UPSC छात्रों की मौत के मामले में SC का सख्त रुख, केंद्र और दिल्ली सरकार को नोटिस, ऑनलाइन क्लास का निर्देश

SC on Delhi Coaching Centre Deaths: सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जब तक कोचिंग संस्थानों में सुरक्षा मानकों का पालन सुनिश्चित नहीं किया जाता, तब तक ऑनलाइन क्लास ही चलाई जाए।

Anshuman Tiwari
Written By Anshuman Tiwari
Published on: 5 Aug 2024 7:33 AM GMT (Updated on: 5 Aug 2024 8:01 AM GMT)
SC on Delhi Coaching Centre Deaths
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SC on Delhi Coaching Centre Deaths  (photo: social media )

SC on Delhi Coaching Centre Deaths: सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में राव आईएएस कोचिंग केंद्र में यूपीएससी की तैयारी कर रहे तीन छात्रों की मौत के मामले का संज्ञान लिया है। शीर्ष अदालत ने इस मामले में सख्त रुख अपनाते हुए केंद्र और दिल्ली सरकार को नोटिस जारी किया है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि कोचिंग केंद्र देश के विभिन्न हिस्सों से आए अभ्यर्थियों के जीवन के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं। अदालत ने कहा कि जब तक कोचिंग संस्थानों में सुरक्षा मानकों का पालन सुनिश्चित नहीं किया जाता, तब तक ऑनलाइन क्लास ही चलाई जाए।

कोचिंग केंद्रों को करना होगा नियमों का पालन

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली में हुई घटना आंखें खोलने वाली है। इस घटना को देखते हुए सुरक्षा मानकों का पालन न करने वाले कोचिंग संस्थानों को चलाए जाने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए। इन कोचिंग केंद्रों में देश के विभिन्न हिस्सों से आने वाले अभ्यर्थियों की जिंदगी के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि सभी कोचिंग केंद्रों को फायर और सेफ्टी के सभी नियमों का पालन करना होगा।

ऑनलाइन क्लास चलाने का निर्देश

कोचिंग संस्थानों में फायर सेफ्टी रूल्स के पालन से जुड़े हाईकोर्ट के एक आदेश के खिलाफ कोचिंग सेंटर फेडरेशन सुप्रीम कोर्ट पहुंचा था। फेडरेशन की याचिका पर सख्त नाराजगी जताते हुए शीर्ष अदालत ने उस पर एक लाख का हर्जाना भी लगाया। सुप्रीम कोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि कोचिंग सेंटर्स डेथ चेंबर बन गए हैं। अगर सुरक्षा मानकों को पूरा नहीं किया जा सकता है तो उन्हें ऑनलाइन चलाना ही बेहतर होगा।

केंद्र और राज्य सरकार से पूछा सवाल

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हमें इस बात की जानकारी नहीं है कि केंद्र और राज्य सरकार की ओर से इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए क्या प्रभावी कदम उठाए गए हैं। जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि दिल्ली में कोचिंग सेंटर में पढ़ने वाले कुछ छात्रों की जान लेने वाली दुर्भाग्यपूर्ण घटना हुई है। यह छात्र अपना करियर संवारने की कोशिश में जुटे हुए थे। यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना सबकी आंखें खोलने वाली है।

शीर्ष अदालत ने कहा कि ऐसे में केंद्र और राज्य सरकार को बताना चाहिए कि अभी तक कौन से सुरक्षा मानदंड निर्धारित किए गए हैं। इसके साथ ही यह अभी स्पष्ट करना चाहिए कि सुरक्षा मानकों का पालन सुनिश्चित करने के लिए कौन सा प्रभावी तंत्र बनाया गया है।

युवाओं की जिंदगी से नहीं कर सकते खिलवाड़

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हम युवाओं की जिंदगी के साथ खिलवाड़ नहीं कर सकते। इसलिए जब तक सुरक्षा मानकों का पूरी तरह पालन नहीं किया जाता तब तक ऑनलाइन क्लास ही चलाई जानी चाहिए। अदालत ने कहा कि दिल्ली ही नहीं बल्कि एनसीआर में भी कोई भी कोचिंग केंद्र बिना सुरक्षा मानकों के पालन के नहीं चलना चाहिए। छात्रों के जीवन की सुरक्षा के लिए यह कदम उठाया जाना जरूरी है।

कोर्ट ने कहा कि देशभर के बच्चे दिल्ली के कोचिंग केंद्र में यह सोचकर आते हैं कि उनका सपना पूरा होगा और यहां पर उन्हें पूरी सुविधाएं मिलेंगी। दिल्ली में तीन छात्रों की मौत बेसमेंट में पानी भर जाने के कारण हुई। इस घटना के बाद हमें सतर्क रहना होगा ताकि आगे इस तरह की घटनाएं न हो सकें।

Monika

Monika

Content Writer

पत्रकारिता के क्षेत्र में मुझे 4 सालों का अनुभव हैं. जिसमें मैंने मनोरंजन, लाइफस्टाइल से लेकर नेशनल और इंटरनेशनल ख़बरें लिखी. साथ ही साथ वायस ओवर का भी काम किया. मैंने बीए जर्नलिज्म के बाद MJMC किया है

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