Modi Cabinet: यूपी से इन चेहरों को मिल सकता है मौका, तीसरी पारी में जातीय समीकरण साधेंगे मोदी

Modi Cabinet: पिछली मोदी सरकार में यूपी कोटे से 12 मंत्री थे और इनमें से सात मंत्री इस बार चुनाव हार गए हैं। इस बार माना जा रहा है कि उत्तर प्रदेश से 8-10 चेहरों को केंद्र में मंत्री बनने का मौका मिल सकता है।

Anshuman Tiwari
Written By Anshuman Tiwari
Published on: 8 Jun 2024 2:05 PM GMT
These faces may get a chance from UP, Modi will balance the caste equations in the third innings
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यूपी से इन चेहरों को मिल सकता है मौका, तीसरी पारी में जातीय समीकरण साधेंगे मोदी: Photo- Social Media

Modi Cabinet: उत्तर प्रदेश में भाजपा को इस बार लोकसभा चुनाव में करारा झटका लगा है। पिछले लोकसभा चुनाव में 62 सीटें जीतने वाली भाजपा इस बार सिर्फ 33 सीटों पर सिमट गई है। इस कारण इस बार यूपी कोटे से मंत्रियों की संख्या घटनी भी तय मानी जा रही है। पिछली मोदी सरकार में यूपी कोटे से 12 मंत्री थे और इनमें से सात मंत्री इस बार चुनाव हार गए हैं। इस बार माना जा रहा है कि उत्तर प्रदेश से 8-10 चेहरों को केंद्र में मंत्री बनने का मौका मिल सकता है।

अपना दल (एस) की मुखिया अनुप्रिया पटेल: Photo- Social Media

उत्तर प्रदेश में एनडीए के प्रमुख घटक अपना दल (एस) की मुखिया अनुप्रिया पटेल का फिर मंत्री बनना तय माना जा रहा है। इसके साथ ही राष्ट्रीय लोकदल के मुखिया जयंत चौधरी का भी मंत्री बनना तय है। जातीय समीकरण साधने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भाजपा से नाराज बताए जा रहे ओबीसी समुदाय से पांच, दो दलित, दो ब्राह्मण और एक राजपूत को मंत्री पद का तोहफा दे सकते हैं।

राजनाथ सिंह: Photo- Social Media

राजनाथ सिंह को फिर मिलेगा बड़ा मौका

मोदी सरकार में पिछली बार राजनाथ सिंह रक्षा मंत्री थे और इस बार फिर उनका मंत्री बनना और उन्हें प्रमुख मंत्रालय मिलना तय माना जा रहा है। राजनाथ सिंह ने इस बार फिर लखनऊ संसदीय सीट से चुनाव जीता है। राजनाथ सिंह ने ही शुक्रवार को एनडीए की बैठक के दौरान नरेंद्र मोदी को नेता चुने जाने का प्रस्ताव रखा था। मोदी की तीसरी पारी में भी राजनाथ सिंह की भूमिका काफी महत्वपूर्ण होगी।

सियासी जानकारों का मानना है कि कल होने वाले शपथ ग्रहण के दौरान प्रधानमंत्री मोदी अपनी कैबिनेट के जरिए उत्तर प्रदेश में जातीय समीकरण साधने का प्रयास करेंगे। इसके तहत सवर्ण, ओबीसी और दलित चेहरों को मंत्री बनने का मौका मिलेगा।

ओबीसी कोटा से इन चेहरों को मिल सकता है तोहफा

उत्तर प्रदेश में इस बार भाजपा और एनडीए के सांसदों की संख्या में गिरावट दर्ज की गई है। लिहाजा उत्तर प्रदेश से इस बार मंत्रियों की संख्या भी घटेगी। वैसे यह तय माना जा रहा है कि प्रधानमंत्री मोदी प्रदेश में ओबीसी कोटे का विशेष ख्याल रखेंगे। भाजपा की ओर से इस बार के लोकसभा चुनाव में महाराजगंज से पंकज चौधरी, बरेली से छत्रपाल गंगवार, बांसगांव से कमलेश पासवान और फर्रुखाबाद से मुकेश राजपूत समेत कई ओबीसी नेताओं ने जीत हासिल की है।

