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सीतापुर में बरसेगा धनः जिला योजना से होगा विकास, मंत्री स्वाति सिंह का बड़ा कदम
बैठक के दौरान प्रभारी मंत्री ने निर्देशित किया कि योजना के तहत होने वाले कार्य को पूरी गुणवत्ता एवं समयबद्धता से पूर्ण किया जाये और प्रस्तावित परिव्यय का शत-प्रतिशत उपयोग करना सुनिश्चित किया जाये।
सीतापुर: जिले का विकास करने के लिए जिला योजना को तरोताजा की गई है। इसे योजना के तहत विभागों को मोटी रकम उपलब्ध कराने का रास्ता साफ कर दिया गया है। बुधवार को प्रभारी मंत्री स्वाति सिंह ने नैमिषारण्य के सत्संग भवन में अयोजित जिला योजना की समिति की बैठक में 6 अरब 36 करोड 98 लाख रूपये का परिव्यय अनुमोदित किया गया है। शासन स्तर पर अनुमादन मिलते ही वर्ष 2021 और 22 में विभागों को आवंटित धनराशि उपलब्ध करा दी जाएगी।
पेंशन योजनाओं का प्रचार करने के निर्देश
प्रभारी मंत्री ने कड़े निर्देश दिये कि कन्या सुमंगला योजना, शादी अनुदान योजना, विधवा पेंशन एवं वृद्धावस्था पेंशन जैसी महत्वपूर्ण योजनाओं के व्यापक प्रचार-प्रसार की व्यवस्था सुनिश्चित की जाये तथा समाज कल्याण विभाग, महिला कल्याण विभाग एवं दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के समन्वय से ब्लाॅक स्तरीय शिविरों का आयोजन कराया जाये, जिनमें ऑनलाइन फार्म भरवाये जाने की भी व्यवस्था हो। साथ ही ऐसे कैम्पों का पूर्व में प्रचार-प्रसार भी किया जाये।
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उन्होंने वृद्धावस्था पेंशन से भी सभी पात्रों को आच्छादित किये जाने हेतु निर्देशित किया। बैठक में अनुपस्थित दुग्ध विकास विभाग, प्राविधिक शिक्षा विभाग, माध्यमिक शिक्षा विभाग तथा पर्यटन विभाग के अधिकारियों के विरूद्ध कार्यवाही किये जाने के भी निर्देश मा प्रभारी मंत्री ने दिये। उन्होंने एफ0पी0ओ0 के माध्यम से अधिक से अधिक किसानों को लाभान्वित करने के भी निर्देश दिये।
गुणवत्ता पर ध्यान देने की हिदायत
बैठक के दौरान प्रभारी मंत्री ने निर्देशित किया कि योजना के तहत होने वाले कार्य को पूरी गुणवत्ता एवं समयबद्धता से पूर्ण किया जाये और प्रस्तावित परिव्यय का शत-प्रतिशत उपयोग करना सुनिश्चित किया जाये। उन्होंने कहा कि जनप्रतिनिधियों को किये जाने वाले कार्यों की नियमित रूप से जानकारी दी जाये।
साथ ही लाभार्थियों का विवरण सभी संबंधित जनप्रतिनिधियों को उपलब्ध कराने को कहा। उन्होंने कहा कि जनप्रतिनिधियों से नियमित रूप से वार्ता अवश्य की जाये तथा उनसे प्राप्त दिशा निर्देशों के अनुसार कार्य कराये जायें, क्योंकि जनप्रतिनिधि क्षेत्र की जनता की आवश्यकताओं और उनकी प्राथमिकताओं से भलीभांति अवगत होते हैं, इससे न सिर्फ योजनाओं के क्रियान्वयन में सहयोग मिलेगा बल्कि पारदर्शिता के साथ जनता लाभान्वित हो सकेगी।
आधी धनराशि केंद्र सरकार कराएगी उपलब्ध
इस अवसर पर जिलाधिकारी विशाल भारद्वाज ने जिले की जिला योजना में विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं हेतु प्रस्तावित परिव्यय के बारे में जानकारी देते हुये बताया कि वर्ष 2021-22 की जिला योजना को जनपद के सभी विभागों से समन्वय करते हुये अन्तिम रूप दिया गया है। जिले के स्थानीय संसाधनों एवं आवश्यकताओं को दृष्टिगत रखते हुये ऐसे कार्यक्रमों को प्राथमिकता दी गयी है, जिसमें व्यय करने से अल्प अवधि में ही विकास की सम्भावनाएं प्रबल हो सके।
