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Uttarakhand Tourism: लाखों किलोमीटर की दूरी अब दिखेगी एकदम पास, जानिए भारत के पहले एस्ट्रो विलेज बेनीताल के बारे में

Benital, Uttrakhand: उत्तराखंड में स्थित बेनीताल गाँव भारत देश का पहला एस्ट्रो विलेज के तौर पर विकसित हो रहा है। यह एक एस्ट्रो विलेज के सभी गुणों और नियमो को पूरा करता है। यहाँ आपको बिलकुल भी वायु प्रदूषण नहीं दिखेगा।

Vertika Sonakia
Published on: 10 Jun 2023 7:52 PM IST
Uttarakhand Tourism: लाखों किलोमीटर की दूरी अब दिखेगी एकदम पास, जानिए भारत के पहले एस्ट्रो विलेज बेनीताल के बारे में
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Uttarakhand Tourism (Photo Social Media)

Benital, Uttrakhand: रात के आसमान की रंगीन, चाँदनी तस्वीर से बेहतर कुछ भी नहीं हो सकता। लेकिन भारत के अधिकतर शहरों से, आप केवल चंद्रमा या कुछ तारे ही देख सकते हैं। उत्तराखंड के बेनीताल से आपको पूरा खुला आसमान दिखेगा तारो सहित।
वायु प्रदूषण से तारे दिखना हुआ मुश्किल वायु प्रदूषण ने लोगो का खुले आसमान में देखना बाधित कर दिया है। अब वर्तमान समय में साफ मौसम के दौरान भी बहुत कुछ दिखाई नहीं देता। गुड़गांव के साइंस पॉपुलराइजेशन एसोसिएशन ऑफ कम्युनिकेटर्स एंड एजुकेटर्स (स्पेस) के अनुसार, पिछले 30 वर्षों में प्रत्येक वर्ष खुले आसमान में सितारों और नक्षत्रों का दिखाई देने में लगभग 5 प्रतिशत की गिरावट देखने को मिलती है।

भारत के कुछ शहरों से दिखता खुला आसमान

भारत में दिन पर दिन बढ़ते वायु प्रदूषण के बीच कुछ साफ़-सुथरे, हरे भरे पहाड़ी शहर मौजूद है जहाँ आपको शांत वातावरण, स्वच्छ, निर्मल हवा, खुला आसमान, चाँद-सितारे सब देखने को मिलेगा। शहर की दौढ़भाद भारी ज़िंदगी को छोड़ कर कुछ दिन इन पहाड़ी इलाको का लुत्फ़ उठाइए और खुले आसमान में समय का आनंद ज़रूर लीजिए।

एस्ट्रो विलेज क्या होता है

एस्ट्रो टूरिज्म का भारत देश में नया विकास हो रहा है। वर्तमान समय तक यह कम प्रसिद्ध है। एस्ट्रो टूरिज्म घूमने के शौक़ीन और तारामंडल का ज्ञान लेने वाली के लिए बेहद खूबसूरत और नयी चीज सीखने योग्य है। भारत के कई शहरों को एस्ट्रो टूरिज्म साइट्स के रूप में विकसित किया जा रहा है जैसे- लद्दाख, राजस्थान, उत्तराखंड। बेनीताल को भारत के पहले एस्ट्रो विलेज के रूप में चमोली के जिला प्रशासन द्वारा Starscapes (एक स्टार्ट-अप जो एस्ट्रोनॉमी का अनुभव प्रदान करता है) के सहयोग से विकसित किया जा रहा है।

बेनीताल , उत्तराखंड भारत का पहला एस्ट्रो विलेज

उत्तराखंड में स्थित बेनीताल गाँव भारत देश का पहला एस्ट्रो विलेज के तौर पर विकसित हो रहा है। यह एक एस्ट्रो विलेज के सभी गुणों और नियमो को पूरा करता है। यहाँ आपको बिलकुल भी वायु प्रदूषण नहीं दिखेगा। यह उत्तराखंड के चमोली शहर से दो घंटे की दूरी पर स्थित है। यात्री चमोली होकर यहां कार द्वारा पहुँच सकते हैं। यह हिमालय के 270 डिग्री दृश्यों के साथ एक पहाड़ी की चोटी पर है, और यहाँ स्थायी टेलीस्कोप स्थापित किए जाएँगे।

बेनीताल में कम लोग रहते है और अधिक यात्रियों के बीच अछूता रहने से यहाँ कम प्रदूषण होता है। साथ ही यह एक महत्वपूर्ण पहाड़ी जगह है। यहाँ के लोग अपने आप में गर्व महसूस करते है क्यूँकि यह स्थान देश के प्रथम एस्ट्रो टूरिज्म की तरह विकसित हो रहा है। कम यात्री संख्या होने से यहाँ का वातावरण निर्मल एयर स्वच्छ है। साथ हो स्थानीय लोगो ने अपनी संस्कृति, ख़ान- पान को संरक्षित किया हुआ है। इन्ही सब कारणों से बेनीताल एस्ट्रो टूरिज्म की ओर तेज़ी से विकसित हो रहा है।
बेनीताल कैसे पहुँचे ।

भारत की राजधानी से बेनीताल 450 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। सड़क मार्ग से यहाँ पहुँचने में आपको 12 से 14 घंटे का सफ़र तय करना पड़ेगा। बेनीताल के सबसे निकटतम सागर के कर्णप्रयाग। कर्णप्रयाग से बेनीताल जाने के लिए आपको कोई सार्वजनिक वाहन नहीं मिलेगा। आपको कर्णप्रयाग से अपनी निज़ी गाड़ी या टैक्सी से सफ़र करना पड़ेगा।

बेनीताल में समय गुज़ारना है अनूठा अनुभव

उत्तराखंड के बेनीताल में कुछ दिन गुज़ार कर आपको एक अलग ही अनुभव प्राप्त होगा। आप यह खुले आसमान में बैठकर दिन में सूर्य और रात्रि के दौरान चंद्रमा, सितारे और नक्षत्र देख सकते है। सितारे और नक्षत्रों को निकट से देखने के लिए यहाँ तमाम टेलिस्कोप स्थापित करे गये हैं।



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