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Rajasthan Politics: राजस्थान के 'गद्दार' पर राहुल ने तोड़ी चुप्पी, गहलोत और पायलट दोनों को कांग्रेस की धरोहर बताया
Rajasthan Politics: भारत जोड़ो यात्रा के दौरान इंदौर में हुई एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राहुल गांधी ने गहलोत और पायलट दोनों नेताओं को कांग्रेस के लिए धरोहर बताया।
New Delhi: राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट (Sachin Pilot) के बीच छिड़े सियासी घमासान पर राहुल गांधी ने पहली बार चुप्पी तोड़ी है। भारत जोड़ो यात्रा के दौरान इंदौर में हुई एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राहुल गांधी (Rahul Gandhi0 ने गहलोत और पायलट दोनों नेताओं को कांग्रेस के लिए धरोहर बताया। हालांकि राहुल ने दोनों नेताओं के बीच चल रही खींचतान के बारे में ज्यादा बोलने से परहेज किया। गहलोत की ओर से पायलट को गद्दार बताए जाने के बाद राहुल गांधी ने पहली बार पायलट और सचिन को लेकर कोई प्रतिक्रिया जताई है।
प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राजस्थान कांग्रेस के संकट के संबंध में राहुल गांधी से बार-बार सवाल पूछे गए मगर राहुल ने इस विवाद को लेकर संक्षिप्त टिप्पणी ही की। उन्होंने राजस्थान के दोनों कांग्रेस नेताओं को कांग्रेस के लिए एसेट बताते हुए दावा किया कि इस विवाद का भारत जोड़ो यात्रा पर कोई असर नहीं पड़ने वाला है। मध्य प्रदेश के बाद राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा 5 दिसंबर को राजस्थान में दाखिल होने वाली है।
विवाद पर टिप्पणी से बचते रहे राहुल गांधी
राजस्थान में गहलोत और पायलट के विवाद ने इन दिनों कांग्रेस नेतृत्व को मुश्किल में डाल रखा है। गहलोत की ओर से पायलट को गद्दार बताए जाने के बाद राहुल गांधी ने अभी तक इस मामले में चुप्पी साध रखी थी। यही कारण है कि आज इंदौर में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राहुल गांधी से गहलोत और पायलट के विवाद पर सवाल पूछे गए। इन सवालों के जवाब में राहुल ने दोनों नेताओं को कांग्रेस के लिए महत्वपूर्ण बताते हुए पार्टी के लिए धरोहर बताया। हालांकि वे इस विवाद पर ज्यादा टिप्पणी करने से बचते हुए दिखे। उनके जवाबों से साफ हो गया कि वे इस विवाद को टालने की कोशिश में जुटे हुए हैं।
राजस्थान के दो प्रमुख नेताओं का विवाद काफी दिनों से कांग्रेस नेतृत्व के लिए गले की हड्डी बना हुआ है। गहलोत ने हाल में पायलट के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए कहा था कि गद्दार कभी राजस्थान का मुख्यमंत्री नहीं बन सकता। गहलोत की ओर से यह बयान दिए जाने के बाद राजस्थान में दोनों खेमों के बीच खींचतान तेज हो गई है। ऐसी स्थिति में राहुल गांधी ने इस मुद्दे पर खुलकर अपनी राय नहीं रखी।
भारत जोड़ो यात्रा पर नहीं होगा असर
मीडिया से बातचीत के दौरान राहुल गांधी ने इस बात से इनकार किया कि गहलोत और पायलट के बीच विवाद का भारत जोड़ो यात्रा पर कोई असर पड़ेगा। उन्होंने कहा कि दोनों नेता कांग्रेस के लिए काम कर रहे हैं और उनके बीच विवाद से भारत जोड़ी यात्रा तनिक भी प्रभावित नहीं होगी। राहुल ने कहा कि जब भी मैं किसी नए राज्य में पहुंचता हूं तो मीडिया की ओर से उस राज्य में समस्या पैदा होने की बात कही जाती है जबकि हकीकत में ऐसा कुछ नहीं होता।
राहुल ने कहा कि अब राजस्थान के बारे में मीडिया की ओर से यह बात कही जा रही है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने दावा किया कि अब भारत जोड़ो यात्रा भारत की आवाज बन चुकी है और देश में सभी वर्गों का यात्रा को समर्थन हासिल हो रहा है। उन्होंने मध्यप्रदेश के बाद राजस्थान में यात्रा की कामयाबी का दावा किया।
संकट के समाधान में जुटा पार्टी नेतृत्व
जानकारों का कहना है कि राजस्थान में पैदा हुए विवाद पर राहुल गांधी खुलकर कुछ नहीं बोलना चाहते। कांग्रेस नेतृत्व भी इस मामले को ज्यादा टालने के मूड में नहीं है। राजस्थान में अगले साल विधानसभा चुनाव होने वाला है। इसलिए पार्टी नेतृत्व जल्द से जल्द राजस्थान कांग्रेफ के संकट का समाधान खोजने की कोशिश में जुट गया है। इसी सिलसिले में कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल कल जयपुर पहुंचने वाले हैं।
कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि जयपुर में वेणुगोपाल मुख्यमंत्री गहलोत के साथ ही सचिन पायलट से भी अलग-अलग चर्चा करके सुलह का रास्ता तैयार करने की कोशिश करेंगे। अगर वेणुगोपाल को अपनी मुहिम में कामयाबी नहीं मिली तो कांग्रेस नेतृत्व की ओर से राजस्थान के संबंध में कड़ा फैसला लिया जा सकता है। हालांकि अभी तक यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि इस कड़े फैसले के तहत गहलोत को झटका लगेगा या सचिन पायलट को।