TRENDING TAGS :
Nag Panchami 2024 Date: कब है नाग पंचमी, जानिए क्या है शुभ मुहूर्त और इसका महत्त्व
Nag Panchami 2024 Date : इस साल नाग पंचमी किस दिन है और क्या है पूजा का शुभ मुहूर्त और महत्त्व आइये विस्तार से जानते हैं।
Nag Panchami 2024 Date : सावन के महीने की शुरुआत 22 जुलाई सोमवार को है वहीँ सावन मास के कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि को नाग पंचमी का पर्व मनाया जाता है। कहते हैं इस दिन पूरे विधि विधान के साथ पूजा अर्चना करने से जीवन में सुख समृद्धि आती है और मनवांछित फल की प्राप्ति होती है। वहीँ इस साल नाग पंचमी के दिन दो बहुत खास और शुभ योग बन रहे हैं,आइये जानते हैं क्या है इस साल ख़ास और किस दिन होगी नाग पंचमी व् क्या होगा शुभ मुहूर्त।
कब है नाग पंचमी
हिन्दू धर्म में नाग पंचमी का ख़ास महत्व है। ये त्योहार ख़ास नाग देवताओं को समर्पित है इसे सावन मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है। इस साल ये 9 अगस्त शुक्रवार 2024 को मनाया जायेगा। वहीँ इसकी तिथि को लेकर भी काफी कन्फूशन था। जहाँ 8 या 9 अगस्त की तिथियों में किस दिन नाग पंचमी है इसे दूर करते हुए आपको बता देते हैं कि ये 9 तारीख को ही मनाया जायेगा। कुछ राज्यों में इसे सावन मास के कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि को भी मनाया जाता है तो इसे वो 25 जुलाई 2024 को मनाएंगें। आपको बता दें कि नाग पंचमी के दिन विशेष रूप से 8 नाग देवताओं की पूजा की जाती है जिसमे वासुकि, ऐरावत, मणिभद्र, कालिया, धनंजय, तक्षक, कर्कोटकस्य और धृतराष्ट्र शामिल हैं। मान्यता है कि इनकी पूजा अर्चना करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है साथ ही सर्प भय से भी मुक्ति मिलती है। आइये विस्तार से जानते हैं क्या है इसका महत्त्व और शुभ मुहूर्त।
नाग पंचमी पूजा विधि व शुभ मुहूर्त
सावन का महीना 22 जुलाई से प्रारम्भ होगा और 19 अगस्त को समाप्त होगा। वहीँ सावन मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को नाग पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। ऐसी भी मान्यता है की अगर साधक नाग पंचमी के दिन नाग देवता की पूजा करता है तो उसे नाग दोष से मुक्ति मिल जाती है। इसके अलावा इस दिन पूजा करने से व्यक्ति की मृत्यु कभी सांप के काटने से नहीं होती है।
सावन का महीना बारिश का महीना होता है वहीँ यही वो समय भी होता है जब सांप भू गर्भ से निकलकर भू तल पर आते हैं। ऐसे में नाग किसी को आहत न करें इसीलिए नाग पंचमी की पूजा की जाती है। आपको बता दें कि बिहार, बंगाल जैसे क्षेत्रों में नाग पंचमी कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है। दरअसल पंचमी तिथि के स्वामी स्वयं नागदेव हैं और इस समय नाग देवता या साँपों की पूजा करने से मनवांछित फल की प्राप्ति होती है। इसके साथ ही साधक के घर में सुख शांति और समृद्धि आती है। इतना ही नहीं अगर आप इस दिन नाग देवता की आराधना करते हैं तो कुंडली में मौजूद राहु व केतु से संबंधित दोषों से मुक्ति मिलती है। इस दिन कालसर्प दोष की पूआ भी करवाई जाती है। अगर आपका कोई काम रुका हुआ है तो इस दिन पूजा करने से आपके सभी रुके हुए काम भी पूरे हो जाते हैं। शास्त्रों में ऐसा कहा गया है कि नाग देवता पाताल के स्वामी हैं ऐसे में आपको नाग पंचमी या किसी भी अन्य पंचमी के दिन भूमि की खुदाई का काम नहीं करना या करवाना चाहिए।