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तेजस्वी की पार्टी सरताज की चाहत क्या लालू बनेंगे मुलायम
लालू प्रसाद ने बड़े बेटे तेज प्रताप यादव को दरकिनार कर तेजस्वी को एक तरह से राजनीतिक उत्तराधिकारी घोषित तो कर दिया है लेकिन पार्टी में औपचारिक तौर पर बड़ी शक्ति नहीं दी है। लेकिन अब तेजस्वी अखिलेश यादव की राह पर चल कर पार्टी सरताज की चाहत रख रहे हैं तो क्या लालू अब मुलायम बन जाएंगे।
पटना: राष्ट्रीय जनता दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद के छोटे बेटे और बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव अपनी पार्टी में ‘मोर पावर’ चाह रहे। लालू प्रसाद ने बड़े बेटे तेज प्रताप यादव को दरकिनार कर तेजस्वी यादव को एक तरह से राजनीतिक उत्तराधिकारी घोषित तो कर दिया है लेकिन पार्टी में औपचारिक तौर पर बड़ी शक्ति नहीं दी है। लेकिन अब तेजस्वी अखिलेश यादव की राह पर चल कर पार्टी सरताज की चाहत रख रहे हैं तो क्या लालू अब मुलायम बन जाएंगे।
जब राजद सरकार में था तो उप मुख्यमंत्री और मंत्री के ऑप्शन में छोटे बेटे तेजस्वी के लिए लालू ने खुद उप मुख्यमंत्री का ताज चुना था। उस ताज के बाद अब तेजस्वी पार्टी के सरताज की चाहत रख रहे हैं।
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लोकसभा चुनाव परिणाम के बाद अचानक राजनीतिक गलियारे से गायब तेजस्वी यादव पिछले दिनों पटना आकर भी विधानसभा के मानसून सत्र में नहीं आए। अब कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के इस्तीफे के बाद जब परफॉर्मेंस के आधार पर तेजस्वी से भी नैतिक इस्तीफे के बारे में पूछा गया तो उन्होंने अन्य लोगों के इस्तीफे के इंतजार की बात कह दी।
वह पार्टी में ऐसा मुकाम चाह रहे कि उनका फैसला ही अंतिम और सर्वमान्य हो
लालू परिवार के करीबियों की मानें तो इन दिनों कुनबे में घमासान मचा हुआ है। बड़े भाई तेज प्रताप यादव के रवैए को तेजस्वी बर्दाश्त नहीं कर पा रहे हैं। मां राबड़ी देवी और बड़ी बहन मीसा भारती के स्टैंड पर भी उन्हें संतोष नहीं है। वह पार्टी में ऐसा मुकाम चाह रहे कि उनके कहने के बाद कोई और जगह सुनवाई न हो। उनका फैसला ही अंतिम और सर्वमान्य हो।
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यही कारण है कि तेजस्वी राजद और विधानसभा में अपने कद घटाए जाने की बात सुनते ही बिफर पड़े और कह दिया कि उन्हें तो अभी कई के इस्तीफे देखने हैं। लोकसभा चुनाव परिणाम आने के बाद से राजद के अंदर तेजस्वी के परफॉर्मेंस पर बड़ा बवाल मचा हुआ है। पार्टी में अगड़ी जाति के उन नेताओं के बयान से भी तेजस्वी नाराज हैं, जो लालू के करीबी होने के कारण उन्हें सीख देते रहे हैं। अब तेजस्वी किसी से सीख लेने को तैयार नहीं बताए जा रहे हैं।