TRENDING TAGS :
देश में महंगा होगा डीजल-पेट्रोल ! ओपेक देश उत्पादन में कटौती जारी रखेंगे
लगातार गिर रही क्रूड ऑइल की कीमतों को रोकन के लिए जो फार्मूला निकाला जा रहा है इसका सीधा असर देश में पेट्रोलियम कीमतों पर पड़ सकता है। कच्चे तेल की कीमतें आने
विएना: लगातार गिर रही क्रूड ऑइल की कीमतों को रोकन के लिए जो फार्मूला निकाला जा रहा है इसका सीधा असर देश में पेट्रोलियम कीमतों पर पड़ सकता है। कच्चे तेल की कीमतें आने वाले समय में लगातार बढ़ सकती हैं।
ऑर्गेनाइजेशन ऑफ पेट्रोलियम एक्सपोर्टिंग कंट्रीज (ओपेक) ने 30 नवंबर की मीटिंग में तेल उत्पादन में कटौती को 2018 के अंत तक जारी रखने का फैसला लिया। इस फैसले के पीछे का कारण लगातार गिर रही क्रूड ऑइल की कीमतों को रोकना है। इसका सीधा मतलब यह है कि अपने देश में भी पेट्रोल और डीजल की कीमतों पर इसका असर निश्चित तौर पर देखने को मिल सकता।
यह भी पढ़े.....Good News: तेल कीमतों में बड़ी कटौती, पेट्रोल 3.77 रुपए तो डीजल 2.91 रुपए सस्ता
ओपेक की मैराथन मीटिंग उसके हेडक्वॉर्टर में हुई, लेकिन लीबिया के मसले पर आम सहमति नहीं बन पाई।लीबिया इस समय आंतरिक अस्थिरता के दौर से गुजर रहा है।
अपने इस फैसले को लेकर 14 सदस्यीय ओपेक नॉन-ओपेक मेंबर देशों के साथ संयुक्त रूप से प्रॉडक्शन कट को लेकर बैठक करने जा रहा है।ओपेक का नेतृत्व रूस कर रहा है। रूस ने इसी साल ओपेक देशों के साथ मिलकर प्रॉडक्शन कट किया था। वह अंतरराष्ट्रीय क्रूड ऑइल मार्केट को घाटे से उबारने के लिए लगातार प्रॉडक्शन कट की वकालत कर रहा है। अंतरराष्ट्रीय तेल बाजार में कच्चे तेल की कीमतों को रोकने की यह कोशिश कितनी सफल होती है यह ओपेक सदस्य देश और गैर ओपेक सदस्य देश पर निर्भर करेगा।अंतरराष्ट्रीय मार्केट में क्रूड ऑइल की कीमत प्रति बैरल 60 डॉलर से ज्यादा पहुंच चुकी है।