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विश्व मासिकधर्म दिवस: मुश्किल दिनों में सोच नई, सही प्रबंधन की जानकारी से तोड़ेे रूढ़ियां

आज विश्व मासिक धर्म दिवस है, साल 2014 से 28 मई को विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस मनाया जाता है।इसको मनाने के पीछे मुख्य उद्देश्य समाज में फैली मासिक धर्म सम्बन्धी गलत अवधारणा को दूर करना और महिलाओं और किशोरियों को महा

Anoop Ojha
Published on: 28 May 2018 6:14 PM IST
विश्व मासिकधर्म दिवस: मुश्किल दिनों में सोच नई, सही प्रबंधन की जानकारी से तोड़ेे रूढ़ियां
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विश्व मासिकधर्म दिवस: मुश्किल दिनों पर सोच नई, सही प्रबंधन की जानकारी से तोड़ेे रूढ़ियां

नई दिल्ली: आज विश्व मासिक धर्म दिवस है, साल 2014 से 28 मई को विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस मनाया जाता है।इसको मनाने के पीछे मुख्य उद्देश्य समाज में फैली मासिक धर्म सम्बन्धी गलत अवधारणा को दूर करना और महिलाओं और किशोरियों को महावारी प्रबंधन सम्बन्धी सही जानकारी देना है।एक आंकड़े के अनुसार आज भी 50 प्रतिशत से ज्यादा किशोरियां मासिक धर्म के कारण स्कूल नहीं जाती हैं, महिलाओं को आज भी इस मुद्दे पर बात करने में झिझक होती है जबकि आधे से ज्यादा को तो ये लगता है कि मासिक धर्म कोई अपराध है।

देखा जाय मौजूदा आकंड़ें इस ओर इशारा कर रहे हैं कि इस चीज के प्रति अब लोगों की सोच बदल रही है, व्यापक स्तर पर भले ही ना हो, लेकिन फिर भी आज आज की लड़कियां, अब उन मुश्किल दिनों के बारे में अपनों के बीच में खुलकर बातें करनी लगी हैं, जो कि एक सकारात्मक संकेत है।

विश्व मासिकधर्म दिवस: मुश्किल दिनों पर सोच नई, सही प्रबंधन की जानकारी से तोड़ेे रूढ़ियां विश्व मासिकधर्म दिवस: मुश्किल दिनों पर सोच नई, सही प्रबंधन की जानकारी से तोड़ेे रूढ़ियां

5वें वार्षिक विश्‍व मासिक धर्म स्‍वच्‍छता दिवस 28 मई 2018 पर भारत अपने गुणवत्‍ता मानक बढ़ाएगा।अब नई दिल्‍ली नगर परिषद (एनडीएमसी) पहली ऐसी स्‍कूल प्रणाली बनेंगे जो हर महीने 30 स्‍कूलों की करीब 6,000 लड़कियों को पूर्ण रूप से पर्यावरण अनुकूल ( प्राकृतिक तरीके से सड़ने वाले और 100% खाद बन जाने वाले) सैनीटरी नेपकिन बांटे।

एनडीएमसी भारत के एकमात्र पूर्ण रूप से पर्यावरण अनुकूल सैनीटरी नेपकिन के इस्‍तेमाल को अपनाएगी, ‘आनंदी इको’ नाम से नेपकिन आकार इनोवेशन द्वारा तैयार किए जाते हैं। आकार इनोवेशन्‍स मासिक धर्म स्‍वास्‍थ्‍य क्षेत्र में एकमात्र ऐसा टेक्‍नोलॉजी अविष्‍कारक है जिसे नीति आयोग और प्रधानमंत्री कार्यालय ने ‘बदलाव के चैम्पियन’ के रूप में शीर्ष 150 की टीम में चुना है।

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आकार लगातार प्राकृतिक फाइबर और अन्‍य जैव सामग्री पर कार्य कर रहा है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि उसके नैपकिन उच्‍च क्‍वालिटी के हैं। प्रमुख चिकित्‍सा अनुसंधान संस्‍थानों के अध्‍ययन से पता चलता है कि अन्‍य नैपकिन रसायन और प्‍लास्टिक का इस्‍तेमाल करते हैं और एसएपी के कारण कम उम्र की महिलाओं में बांझपन की समस्‍या पैदा हो सकती है और जीवन के लिए खतरा बनने वाले टॉक्सिक शॉक सिन्‍ड्रोम (टीएसएस) देखने को मिल सकते हैं।

वर्ष 2016-2017 में दिल्‍ली में विश्‍व मासिक धर्म दिवस मनाने के लिए आकार ने एनडीएमसी, दिल्‍ली सरकार और सच्‍ची सहेली से हाथ मिलाया। मिस वर्ल्‍ड 2017 मानुषी छिल्‍लर 2018 में इस अभियान में शामिल हुई और इसे नई दिशा प्रदान की। मानुषी ने मिस वर्ल्‍ड लोकोपकारी भ्रमण के दौरान मिस वर्ल्‍ड सीईओ और किसी उद्देश्‍य के साथ सौन्‍दर्य की संस्‍थापक, जूलिया मोरले, 2016 की मिस वर्ल्‍ड स्‍टीफेनी डेल वेल्‍ली और 2017 की 6 मिस वर्ल्‍ड विजेताओं के साथ फरवरी में आकार इनोवेशन्‍स से हाथ मिलाया था।

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गौरतलब है कि विश्व मासिक धर्म दिवस की शुरूआत जर्मन एनजीओ वॉश यूनाइटेड ने 2014 में की थी और यह वैश्विक मंच विकास से जुड़े सभी सहयोगियों यूनीसेफ, वॉटरऐड, डब्‍ल्‍यूएसएससीसी, ग्‍लोबल सिटीजन, यूएसऐड, प्‍लान और पाथ को एक स्‍थान पर लाया। आकार इनोवेशन ने भी 2014 में वॉश यूनाइटेड से हाथ मिलाया। आकार सामाजिक उद्यमिता का मिश्रण है जो महिलाओं के लिए सस्‍ते और अच्‍छी क्‍वालिटी के पूरी तरह प्राकृतिक तरीके से सड़ने वाले और 100 फीसदी खाद बनाने योग्‍य सैनीटरी नैपकिन का उत्‍पादन करता है, उन्‍हें वितरित करता है और साथ ही जागरूकता फैलाने के साथ-साथ मासिक धर्म से जुड़ी स्‍वच्‍छता के प्रबंधन के प्रति संवदेनशील बनाता है।

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मासिक-धर्म की गलत सोच बदले

आज भी देश के कई परिवारों में लड़कियों को मासिक धर्म के दौरान परिवार से अलग थलग कर दिया जाता है, मंदिर जाने या पूजा करने की मनाही होती है, रसोई में प्रवेश वर्जित होता है।ऐसी कुरीतियों को अब बदलने का समय आ गया है।

जागरूकता की जरूरत

डाक्टरों का मानना है कि मासिक धर्म के बारे में बताने वाली सबसे अच्छी जगहें स्कूल हैं, जहां इस विषय को यौन शिक्षा और स्वच्छता से जोड़कर चर्चा की जा सकती है। इसके लिए जागरूक और उत्साही शिक्षकों की जरूरत है, जो विद्यार्थियों को मासिक धर्म से जुड़ी महत्वपूर्ण बातों के विषय में जानकारी दे सकें।

Anoop Ojha

Anoop Ojha

Excellent communication and writing skills on various topics. Presently working as Sub-editor at newstrack.com. Ability to work in team and as well as individual.

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