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New Parliament Building Architect: जानें कौन है नए संसद भवन के वास्तुकार बिमल पटेल..
New Parliament Building Architect: हाल फिलहाल में चल रहे कुछ बड़ी योजनाएं के पीछे भी बिमल पटेल का ही हाथ है।
New Parliament Building Architect: बिमल पटेल का पूरा नाम बिमल हसमुख पटेल है। बिमल जाने माने वास्तुकार के रूप में इस क्षेत्र में दशकों का अनुभव हैं। बिमल को वास्तु के क्षेत्र में शहरी डिजाइन और नए योजना के विशेषज्ञ के रूप में जाना जाता है। नए संसद भवन के साथ काशी विश्वनाथ कॉरिडोर जैसी भव्य निर्माण का श्रेय वास्तुकार बिमल को ही जाता है। यह सब बड़ी योजनाएं देश में पहले ही पूरी हो चुकी है। हाल फिलहाल में चल रहे कुछ बड़ी योजनाएं के पीछे भी बिमल पटेल का ही हाथ है।
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज देश को नए संसद भवन का तोहफा दिया है। नए संसद भवन के उद्घाटन के लिए भव्य पूजा और समारोह का आयोजन आज दिल्ली में किया गया है। यह निर्माण कार्य सेंट्रल विस्टा रि-डेवलपमेंट प्रोजेक्ट का खास हिस्सा है। नए संसद भवन को भी गुजरात के दिग्गज वास्तुकार बिमल पटेल द्वारा डिजाइन किया गया है।
बिमल पटेल है कौन?(New Parliament Building Architect Bimal Patel)
बिमल हसमुख पटेल तीन दशक के अनुभव के साथ एक जाने माने वास्तुकार हैं। उन्हें वास्तु कला में नए शहरी डिजाइन और योजनाओं का विशेषज्ञ माना जाता है। वर्तमान में बिमल अहमदाबाद में सेंटर फॉर एनवायरनमेंटल प्लानिंग एंड टेक्नोलॉजी (CEPT) विश्वविद्यालय के अध्यक्ष पद पर कार्यरत है। बिमल साल 2012 से इस विश्वविद्यालय में तत्परता के साथ अपने पद पर बने हुए है। इसके साथ ही वह HCP डिजाइन प्लानिंग एंड मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड के चीफ भी हैं, जिसकी नींव साल 1960 में उनके पिता हसमुख सी पटेल ने रखी थी। हसमुख पटेल भी एक प्रतिभाशाली वास्तुकार थे,इन्होंने भी कई प्रतिष्ठित इमारत बनाने का श्रेय जाता है।
स्कूली शिक्षा अपने प्रदेश से की,
बिमल पटेल की स्कूली शिक्षा सेंट जेवियर्स हाई स्कूल, अहमदाबाद में हुई। बिमल ने 1984 में अहमदाबाद CEPT से आर्किटेक्चर में डिप्लोमा किया। 1988 में आर्किटेक्चर में मास्टर और सिटी प्लानिंग में मास्टर फिर 1995 में कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय, बर्कले से सिटी एंड रीजनल प्लानिंग में PHD की डिग्री प्राप्त की। बिमल 1990 में अपने पिता हसमुख पटेल की कंपनी से जुड़ चुके थे। बिमल ने 1996 में एनवायरनमेंटल प्लानिंग कोलैबोरेटिव (ईपीसी) की स्थापना की, जो एक गैर-लाभकारी(Non profitable) परामर्श और नीति-अनुसंधान संगठन(policy-research organization) है।
पद्म समेत कई पुरस्कारों से किए गए सम्मानित,
डॉ बिमल पटेल ने अपने काम के जरिए कई पुरस्कार से सम्मानित भी किया गए हैं। उनके काम से बनी, उनकी परियोजनाओं को आगा खान अवार्ड फॉर आर्किटेक्चर (1992), वर्ल्ड आर्किटेक्चर अवार्ड (1997), यूएन सेंटर फॉर ह्यूमन सेटलमेंट्स अवार्ड ऑफ एक्सीलेंस (1998), आर्किटेक्चर रिव्यू हाई कमेंडेशन अवार्ड (2001) सहित कई अन्य पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है। शहरी योजना और डिजाइन में उत्कृष्टता के लिए प्रधानमंत्री का राष्ट्रीय पुरस्कार (2003) और हडको डिजाइन पुरस्कार (2013) से भी सम्मानित किया गया। 2019 में देश के सर्वोच्च पुरस्कारों में से एक पद्म श्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
नए संसद भवन समेत अन्य परियोजनाओं के लिए 229 करोड़ इन्वेस्ट,
बिमल पटेल की HCP डिजाइन्स ने सेंट्रल विस्टा परियोजना अपने नाम करने के लिए ऑक्शन जीता था। फर्म को नई संसद सहित अन्य परियोजना के लिए 229.75 करोड़ रुपये का पेमेंट किया गया था। पटेल की फर्म द्वारा दी जाने वाली सेवाओं में परियोजना के लिए मास्टर प्लान तैयार करना और इसमें शामिल संरचनाओं का डिजाइन, यातायात एकीकरण, लागत अनुमान, पार्किंग सुविधाएं और परिदृश्य शामिल रहा।
बिमल के जाने माने प्रोजेक्ट्स,
डॉ बिमल पटेल पूरे भारत में आवासीय, संस्थागत, वाणिज्यिक, आवास, औद्योगिक और शहरी डिजाइन और शहरी नियोजन परियोजनाओं की एक क्रम पर कर चुके है। बिमल की महत्वपूर्ण परियोजनाओं में आगा खान अकादमी हैदराबाद, सीजी रोड पुनर्विकास, कांकरिया झील विकास, साबरमती रिवरफ्रंट विकास और स्वर्णिम संकुल, उद्यमिता विकास संस्थान, अहमदाबाद प्रबंधन संघ, भुज विकास योजना और टाउन प्लानिंग योजनाएं (भूकंप के बाद), आईआईएम अहमदाबाद नया परिसर और गुजरात उच्च न्यायालय, हिम्मतनगर नहरफ्रंट विकास, शामिल है। इसके अतिरिक्त बिमल ने प्राचीन नगरी में प्रसिद्ध काशी विश्वनाथ कॉरिडोर का भी डिजाइन का काम संभाला था। जो उनकी प्रोजेक्ट्स में नामचिन्ह है।