कमलेश पासवान: Photo- Social Media

माना जा रहा है कि ओबीसी कोटे से दो चेहरों को मोदी कैबिनेट में जगह मिल सकती है। महाराजगंज सीट से कई बार चुनाव जीतने वाले कुर्मी बिरादरी के पंकज चौधरी की दावेदारी काफी मजबूत मानी जा रही है। वे पिछली मोदी कैबिनेट के भी सदस्य थे। इसके साथ ही छत्रपाल गंगवार को भी मोदी कैबिनेट में जगह मिल सकती है। ओबीसी वर्ग से भदोही से चुनाव जीतने वाले डॉक्टर विनोद बिंद का नाम भी चर्चाओं में है।

दलित चेहरों को भी मौका देने की तैयारी

उत्तर प्रदेश में भाजपा को झटका देने में दलित वोट बैंक का खिसकना भी बड़ा कारण माना जा रहा है। इस बार प्रदेश में काफी संख्या में दलित मतदाताओं ने सपा-कांग्रेस गठबंधन को समर्थन दिया है। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दलित वोट बैंक को फिर साधने की कोशिश भी करेंगे। दलित वर्ग से आने वाले उत्तर प्रदेश के दो नेताओं को भी मोदी कैबिनेट में जगह मिलने की संभावना जताई जा रही है।

एसपी सिंह बघेल: Photo- Social Media

दलित वर्ग से जुड़े एसपी सिंह बघेल ने इस बार आगरा लोकसभा सीट पर बड़ी जीत हासिल की है। वे मोदी सरकार में पूर्व में भी मंत्री रह चुके हैं और इस बार भी उनकी दावेदारी काफी मजबूत मानी जा रही है। योगी सरकार के मंत्री अनूप बाल्मीकि ने इस बार हाथरस लोकसभा सीट से चुनाव जीता है। ऐसे में दलित कोटे से उनका नाम भी संभावित मंत्रियों की लिस्ट में शामिल बताया जा रहा है।

ब्राह्मण नेताओं में इनकी दावेदारी मजबूत

उत्तर प्रदेश में इस बार भाजपा के कई बड़े ब्राह्मण चेहरों को हार का सामना करना पड़ा है। महेंद्र नाथ पांडेय चंदौली सीट पर चुनाव हार गए हैं जबकि हरीश द्विवेदी को बस्ती लोकसभा सीट पर हार का सामना करना पड़ा है। मोदी की पिछली सरकार में गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र टेनी को भी इस बार हार का मुंह देखना पड़ा है। इस कारण माना जा रहा है कि प्रधानमंत्री मोदी इस बार किसी नए ब्राह्मण चेहरे को अपनी सरकार में मौका दे सकते हैं।

लक्ष्मीकांत वाजपेयी: Photo- Social Media

ब्राह्मण चेहरों में लक्ष्मीकांत वाजपेयी, महेश शर्मा और जितिन प्रसाद की दावेदारी सबसे मजबूत पाली जा रही है। जितिन प्रसाद ने इस बार पीलीभीत लोकसभा सीट पर चुनाव जीता है और वे मौजूदा समय में योगी सरकार में मंत्री हैं। इससे पहले वे यूपीए सरकार के दौरान केंद्र में भी मंत्री रह चुके हैं। मेरठ से ताल्लुक रखने वाले लक्ष्मीकांत वाजपेई उत्तर प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष रह चुके हैं और मौजूदा समय में राज्यसभा सांसद भाजपा चीफ व्हिप हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने आज नए मंत्रियों के नामों पर गहराई समर्थन किया है और अब सबकी निगाहें उनके फैसले पर टिकी हुई हैं।

Shashi kant gautam

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