×

रघुराम राजन ने कहा- अब कोई नहीं कह सकता कि नोटबंदी सफल रही

aman
By aman
Published on: 3 Sep 2017 4:02 AM GMT
रघुराम राजन ने कहा- अब कोई नहीं कह सकता कि नोटबंदी सफल रही
X
रघुराम राजन ने कहा- अब कोई नहीं कह सकता कि नोटबंदी सफल रहा

नई दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन ने कहा, कि 'उन्होंने मोदी सरकार को नोटबंदी से दीर्घावधि के फायदों पर निकट भविष्य के नुकसान के हावी होने को लेकर चेतावनी दी थी।'

रघुराम राजन ने कहा, कि 'उन्होंने कालेधन को सिस्टम में लाने का मकसद पूरा करने के दूसरे तरीके भी सरकार को सुझाए थे। फरवरी 2016 में मौखिक तौर पर अपनी सलाह दी थी।' बाद में, आरबीआई ने सरकार को एक नोट सौंपा जिसमें उठाए जानेवाले जरूरी कदमों और इसकी समयसीमा का पूरा खाका पेश किया था।

ये भी पढ़ें ...डोकलाम के बाद ब्रिक्स सम्मेलन में मोदी-शी पर होगी सबकी नजर

रघुराम राजन ने ये बातें अपनी आनेवाली पुस्तक 'I Do What I Do: On Reforms Rhetoric and Resolve' (मुझे जो करना होता है, वह मैं करता हूं: सुधारों का शोरगुल और संकल्प) में लिखी हैं।

अभी शिकागो यूनिवर्सिटी में दे रहे सेवाएं

राजन ने किताब में लिखा है, 'आरबीआई ने इस ओर इशारा किया था कि नोटबंदी को लेकर अपर्याप्त तैयारी के अभाव में क्या-क्या हो सकता है।' बता दें, की राजन आरबीआई गवर्नर का अपना कार्यकाल खत्म होने के बाद बतौर फैकल्टी शिकागो यूनिवर्सिटी में अपनी सेवाएं दे रहे हैं।

ये भी पढ़ें ...यहां देख लो! नोटबंदी पर मनमोहन सिंह की वो बात सच हुई साबित

संपर्क तो किया गया था, लेकिन...

अंग्रेजी अखबार 'टाइम्स ऑफ इंडिया' के साथ खास बातचीत में पूर्व आरबीआई गवर्नर ने स्पष्ट किया, कि 'आरबीआई से संपर्क तो किया गया था, लेकिन उनके कार्यकाल के दौरान कभी भी नोटबंदी पर फैसला लेने को नहीं कहा गया।' ज्ञात हो कि 'रघुराम राजन का कार्यकाल 5 सितंबर 2016 को पूरा हो गया था, जबकि केंद्र सरकार ने नोटबंदी की घोषणा उसी साल 8 नवंबर को की थी।

ये भी पढ़ें ...नोटबंदी ‘सबसे बड़ा घोटाला’ मोदी ने किया गुमराह : कांग्रेस

अब कोई नहीं कह सकता कि ये सफल रही

जबकि हाल ही में सरकार ने नोटबंदी के फैसले का बचाव करते हुए कहा है कि 'इससे टैक्स बेस बढ़ने से लेकर डिजिटल ट्रांजैक्शन में इजाफे तक कई दूसरे फायदे हुए हैं।' रघुराम राजन ने माना, कि 'नोटबंदी के पीछे इरादा काफी अच्छा था, लेकिन इसकी बड़ी कीमत चुकानी पड़ी।' उन्होंने कहा, 'निश्चित रूप से अब तो कोई किसी सूरत में नहीं कह सकता है कि यह आर्थिक रूप से सफल रहा है।'

aman

aman

Content Writer

अमन कुमार - बिहार से हूं। दिल्ली में पत्रकारिता की पढ़ाई और आकशवाणी से शुरू हुआ सफर जारी है। राजनीति, अर्थव्यवस्था और कोर्ट की ख़बरों में बेहद रुचि। दिल्ली के रास्ते लखनऊ में कदम आज भी बढ़ रहे। बिहार, यूपी, दिल्ली, हरियाणा सहित कई राज्यों के लिए डेस्क का अनुभव। प्रिंट, रेडियो, इलेक्ट्रॉनिक और डिजिटल मीडिया चारों प्लेटफॉर्म पर काम। फिल्म और फीचर लेखन के साथ फोटोग्राफी का शौक।

Next Story