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Bathua Saag Benefits: बथुआ सिर्फ एक साग नहीं बल्कि है एक औषधि, इसके सेवन के अनगिनत हैं फायदे
Bathua Saag Benefits: आज हम आपसे बथुआ के बारे में बात करने जा रहे हैं और यह आपके स्वास्थ्य के लिए क्या कर सकता है।
Bathua health Benefits: सर्दियों का इंतजार करने के बहुत सारे कारण हैं और उनमें से एक हरी सब्जियों की प्रचुरता है! मेथी, पालक, सरसों का साग और बथुआ सब्ज़ी बाज़ार में भर जाते हैं और आपकी खाने की थाली को हरा-भरा बनाने में मदद करते हैं। इनमें से इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता है कि बथुआ कम जाना जाता है और सुपर पौष्टिक होने के बावजूद अक्सर इसे नजरअंदाज कर दिया जाता है।आज हम आपसे बथुआ के बारे में बात करने जा रहे हैं और यह आपके स्वास्थ्य के लिए क्या कर सकता है। समग्र स्वास्थ्य को बढ़ावा देने और विभिन्न बीमारियों से दूर रहने के लिए हम आपको अपने आहार में इसे और अधिक शामिल करने के लिए मनाने की उम्मीद कर रहे हैं।
आप देखिए, बथुआ आवश्यक खनिजों और एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होने के साथ-साथ विटामिन ए, सी और बी का पावरहाउस है। यह अमीनो एसिड, आयरन, पोटैशियम, फॉस्फोरस और कैल्शियम का एक अच्छा स्रोत है, जो इसे सेवन करने के लिए बहुत स्वस्थ बनाता है।आप इस सब्जी को अपने आहार में साग और सब्जी से लेकर पराठे, रायता और रोटी तक कई रूपों में शामिल कर सकते हैं।
बता दें कि बथुआ को उसके अनगिनत गुणों के कारण सागों का सरदार भी कहा जाता है। सर्वश्रेष्ठ आहार माने जाने वाले बथुआ को अंग्रेजी में Lamb's Quarters भी कहा जाता हैं। जबकि इसका वैज्ञानिक नाम Chenopodium album है। साग और रायता बना कर बथुआ अनादि काल से खाया जाता रहा है, लेकिन क्या आपको पता है कि विश्व की सबसे पुरानी महल बनाने की पुस्तक शिल्प शास्त्र में लिखा है कि हमारे बुजुर्ग अपने घरों को हरा रंग करने के लिए पलस्तर में बथुआ मिलाते थे? जबकि हमारी बुजुर्ग महिलायें फाँस (डैंड्रफ) साफ करने के लिए बथुए के पानी से बाल धोया करती थीं। बथुआ गुणों की खान है और भारत में ऐसी ऐसी जड़ी बूटियों की मौजूदगी भारत के महान होने का प्रत्यक्ष प्रमाण है।
विटामिन और मिनरल्स का भंडार है बथुआ
बथुआ में मौजूद विटामिन B1, B2, B3, B5, B6, B9 और C के अलावा कैल्शियम,लोहा,मैग्नीशियम,मैगनीज,फास्फोरस,पोटाशियम,सोडियम व जिंक आदि मिनरल्स भी प्रचुर मात्रा में मौजूद हैं। बता दें कि 100 ग्राम कच्चे बथुवे यानि पत्तों में 7.3 ग्राम कार्बोहाइड्रेट, 4.2 ग्राम प्रोटीन व 4 ग्राम पोषक रेशे मौजूद है जो कुल मिलाकर 43 Kcal होती है।
हाई प्रोटीन डाइट है बथुआ
गौरतलब है कि जब बथुआ मट्ठा, लस्सी या दही में मिला दिया जाता है तो यह किसी भी मांसाहार से ज्यादा प्रोटीन वाला व किसी भी अन्य खाद्य पदार्थ से ज्यादा सुपाच्य व पौष्टिक आहार बन जाता है। मान्यताओं के मुताबिक़ बाजरे या मक्का की रोटी, मक्खन व गुड़ की डली हो तो इसे खाने के लिए देवता भी तरसते हैं।
