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Aamby Valley की नीलामी रोकने सर्वोच्च न्यायालय पहुंची सहारा

Rishi
Published on: 9 Aug 2017 6:12 PM IST
Aamby Valley की नीलामी रोकने सर्वोच्च न्यायालय पहुंची सहारा
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नई दिल्ली : सहारा समूह ने बुधवार को सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाकर एंबी वैली की नीलामी स्थगित करने की मांग की है। सहारा समूह की तरफ से अदालत में वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल पेश हुए और न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ के सामने नीलामी रोकने और सहारा को भुगतान के लिए और समय देने की मांग की।

25 जुलाई को सर्वोच्च न्यायालय ने सहारा प्रमुख सुब्रत रॉय से 1,500 करोड़ रुपये जमा करने को कहा था, जो कि उनकी दो समूह कंपनियों द्वारा निवेशकों से उगाहे गए 24,000 करोड़ रुपये का किश्तों में भुगतान था।

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अदालत ने रॉय को सात सितंबर तक 1,500 करोड़ रुपये जमा करने को कहा था और बाकी की रकम का भुगतान 18 महीनों में करने के लिए एक ठोस योजना पेश करने का आदेश दिया था।

बंबई उच्च न्यायालय के आधिकारिक परिसमापक द्वारा एंबी वैली की नीलामी के लिए निविदाएं आमंत्रित करने के लिए सभी नियमों और शर्तों को मंजूरी देते हुए अदालत ने कहा था कि अगर सहारा सात सितंबर तक 1,500 करोड़ रुपये का भुगतान करती है और आगे के भुगतान की योजना प्रस्तुत करती है तो एंबी वैली की नीलामी को स्थगित किया जा सकता है।

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हालांकि, यह भुगतान पर निर्भर है। अदालत ने कहा था कि इस रकम में रॉय द्वारा अंतिम किश्म में भुगतान नहीं किए गए 305 करोड़ रुपये के शेष राशि भी शामिल है, जिसे 15 जून तक जमा करना है।

सहारा इंडिया रियल एस्टेट कॉरपोरेशन लिमिटेड और सहारा हाउसिंग इनवेस्टमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड ने 2007 और 2008 में वैकल्पिक रूप से पूरी तरह से परिवर्तनीय डिबेंचर के माध्यम से 24,000 करोड़ रुपये आम निवेशकों से जुटाए थे। शीर्ष अदालत ने 2012 के 31 अगस्त को दिए आदेश में सहारा को 15 फीसदी ब्याज के साथ निवेशकों को यह रकम लौटाने का आदेश दिया था।

अदालत समूह से किश्तों में पैसे वसूल कर रही है। सहारा ने अब तक 16,000 करोड़ रुपये का भुगतान किया है।

Rishi

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आशीष शर्मा ऋषि वेब और न्यूज चैनल के मंझे हुए पत्रकार हैं। आशीष को 13 साल का अनुभव है। ऋषि ने टोटल टीवी से अपनी पत्रकारीय पारी की शुरुआत की। इसके बाद वे साधना टीवी, टीवी 100 जैसे टीवी संस्थानों में रहे। इसके बाद वे न्यूज़ पोर्टल पर्दाफाश, द न्यूज़ में स्टेट हेड के पद पर कार्यरत थे। निर्मल बाबा, राधे मां और गोपाल कांडा पर की गई इनकी स्टोरीज ने काफी चर्चा बटोरी। यूपी में बसपा सरकार के दौरान हुए पैकफेड, ओटी घोटाला को ब्रेक कर चुके हैं। अफ़्रीकी खूनी हीरों से जुडी बड़ी खबर भी आम आदमी के सामने लाए हैं। यूपी की जेलों में चलने वाले माफिया गिरोहों पर की गयी उनकी ख़बर को काफी सराहा गया। कापी एडिटिंग और रिपोर्टिंग में दक्ष ऋषि अपनी विशेष शैली के लिए जाने जाते हैं।

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