Old Age Population in India: भारत में बढ़ रही वृद्ध आबादी, अगले 14 साल में बदल जाएगी तस्वीर

Old Age Population in India: 15 साल से कम उम्र की आबादी के अनुपात में गिरावट का अनुमान है, जबकि आबादी में बुजुर्गों के बढ़ने की उम्मीद है।

Neel Mani Lal
Written By Neel Mani Lal
Published on: 13 July 2022 10:48 AM GMT
Old Age Population in india
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भारत में बढ़ रही वृद्ध आबादी (photo: social media )

Old Age Population In India: युवा भारत में अब युवाओं की आबादी का हिस्सा कम होना शुरू हो गया है, और 2021-2036 के दौरान बुजुर्गों (Old Age Population) की हिस्सेदारी में लगातार वृद्धि होने की उम्मीद है। सांख्यिकी एवं कार्यक्रम कार्यान्यवन मंत्रालय द्वारा जारी 'यूथ इन इंडिया 2022' रिपोर्ट के अनुसार, बिहार और उत्तर प्रदेश जैसे अधिक आबादी वाले राज्यों में युवा जनसंख्या में गिरावट होने की संभावना है। 2021 इन्हीं राज्यों की कुल जनसंख्या में युवाओं की संख्या में वृद्धि देखी गई थी।

केरल, तमिलनाडु और हिमाचल प्रदेश जैसे राज्यों में 2036 तक युवाओं की तुलना में अधिक बुजुर्ग आबादी होने का अनुमान है। यूपी, बिहार, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और राजस्थान में देश के आधे से अधिक (52 प्रतिशत) युवाओं के होने का अनुमान है।

जनसंख्या अनुमानों पर स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा गठित तकनीकी समूह की 2020 की रिपोर्ट के निष्कर्षों के अनुसार, 2021 में कुल जनसंख्या में 15 से 29 वर्ष के आयु वर्ग के युवाओं का हिस्सा 27.2 प्रतिशत हिस्सा था जो 2036 तक घटकर 22.7 हो जाएगा।

15 साल से कम उम्र की आबादी के अनुपात में गिरावट

रिपोर्ट में कहा गया है कि 15 साल से कम उम्र की आबादी के अनुपात में गिरावट का अनुमान है, जबकि आबादी में बुजुर्गों के बढ़ने की उम्मीद है। रिपोर्ट में कहा गया है कि युवा आबादी शुरू में बढ़ने की उम्मीद है, लेकिन 2011-2036 की अवधि के उत्तरार्ध में गिरावट शुरू हो जाएगी। 1991 में कुल युवा आबादी 222.7 मिलियन से बढ़कर 2011 में 333.4 मिलियन हो गई और 2021 तक 371.4 मिलियन तक पहुंचने का अनुमान है और उसके बाद 2036 तक घटकर 345.5 मिलियन हो जाएगी।

केरल में युवा आबादी अन्य राज्यों की तुलना में पहले ही पीक पर पहुंच चुकी है। 2021 में यहां की कुल जनसंख्या में बुजुर्गों का हिस्सा 16.5 फीसदी और युवाओं का हिस्सा 22.1 प्रतिशत युवा होने का अनुमान लगाया गया है। लेकिन 2036 तक कुल आबादी में बुजुर्गों की हिस्सेदारी 22.8 प्रतिशत और युवाओं की हिस्सेदारी 19.2 प्रतिशत हो जाने का अनुमान है। रिपोर्ट में कहा गया है कि तमिलनाडु और हिमाचल प्रदेश में भी 2036 तक युवाओं की तुलना में बुजुर्गों की आबादी अधिक होने का अनुमान है।

रिपोर्ट में कहा गया है कि भविष्य में जनसंख्या में बुजुर्गों का अनुपात अधिक होने से बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं और बुजुर्गों के लिए कल्याणकारी योजनाओं/कार्यक्रमों के विकास की डिमांड पैदा होगी।

बुजुर्गों की आबादी में वृद्धि

विशेषज्ञों ने कहा है कि बुजुर्गों की आबादी में वृद्धि से सामाजिक सुरक्षा और लोक कल्याण प्रणालियों पर दबाव पड़ेगा। इसलिए अगले 4-5 वर्षों का उपयोग रोजगार सृजन में तेजी लाने के लिए किया जाना चाहिए। लेकिन अभी तक ऐसा नहीं हुआ है। दक्षिणी राज्यों में आश्रित जनसंख्या का हिस्सा बढ़ने की भविष्यवाणी की गई है, जिसका मतलब है कि वृद्धों के लिए सामाजिक सुरक्षा, पेंशन और स्वास्थ्य सेवा की चुनौतियां बढ़ने वाली हैं।

उन्नत अर्थव्यवस्थाओं में यही देखा जाता है। युवा कामकाजी आयु वर्ग के विपरीत जनसंख्या में बुजुर्गों की हिस्सेदारी बढ़ने लगती है। तथ्य ये है कि आम तौर पर लोग अनौपचारिक रोजगार में लगे हैं जहां कोई सामाजिक सुरक्षा नहीं है।

कुल जनसंख्या में युवाओं का अनुपात 1991 में 26.6 प्रतिशत से बढ़कर 2016 में 27.9 प्रतिशत हो गया था और फिर नीचे की ओर रुझान शुरू होने और वर्ष 2036 तक 22.7 प्रतिशत तक पहुंचने का अनुमान था। इसके विपरीत, बुजुर्गों की आबादी का अनुपात 1991 में कुल जनसंख्या 6.8 प्रतिशत से बढ़कर 2016 में 9.2 प्रतिशत हो गया और 2036 में 14.9 प्रतिशत तक पहुंचने का अनुमान है।

संयुक्त राष्ट्र की विश्व जनसंख्या संभावना रिपोर्ट

संयुक्त राष्ट्र की विश्व जनसंख्या संभावना (डब्ल्यूपीपी) रिपोर्ट, 2022 संस्करण के अनुसार, भारत को 2023 में दुनिया के सबसे अधिक आबादी वाले देश के रूप में चीन से आगे निकलने का अनुमान है। रिपोर्ट में बताया गया है कि प्रजनन क्षमता में निरंतर गिरावट के कारण कामकाजी उम्र (25 और 64 वर्ष के बीच) में जनसंख्या की बढ़ी हुई एकाग्रता और आयु वितरण में बदलाव त्वरित आर्थिक विकास के लिए एक समयबद्ध अवसर प्रदान करता है जिसे "जनसांख्यिकीय लाभांश" के रूप में जाना जाता है।

रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि वृद्ध जनसंख्या संख्या अनुपातिक रूप से ज्यादा बढ़ रही है। 65 वर्ष या उससे अधिक आयु की वैश्विक आबादी का हिस्सा 2022 में 10 प्रतिशत से बढ़कर 2050 में 16 प्रतिशत हो जाएगा। ऐसे में वृद्ध आबादी वाले देशों को सामाजिक सुरक्षा, पेंशन और स्वास्थ्य देखभाल और के लिए कदम उठाने होंगे।

Monika

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Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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