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संगीत कराता है तन मन का आपके इष्ट से मेल

पूरी मानव प्रजाति के लिए संगीत संगीतियों द्वारा दिया गया उपहार है। यह हमारे लिए एक आत्मीय कुंजी के समान है जो हमें मानसिक तथा शारीरिक स्वस्थ रुप से स्वस्थ बनाये रखने में हमारी सहायता करता है।

rajeev gupta janasnehi
Written By rajeev gupta janasnehiPublished By Shweta
Published on: 20 Jun 2021 2:00 PM IST
कॉन्सेप्ट फोटो
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कॉन्सेप्ट फोटो ( फोटो सौजन्य से सोशल मीडिया)

पूरी मानव प्रजाति के लिए संगीत संगीतियों द्वारा दिया गया उपहार है। यह हमारे लिए एक आत्मीय कुंजी के समान है जो हमें मानसिक तथा शारीरिक स्वस्थ रुप से स्वस्थ बनाये रखने में हमारी सहायता करता है। संगीत वो लय है, जो बीते समय, पसंदीदा स्थानों, व्यक्तियों या उत्सवों आदि की सभी अच्छी यादों और सकारात्मक विचारों को लाता है। संगीत बहुत ही मधुर और वैश्विक भाषा है, जो सब कुछ शान्तिः से बताता है और हमारी सभी समस्याओं को हमसे बिना पूछे खत्म करता है।

म्यूजिक है क्या?

म्यूजिक का अर्थ है चाहे वह गाता हो या कोई वाद्य बजाता हो, संगीत चाहे शास्त्रीय हो या सुगम, देशी हो या विदेशी कहने का तत्यपर है संगीत की कोई भी शेली हो सब संगीत में आते हैं उसको बजाना और सुनाना सब अच्छा लगता है मानुष अपने जीवन में कुछ-न-कुछ गाने, कोई-न-कोई वाद्य बजाने, थिरकने या सिर्फ़ सुनाना का काम कभी ना कभी एक बार जीवन में ज़रूर करता है । उम्र चाहे बचपन हो जवानी हो या बूढ़े यहां तक कि अपाहिज और बीमार लोग तक संगीत के समय अपने को नहीं रोक पाते।

भारतीय संगीत का जादू

भारतीय संगीत ही एक चीज जो हमें खुशी और गम और तनाव और रोग में समान रूप से लाभ पहुँचती है |जिसे सुनते ही हम कई बार थिरकने लगते हैं तो वहीं कई बार हमारी आंखें नम हो जाती हैं. म्यूजिक जो हमारे दिलो-दिमाग को तरोताजा कर देता है। रोग का नाश करता है शरीर हल्का हो जाता है मन सातवें आसमान में पहुँच जाता है। इस तरह कहा जा सकता है कि, संगीत आध्यात्मिक, मानसिक और शारीरिक शक्ति प्रदान करने के साथ ही मनुष्य में आत्मविश्वास को भी विकसित करता है।

भारतीय संगीत के सहारे बड़े बड़े कारनामे किए है ,मेघ नींद लाना शारीरिक रोग को दूर करने वाला संगीत है ।करुणा महामारी में म्यूजिक एक ऐसी साधना है जिसने न केवल इस महामारी से आदमी को दूर रखा बल्कि मानसिक अवसाद बाद से भी मुक्ति दिलाई। जीवन है तो संगीत है और संगीत है तो जीवन है।

संगीत में बढ़ता रोजगार

आज देश में तमाम उम्र सिखाने वाले या म्यूजिक निर्देशन देने वाले अनेक क्षेत्रो में पुरुषों का बोलबाला होता जा रहा है जो कभी स्त्रियों का दबदबा था उसके साथ पुरुष भी बराबरी से सीख रहे हैं और सिखा रहे हैं। आज कोई भी महोत्सव ,प्रोग्राम, शादी हो या पूजा पाठ हो म्यूजिक जुड़े बिना चार चाँद नही लग सकते है। बच्चे की लोरी से लेकर शहीद की विदाई तक संगीत का जादू है। आज म्यूजिक एक कला ही नही रोज़गार का बड़ा साधन भी बन गया है । हम कोई गीत न भी सुनें तो सुबह से लेकर रात तक प्रकृति हमें अपना संगीत सुना रही होती है। सुबह मद्धिम हवाओं में भी एक संगीत होता है, चिड़ियों की चहचहाहट, पेड़ों के पत्तों की सरसराहट में हमें प्रकृति का संगीत ही तो सुनाई देता है।

अकबर का तानसेन

तानसेन या रामतनु हिन्दुस्तानी शास्त्रीय संगीत के एक महान ज्ञाता थे। उन्हे सम्राट अकबर के नवरत्नों में भी गिना जाता है।आज भी लोग तानसेन का नाम को संगीत में उपाधि के रूप में व गुरु रूप में लेते हैं।

किसी ने कहाँ है

संगीत सुनना मेरा शौक है और यह मेरे स्वस्थ और सुखी जीवन का रहस्य है। यह मेरे लिए भगवान का तोहफा है, जिसे मैं अपने भले के लिए प्रयोग करता हूँ और इसके साथ ही दूसरों को भी संगीत सुन कर इससे लाभ लेने की सलाह देता हूँ।



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Shweta

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