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सबरीमाला विवाद: महिलायें अपना हक पाने के लिए आज बनायेंगी 620 Km की ह्यूमन चेन
मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने कहा था, ‘सबरीमाला में महिलाओं के प्रवेश के खिलाफ सांप्रदायिक ताकतों के प्रदर्शन ने सरकार और अन्य प्रगतिशील संगठनों को राज्य में महिलाओं की दीवार बनाने के लिए प्रेरित किया।’
नई दिल्ली: सबरीमाला के अय्यप्पा मंदिर में महिलाओं के प्रवेश के लिए सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद आज तक किसी भी महिला को मंदिर में घुसने नहीं दिया गया है। अब महिलाएं अपने हक और समानता के अधिकार के लिए आज राज्य में 620 किलोमीटर महिला दीवार (ह्यूमन चेन) बनाएंगी। जानकारी के अनुसार इस महिला दीवार को बनाने के लिए एक लाख महिलाएं हिस्सा ले सकती हैं।
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बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश को लागू करने के केरल सरकार के फैसले के खिलाफ राज्य में जबरदस्त प्रदर्शन किए गए। प्रदर्शनों के बाद आज लाखों महिलाओं द्वारा लैंगिक समानता और नवजागरण के मूल्यों को बरकरार बनाये रखने के लिए 620 किलोमीटर लंबी ‘महिलाओं की दीवार’ बनाने की संभावना है। जानकारी के अनुसार ये राज्य सरकार द्वारा आयोजित कार्यक्रम है।
के. के. शैलजा और वृंदा करात करेंगी अगुवाई
ये महिलाएं उत्तरी केरल के कसोरगोड से लेकर दक्षिणी छोर तिरुवनंतपुरम जिले तक यह महिला दीवार बनाएंगी। कसोरगोड में स्वास्थ्य मंत्री के के शैलजा इस श्रृंखला की अगुवाई करेंगी जबिक तिरुवनंतपुरम में श्रृंखला के आखिर में मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीएम) नेता वृंदा कारत होंगी। इसके लिए वार्ड स्तर से लेकर जिला और निर्वाचन क्षेत्र स्तर पर बैठकें भी की जा चुकी हैं।
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इस दीवार का हिस्सा बनने के लिए महिलाएं शाम तीन बजे निर्धारित स्थानों पर पहुंचेंगी, जहां पहले अभ्यास किया जाएगा। शाम चार से लेकर सवा चार बजे तक इस दीवार का निर्माण किया जाएगा और उसमें हिस्सा लेने वाली महिलाएं लैंगिक समानता और नवजागरण के मूल्यों को अक्षुण्ण बनाए रखने का संकल्प लेंगी।
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मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने कहा था, ‘सबरीमाला में महिलाओं के प्रवेश के खिलाफ सांप्रदायिक ताकतों के प्रदर्शन ने सरकार और अन्य प्रगतिशील संगठनों को राज्य में महिलाओं की दीवार बनाने के लिए प्रेरित किया।’