×

दुनिया की सबसे कम उम्र की प्रधानमंत्री बनी ये युवती, जानें इसके बारे में सबकुछ

फिनलैंड की परिवहन मंत्री और सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी की नेता सना मरीन (34) रविवार को प्रधानमंत्री चुनी गईं हैं। वे मंगलवार को शपथ ले सकती हैं। मरीन दुनिया की सबसे युवा प्रधानमंत्री होंगी।

Aditya Mishra
Published on: 9 Dec 2019 3:35 PM IST
दुनिया की सबसे कम उम्र की प्रधानमंत्री बनी ये युवती, जानें इसके बारे में सबकुछ
X

नई दिल्ली: फिनलैंड की परिवहन मंत्री और सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी की नेता सना मरीन (34) रविवार को प्रधानमंत्री चुनी गईं हैं। वे मंगलवार को शपथ ले सकती हैं। मरीन दुनिया की सबसे युवा प्रधानमंत्री होंगी।

मंगलवार को उनकी ही पार्टी के एंटी रिने ने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था। रिने यहां एक महीने से जारी डाक हड़ताल से निपटने में नाकाम रहे थे। इसकी वजह से उन्होंने एक सहयोगी पार्टी का विश्वास खो दिया था।

ये भी पढ़ें...अजब-गजब: इस गांव के लोग कई सालों से नहीं मनाते श्राद्ध, न देते हैं दान

मरीन ने उम्र को लेकर दिया ये जवाब

मरीन ने रविवार रात को पत्रकारों से कहा, 'हमें फिर से विश्वास बहाल करने के लिए काफी काम करना होगा। ' अपनी उम्र से संबंधी सवालों पर उन्होंने कहा, मैंने कभी अपनी उम्र या महिला होने के बारे में नहीं सोचा।

मैं कुछ वजहों से राजनीति में आयी और इन चीजों के लिए हमने मतदाताओं का विश्वास जीता। 27 साल की उम्र में ही मरीन ने राजनीति में कदम रख दिया था और उसी समय से तेजी से वृद्धि की।

दुनिया में सबसे कम उम्र की पीएम

फिनलैंड के सबसे बड़े समाचार पत्र हेलसिंगिन सनोमैट और इल्ता-सनोमैट के अनुसार, मारिन दुनिया की सबसे कम उम्र की प्रधानमंत्री बन गई हैं। न्यूजीलैंड के प्रधानमंत्री जैकिंडा आर्डेन 39 साल, यूक्रेन के प्रधानमंत्री ओलेक्सी होन्चारुक 35 साल और उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग-उन भी 35 साल के हैं।

लॉमेकर्स के मारिन और उनकी नई सरकार की नियुक्ति को जल्द ही मंजूरी देने की संभावना है ताकि वह ब्रसेल्स में 12-13 यूरोपीय संघ के नेताओं के शिखर सम्मेलन में फिनलैंड का प्रतिनिधित्व कर सकें।

ये भी पढ़ें...अजब गजब:जानिए सेना के जवानों के छोटे बाल रखने के पीछे छिपे राज…

भारत के सबसे कम उम्र के प्रधानमंत्री थे राजीव गांधी

40 वर्ष की उम्र में प्रधानमंत्री बनने वाले राजीव गांधी भारत के सबसे कम उम्र के प्रधानमंत्री थे और संभवत: दुनिया के उन युवा राजनेताओं में से एक हैं जिन्होंने सरकार का नेतृत्व किया है।

देश में पीढ़ीगत बदलाव के अग्रदूत गांधी को देश के इतिहास में सबसे बड़ा जनादेश प्राप्त हुआ था। अपनी मां की हत्या के शोक से उबरने के बाद उन्होंने लोकसभा के लिए चुनाव कराने का आदेश दिया।

उस चुनाव में कांग्रेस को पिछले सात चुनावों की तुलना में लोकप्रिय वोट अधिक अनुपात में मिले और पार्टी ने 508 में से रिकॉर्ड 401 सीटें हासिल कीं। भारतीयों के नेता के रूप में इस तरह की शानदार शुरुआत किसी भी परिस्थिति में उल्लेखनीय मानी जाती है।

यह इसलिए भी अद्भुत है क्योंकि वे उस राजनीतिक परिवार से संबंधित थे जिसकी चार पीढ़ियों ने स्वतंत्रता संग्राम के दौरान एवं इसके बाद भारत की सेवा की थी, इसके बावजूद गांधी राजनीति में अपने प्रवेश को लेकर अनिच्छुक थे एवं उन्होंने राजनीति में देर से प्रवेश भी किया।

ये भी पढ़ें...अजब-गजब: यहां ज़िंदा मिसाइलों पर घर बनाते हैं लोग, वजह कर देगी हैरान

Aditya Mishra

Aditya Mishra

Next Story