कुल परिव्यय 63698 के सापेक्ष पुर्नगठित केन्द्र पुरोनिधानित योजनाओं का केन्द्रांश 30659.96 लाख रूपये है। पूंजीगत विकास कार्यों हेतु 44943.82 लाख का प्रावधान प्रस्तावित है तथा अनुसूचित जाति/जनजाति हेतु कुल 20499.20 लाख रूपये का परिव्यय प्राविधानित है। उन्होंने बताया कि विकास योजना का मुख्य उद्देश्य उत्पादन में वृद्धि करना, बेरोजगारी को दूर करना, गरीबी उन्मूलन, आर्थिक एवं सामाजिक अवस्थापना सुविधाओं का विकास करना है।
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जिलाधिकारी ने इस अवसर पर विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिया कि सांसद, विधायक एवं अन्य जनप्रतिनिधियों के सुझावों को गम्भीरता से लेकर उनका निराकरण करके संबंधित जनप्रतिनिधि को अवगत करायें। जनप्रतिनिधियों से निरन्तर संवाद बनाये रखें। उन्होंने मा0 प्रभारी मंत्री जी को आश्वस्त किया कि उनके निर्देशों का नियमों के अन्तर्गत समयान्तर्गत अनुपालन सुनिश्चित कराया जायेगा।
इन विभागों को इतनी मिलेगी धनराशि
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी संदीप कुमार ने जिला योजना में विभिन्न विभागों के लिये निर्धारित परिव्यय की जानकारी देते हुये बताया कि कृषि विभाग को 44 लाख, गन्ना विभाग को 728.12 लाख, पशुपालन विभाग को 563.31 लाख, वन विभाग को 504.03 लाख, दुग्ध विकास 185.95 लाख, सहकारिता 508 लाख, ग्राम्य विकास के विशेष कार्यक्रम 86.48 लाख, सिंचाई एवं जल संशाधन 124.40 लाख, रोजगार कार्यक्रम 11643.20 लाख, पंचायती राज विभाग के लिये 74.60 लाख रूपये का परिव्यय प्रस्तावित है।
उन्होंने बताया कि इसी प्रकार से सामुदायिक विकास (ग्राम्य विकास) 112 लाख, लघु सिंचाई के लिये 2395.80 लाख, राजकीय लघु सिंचाई 198.36 लाख, अतिरिक्त उर्जा स्त्रोत 35.50 लाख, रेशम उद्योग 20 लाख, सड़क एवं पुल के लिये 7876.75 लाख, पर्यावरण 15 लाख, पर्यटन 50 लाख, प्राथमिक शिक्षा 725 लाख, माध्यमिक शिक्षा हेतु 1395.68 लाख, प्राविधक शिक्षा 703.78 लाख, प्रादेशिक विकास दल 74.67 लाख, ऐलोपैथिक चिकित्सा के लिये 778.83 लाख, परिवार कल्याण 100 लाख, होम्योपैथी 282.02 लाख, आयुर्वेद 134 लाख तथा यूनानी चिकित्सा पद्धति में 90 लाख का परिव्यय प्रस्तावित है।
इसी प्रकार ग्रामीण स्वच्छता के लिये 1319.52 लाख, पूल्ड आवास 250 लाख, ग्रामीण आवास हेतु 25467.84 लाख, नगर विकास 402.60 लाख, अनुसूचित जाति कल्याण 1407.67 लाख, पिछड़ी जाति कल्याण 142.84 लाख, अल्पसंख्यक कल्याण 267.90, समाज कल्याण सामान्य जाति 1049.02 लाख, जनजाति कल्याण 2.08 लाख, सेवायोजन 2.13 लाख, शिल्पकार प्रशिक्षण 179 लाख, समाज कल्याण 2492 लाख, दिव्यांगजन सशक्तीकरण 65.92 लाख एवं महिला कल्याण 1200 लाख की धनराशि प्रस्तावित की गयी।
इस अवसर पर विधायक मिश्रिख रामकृष्ण भार्गव, विधायक हरगांव सुरेश राही, विधायक लहरपुर सुनील वर्मा, मुख्य विकास अधिकारी संदीप कुमार, मुख्य चिकित्सा डा0 मधु गौरेला, जिला विकास अधिकारी राकेश कुमार पाण्डेय सहित जिला योजना समिति के सदस्य, जनप्रतिनिधि, जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी तथा संबंधित विभागों के जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित रहे।
रिपोर्ट. पुतान सिंह, सीतापुर