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INDIA Alliance: INDIA की मीटिंग से क्यों उठकर चले गए थे नीतीश ? छह दिन बाद तोड़ी चुप्पी
INDIA Alliance: दिल्ली में गठबंधन की हुई चौथी बैठक से बिहार सीएम जल्दी चले गए थे, जिसके बाद कयासों का बाजार और गर्म हो गया। मीटिंग के करीब छह दिन बाद नीतीश कुमार ने मीडिया में चल रही अपनी नाराजगी से जुड़ी खबरों पर चुप्पी तोड़ी है।
INDIA Alliance: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपनी सियासी नाराजगी को लेकर हमेशा खबरों में रहे हैं। एनडीए में रहने के दौरान जिस तरह बीजेपी से उनकी नाराजगी की खबरें आती रहती थी, बिल्कुल वैसे ही महागठबंधन में रहते हुए आज कल कांग्रेस और राजद से उनके मनमुटाव की खबरें आती रहती हैं। राजनीतिक हलकों में इस बात की चर्चा है कि इंडिया गठबंधन का संयोजक न बनाए जाने से नीतीश कुमार बेहद खफा हैं।
दिल्ली में गठबंधन की हुई चौथी बैठक से बिहार सीएम जल्दी चले गए थे, जिसके बाद कयासों का बाजार और गर्म हो गया। मीटिंग के करीब छह दिन बाद नीतीश कुमार ने मीडिया में चल रही अपनी नाराजगी से जुड़ी खबरों पर चुप्पी तोड़ी है। उन्होंने कहा कि मैं किसी से नाराज नहीं हूं, हमारी पार्टी एकजुट है। हम किसी पद को लेकर नाराज नहीं हैं। हमने पहले ही कह दिया था कि हमें कुछ नहीं चाहिए।
दरअसल, सीएम नीतीश आज बिहार की राजधानी पटना के पाटलिपुत्र कॉलोनी स्थित अटल पार्क पहुंचे थे। यहां उन्होंने दिवंगत प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। इस दौरान उन्होंने दिल्ली की बैठक को लेकर चल रही खबरों पर चुप्पी तोड़ते हुए कहा कि मीडिया में कुछ जगहों पर मेरी खबर को दूसरे तरीके से पेश किया जाता है। लेकिन हमको किसी से नाराजगी नहीं है। संयोजक बनाए जाने की बात हुई तो मैंने खुद कहा कि मेरी कोई इच्छा नहीं है. हम तो चाहते हैं कि सब लोग एकजुट होकर रहें।
सीट शेयरिंग पर क्या बोले नीतीश
इंडिया गठबंधन की बैठक में पश्चिम बंगाल सीएम ममता बनर्जी, दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल और सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव सरीखे नेताओं ने 31 दिसंबर तक सीट शेयरिंग फाइनल कर लेने की बात कही है। इस पर सीएम नीतीश ने कहा कि सीट को लेकर फार्मूला तय हो जाएगा, फिर जिसको जहां सीट मिलेगी, वो वहां से चुनाव लड़ेगा।
जदयू के विलय पर कही ये बात
बिहार की राजनीति में इस बात की चर्चा काफी समय से है कि जदयू का राजद में विलय हो जाएगा। उपेंद्र कुशवाहा सरीखे नेता यही आरोप लगाकर नीतीश कुमार से अलग हुए थे। पिछले दिनों केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने लालू यादव के हवाले से इस संबंध में बड़ा दावा कर सियासी हलचल पैदा कर दी थी। सुशील मोदी भी ये बातें दोहराते हैं। बिहार सीएम ने अपने पूर्व डिप्टी के बयान पर कहा कि कौन-क्या बोलता है, हम ध्यान नहीं देते हैं क्योंकि आजकल वो अंड-बंड बोलते हैं ताकि उनको लाभ मिले। कोई इधर-उधर नहीं है, सब लोग एकजुट हैं।
राहुल से बात के बाद बदले नीतीश के तेवर !
इंडिया गठबंधन की मीटिंग में ममता बनर्जी ने प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के तौर पर मल्लिकार्जुन खड़गे के नाम का प्रस्ताव रख कर नीतीश-लालू समेत अन्य नेताओं को चौंका दिया था। अरविंद केजरीवाल ने भी इसका समर्थन किया। इसके बाद इंडिया गठबंधन के प्रेस कांफ्रेंस से नीतीश और लालू दोनों नदारद दिखे। जिसके बाद बिहार सीएम की नाराजगी की अटकलें लगने लगीं। जदयू के नेताओं की ओर से भी तीखे बयान आने लगे। तीन दिन बाद राहुल गांधी ने नीतीश कुमार से फोन पर बात की। बताया जाता है कि इस दौरान उन्होंने आश्वासन दिया कि उनकी उपेक्षा गठबंधन में नहीं होगी, इसके बाद नीतीश के तेवर बदले।