी से होते हुए नंदप्रयाग, कर्णप्रयाग, देवप्रयाग, रुद्रप्रयाग में नदियों के किनारे होटलों और घाटों को खाली करने का निर्देश दिया गया है। पानी का सैलाब बहुत तेज है, इस आशंका से नदी के आसपास के इलाकों को खाली कराया जा रहा है।

सीएम के निर्देश के बाद जल शक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ने गंगा किनारे वाले जिलाधिकारियों को किया अलर्ट। बिजनौर, गढ़मुक्तेश्वर, कन्नौज , बिठुर, फ़तहगढ़, मिर्ज़ापुर, बनारस, प्रयागराज, फर्रुखाबाद के ज़िलाधिकारियों को दिए निर्देश है। फिलहाल गंगा में बोटिंग, नौका विहार समेत ग्रामीण जि‍लों में लोगों को गंगा किनारे जाने के पर सख्‍त रोक लगा दिया गया है।



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