गर्भवती महिलाओं के लिए वरदान है बथुआ
बथुआ में मौजूद विटामिन और मिनिरल्स गर्भवती महिलाओं के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। आमतौर पर जब भी हम बीमार होते हैं तो आजकल डाक्टर सबसे पहले विटामिन की गोली खाने की सलाह देते हैं। खासकर गर्भवती महिला को विटामिन बी, सी व आयरन की गोली खाने की सलाह दी जाती है। ऐसे में बथुआ में मौजूद सभी पोषक तत्व सभी तरह की कमी को दूर करने में सहायक होते हैं। कहने का तात्पर्य है कि बथुआ पहलवानों से लेकर गर्भवती महिलाओं तक, बच्चों से लेकर बूढों तक, सबके लिए अमृत समान है।
प्रतिदिन खाने बथुआ खाने से नहीं होती पथरी
बथुआ का साग प्रतिदिन खाने से गुर्दों में पथरी नहीं होती। गौरतलब है कि बथुआ अमाशय को बलवान बनाता है, गर्मी से बढ़े हुए यकृत को ठीक करता है। बथुए के साग का सही मात्रा में सेवन किया जाए तो निरोग रहने के लिए सबसे उत्तम औषधि है। उल्लेखनीय है कि बथुए का सेवन कम से कम मसाले डालकर करें। नमक न मिलाएँ तो अच्छा है,यदि स्वाद के लिए मिलाना पड़े तो काला नमक मिलाएँ और देशी गाय के घी से छौंक लगाए। इसके अलावा बथुए का उबला हुआ पानी भी पौष्टिक तत्वों से भरपूर होता है। इतना ही नहीं दही में बनाया हुआ इसका रायता बेहद स्वादिष्ट होता है। गौरतलब है कि पथरी की समस्या होने पर एक गिलास कच्चे बथुए के रस में शक्कर मिलाकर नित्य पिए तो पथरी टूटकर बाहर निकल आएगी।
सर्दी में बथुआ का सेवन क्यों है अनिवार्य :
सर्दी में बथुआ आपकी थाली में क्यों होना चाहिए, इसके सात प्रमुख कारण यहां दिए गए हैं:
1. सेल की करता है मरम्मत (Repairs cell)
बथुआ अमीनो एसिड से भरपूर होता है। यह देखते हुए कि हमारी कोशिकाओं का एक बड़ा हिस्सा अमीनो एसिड से बना है, यह कोशिकाओं के कामकाज, मरम्मत और निर्माण में प्रमुख भूमिका निभा सकता है।
2. कब्ज करता है दूर (Relieves constipation)
पानी की मात्रा से भरपूर, बथुआ फाइबर का भी एक अच्छा स्रोत है और इसमें रेचक गुण होते हैं जो पाचन को बढ़ावा दे सकते हैं और कब्ज से राहत दिला सकते हैं।
3. वजन घटाने में मिल सकती है मदद (May help with weight loss)
यूएसडीए के आंकड़ों के अनुसार, 100 ग्राम बथुआ में केवल 43 कैलोरी होती है। इसलिए, यह उन लोगों के लिए एकदम सही है जो स्वस्थ खाने के साथ-साथ अपने वजन पर भी ध्यान देने की कोशिश कर रहे हैं।
4. रक्त को करता है शुद्ध (Purifies blood)
आप शायद पहले से ही जानते हैं कि अच्छी त्वचा के लिए आपको एक अच्छे आहार की आवश्यकता होती है। वास्तव में, मुंहासे और बार-बार मुंहासों के पीछे प्रमुख कारणों में से एक रक्त की अशुद्धता है। अब नियमित रूप से बथुआ का सेवन करने से आपका खून साफ हो सकता है और आपको बेदाग त्वचा मिल सकती है।
5. स्वस्थ बालों को देता है बढ़ावा (Promotes healthy hair)
