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Odisha Train Accident: बहनगा का वह स्कूल ढहाया जहां रखी गईं थीं लाशें

Odisha Train Accident: स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों के पेरेंट्स ने अपने बच्चों को तब तक स्कूल भेजने से मना कर दिया था जब तक कि इसे तोड़कर दोबारा नहीं बनाया जाता।

Neel Mani Lal
Published on: 10 Jun 2023 5:36 AM GMT
Odisha Train Accident: बहनगा का वह स्कूल ढहाया जहां रखी गईं थीं लाशें
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odisha bahanaga school (photo: social media )

Odisha Train Accident: ओडिशा सरकार ने बहानागा के सरकारी नोडल हाई स्कूल में सात कक्षाओं को गिराने का फैसला किया है, जहां 2 जून की ट्रेन दुर्घटना में मारे गए लोगों के शव एक दिन के लिए रखे गए थे।

"आत्माओं का अड्डा"

स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों के पेरेंट्स ने अपने बच्चों को तब तक स्कूल भेजने से मना कर दिया था जब तक कि इसे तोड़कर दोबारा नहीं बनाया जाता। लोगों का कहना था कि यह स्कूल अब मृतकों की आत्माओं का अड्डा बन गया है। स्कूल कमेटी ने भी अभिभावकों की मांग का समर्थन किया था।

कलेक्टर ने साइंस की दुहाई दी थी।

हालांकि जिला कलेक्टर दत्तात्रेय भाऊसाहेब शिंदे ने स्थानीय लोगों से कहा था कि वह खुद विचार करें कि क्या स्कूली बच्चों को "वैज्ञानिक नज़रिया" विकसित करने के लिए प्रोत्साहित करने के बजाय भूतों के बारे में "अंधविश्वास" का इंजेक्शन लगाया जाना चाहिए?

राज्य सरकार झुकी

कलेक्टर शिंदे की अपील के एक ही दिन बाद राज्य सरकार ने जनता की मांग मान ली। मुख्य सचिव पी.के. जेना, मुख्यमंत्री के सचिव वी.के. पांडियन और स्कूल व जन शिक्षा सचिव एस. अश्वथी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग पर अभिभावकों और स्कूल के शिक्षकों से उनकी राय जानने के लिए बात की। शिक्षकों ने भी अभिभावकों की मांग का समर्थन किया।

डरे हुए हैं लोग

बताया जाता है कि अभिभावकों ने कहा कि वे सब दुर्घटना के बाद से बहुत डरे हुए हैं। कुछ शिक्षकों ने भी कहा कि गर्मी की छुट्टी के बाद 19 जून को फिर से खुलने के कारण स्कूल के अपने दैनिक निरीक्षण के दौरान उन्हें स्कूल में "अजीब" महसूस हुआ। उन्होंने अफसरों से कहा कि अगर अभिभावकों की मांग नहीं मानी गई तो मुमकिन है कि बच्चे स्कूल ही न आएं।

पूरा स्कूल नहीं ढहाया जाएगा

राज्य सरकार ने स्कूल के सभी 16 कमरों को गिराने की अभिभावकों की मांग को पूरी तरह से स्वीकार नहीं किया है। फिलहाल सिर्फ उन सात कमरों को गिराने और फिर से बनाने की योजना है । जहां शवों को रखा गया था। गिराए जाने वाले सात कमरों में पहली से सातवीं तक की पढ़ाई होती थी। स्कूल में कक्षा पहली से दसवीं तक के 565 छात्र हैं। 67 साल पुराने स्कूल की एसबेस्टस की छत को हटाने का काम कर दिया गया है। स्कूल की रीमॉडलिंग का प्लान जिला कलेक्टर 15 दिन के भीतर शासन को सौंपेंगे।

Neel Mani Lal

Neel Mani Lal

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