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Himachal Political Crisis: कांग्रेस में बढ़ी खींचतान, दो मंत्रियों की सीएम सुक्खू से तीखी बहस
Himachal Political Crisis: कैबिनेट की बैठक के दौरान राज्य के दो मंत्रियों जगत नेगी और रोहित ठाकुर की ओर से नीतिगत फैसलों को लेकर तीखी बहस किए जाने की बात सामने आई है।
Himachal Political Crisis: हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव के बाद राज्य की कांग्रेस सरकार के लिए पैदा हुआ संकट अभी खत्म होता नहीं दिख रहा है। राज्यसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस के छह विधायकों की क्रॉस वोटिंग के बाद कांग्रेस के कुछ अन्य विधायकों में भी नाराजगी की बात सामने आई है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की ओर से राज्य सरकार पर संकट न होने का दावा किया जा रहा है मगर उनका दावा वास्तविकता से काफी दूर दिख रहा है।
शनिवार को राज्य की कैबिनेट बैठक के दौरान भी ऐसा नजारा दिखा जिससे सुक्खू सरकार संकट में दिख रही है। कैबिनेट की बैठक के दौरान राज्य के दो मंत्रियों जगत नेगी और रोहित ठाकुर की ओर से नीतिगत फैसलों को लेकर तीखी बहस किए जाने की बात सामने आई है। मुख्यमंत्री के साथ बहस के बाद ये दोनों मंत्री बैठक छोड़कर चले गए। हालांकि बाद में मंत्रियों की ओर से सफाई जरूर पेश की गई। इस प्रकरण से साफ हो गया है कि राज्य की कांग्रेस सरकार में सबकुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है।
मुख्यमंत्री के साथ मंत्रियों की तीखी बहस
हिमाचल कांग्रेस में राज्यसभा चुनाव के बाद ही घमासान छिड़ा हुआ है। राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग करने वाले कांग्रेस के विधायकों को स्पीकर की ओर से अयोग्य घोषित किया जा चुका है और अब इस मामले को लेकर अदालती लड़ाई होने वाली है। दूसरी ओर कांग्रेस कुछ अन्य विधायक भी असंतुष्ट बताए जा रहे हैं। मुख्यमंत्री के फैसलों को लेकर मंत्रियों की ओर से भी आपत्ति उठाई जाने लगी है। शनिवार को कैबिनेट मीटिंग के दौरान राज्य के दो मंत्रियों जगत नेगी और रोहित ठाकुर की मुख्यमंत्री के साथ तीखी बहस होने की खबर है।
बाद में मंत्रियों ने पेश की सफाई
सूत्रों का कहना है कि मंत्रियों के बैठक छोड़कर जाने के बाद राज्य के डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री के मनाए जाने पर शिक्षा मंत्री ठाकुर बैठक में लौट आए। दूसरी ओर राजस्व मंत्री नेगी की ओर से भी सफाई पेश की गई है। उन्होंने कहा कि कैबिनेट की बैठक सुबह 11:00 होने वाली थी मगर यह 12:30 बजे शुरू हो सकी। उन्हें किसी अन्य कार्यक्रम में जाना था। इसलिए वे बैठक छोड़कर चले गए। हालांकि उनका तर्क किसी के गले के नीचे नहीं उतरा क्योंकि कैबिनेट बैठक से ज्यादा महत्वपूर्ण कोई दूसरा कार्यक्रम नहीं हो सकता।
शिक्षा मंत्री ठाकुर ने कहा कि उन्हें किसी से मिलने के लिए जाना था। इसलिए वे कुछ देर के लिए बैठक छोड़कर गए थे मगर बाद में वापस लौट आए। दूसरी ओर जानकारों का कहना है कि बैठक के दौरान इन मंत्रियों की मुख्यमंत्री के साथ तीखी बहस हुई थी जिसके बाद नाराजगी में उन्होंने बैठक का बहिष्कार कर दिया।
बागी विधायक ने किया बड़ा दावा
इस बीच बागी तेवर दिखाने वाले विधायक राजेंद्र राणा ने दावा किया है कि राज्य के कई कांग्रेस विधायक घुटन महसूस कर रहे हैं। उन्होंने दावा किया की पार्टी के नौ अन्य विधायक उनके संपर्क में बने हुए हैं। राणा ने पांच अन्य कांग्रेस विधायकों के साथ राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग की थी जिसकी वजह से कांग्रेस प्रत्याशी अभिषेक मनु सिंघवी को हार का मुंह देखना पड़ा था। क्रॉस वोटिंग करने वाले सभी कांग्रेस विधायकों को अयोग्य घोषित किया जा चुका है।
हाईकमान संकट सुलझाने की कोशिश में जुटा
इस बीच कांग्रेस हाईकमान हिमाचल संकट का स्थायी समाधान खोजने की कोशिश में जुटा हुआ है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह और उनके बेटे विक्रमादित्य सिंह के कदमों पर पार्टी नेतृत्व की सतर्क निगाहें हैं। हिमाचल प्रदेश भेजे गए केंद्रीय पर्यवेक्षकों की ओर से जल्द ही कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को रिपोर्ट सौंपे जाने की संभावना है।
इस रिपोर्ट के आधार पर ही सुक्खू सरकार को संकट से बाहर निकालने की स्थायी राह निकाली जाएगी। कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि राहुल गांधी ने हिमाचल संकट के संबंध में पार्टी अध्यक्ष खड़गे के साथ बातचीत की है। अब हाईकमान की ओर से उठाए जाने वाले कदमों पर सबकी निगाहें लगी हुई हैं।