चूंकि बथुआ प्रोटीन, खनिज और अन्य विटामिन से भरपूर होता है, इसलिए यह आपके बालों को जड़ों से मजबूत बनाने में मदद करता है। इससे बालों का गिरना कम होता है, जिससे आपके बाल मुलायम, चमकदार और स्वस्थ बनते हैं।
6. नेत्र स्वास्थ्य को देता है बढ़ावा (Promotes eye health)
हममें से अधिकांश के पास ऐसी नौकरियां हैं जिनके लिए हमें दिन के अधिकांश समय के लिए अपनी स्क्रीन पर घूरना पड़ता है। समय के साथ, इस जीवनशैली का हमारी आंखों पर प्रभाव पड़ सकता है। बथुआ की जस्ता और लौह सामग्री यह सुनिश्चित कर सकती है कि आपकी दृष्टि मजबूत रहे।आँखों में सूजन, लाली हो तो प्रतिदिन बथुए की सब्जी खाएँ।
7. दंत स्वास्थ्य के लिए है अच्छा (Good for dental health)
सांसों की बदबू आपको नीचे ला रही है? यह न केवल कष्टप्रद है बल्कि शर्मनाक भी हो सकता है। अगर आप सांसों की बदबू से छुटकारा पाना चाहते हैं, तो बथुआ आपका एक ही उपाय हो सकता है। वास्तव में, यह आपको दांतों की कई समस्याओं जैसे मसूड़ों से खून आना, संवेदनशील दांत आदि से निपटने में मदद कर सकता है।
8. लीवर को भी करता है ठीक (Good for Liver )
बथुये का रस या उबाला हुआ पानी पीने से खराब लीवर भी ठीक हो जाता है।
9. मासिक धर्म को भी करता है दुरुस्त (Good For Periods )
अगर मासिक धर्म रुका हुआ हो तो दो चम्मच बथुए के बीज एक गिलास पानी में उबालें, आधा रहने पर छानकर पी जाए, तुरंत लाभ होगा।
10. पेशाब की समस्या होती है दूर (urine problem goes away)
पेशाब के रोगी बथुआ आधा किलो, पानी तीन गिलास, दोनों को उबालें और फिर पानी छान लें। बथुए को निचोड़कर पानी निकाल कर यह भी छाने हुए पानी में मिला लें। स्वाद के लिए नींबू , जीरा, जरा सी काली मिर्च और काला नमक डाल लें और पी जाए।
11. बालों को मज़बूती और रंगत करता है प्रदान (Good for Hairs )
बथुआ सिर्फ खाने में ही नहीं बल्कि लगाने में भी बेहद फायदेमंद है। जी हाँ , शैम्पू के रूप में बथुआ के रस को बालों में लगाने से बेहद फ़ायदा मिलता है। इसके लिए बथुआ पीस कर उसके रस को निकाल कर उसमें आधे निम्बू का रस मिलाकर बालों की जड़ों में लगा कर 10 मिनट तक रखने के बाद धो लें।
अक्सर हम सबने अपने बड़ों को ये कहते जरूर सुना है कि हमने तो सारी उम्र अंग्रेजी दवा की एक गोली भी नहीं ली उनके स्वास्थ्य व ताकत का राज यही बथुआ ही है। उल्लेखनीय है कि मकान को रंगने से लेकर खाने व दवाई तक बथुआ काम आता है।
लेकिन अफसोस ! हम ये बातें भूलते जा रहे हैं और इस दिव्य पौधे को नष्ट करने के लिए अपने-अपने खेतों में रासायनिक जहर डालते हैं। तथाकथित कृषि वैज्ञानिकों (अंग्रेज व काले अंग्रेज) ने बथुए को भी कोंधरा, चौलाई, सांठी, भाँखड़ी आदि सैकड़ों आयुर्वेदिक औषधियों को खरपतवार की श्रेणी में डाल दिया है और हम भारतीय चूँ भी न कर पाये।
याद रहे बथुआ साग नहीं , बल्कि एक औषधि है । जिसका सेवन स्वास्थ्य के लिए किसी वरदान से कम नहीं है।