Chitrakoot News: जगद्गुरू रामभद्राचार्य दिव्यांग विश्वविद्यालय को मिला राज्य विवि का दर्जा

Chitrakoot News: विश्वविद्यालय स्थापित कर जगद्गुरु ने दिव्यांगों को दिखाई राह, जगद्गुरु ने 26 जुलाई 2001 में स्थापित किया था दिव्यांग विश्वविद्यालय, रामकथा से प्राप्त धन से किया संचालन, दिव्यांगों को शिक्षा की धारा से जोड़ा।

Sunil Shukla (Chitrakoot)
Published on: 28 Jun 2023 4:40 PM GMT
Chitrakoot News: जगद्गुरू रामभद्राचार्य दिव्यांग विश्वविद्यालय को मिला राज्य विवि का दर्जा
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जगद्गुरू रामभद्राचार्य दिव्यांग विश्वविद्यालय को मिला राज्य विवि का दर्जा : Photo- Newstrack

Chitrakoot News: प्रदेश सरकार ने बुधवार को मंत्रिमंडल की बैठक में जगद्गुरू रामभद्राचार्य दिव्यांग विश्वविद्यालय को राज्य विवि का दर्जा दिया है। अब इसका संचालन सरकार करेगी। विश्वविद्यालय के संस्थापक आजीवन कुलाधिपति जगद्गुरु स्वामी रामभद्राचार्य ने काफी पहले इसे केन्द्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा दिए जाने की पहल किया था।

पद्म विभूषित जगद्गुरु रामभद्राचार्य महाराज ने 26 जुलाई 2001 में अपनी श्रीराम कथा से प्राप्त धनराशि से विश्वविद्यालय उत्तर प्रदेश सरकार और केन्द्रीय विश्वविद्यालय अनुदान आयोग से मान्यता प्राप्त कर खोला था। इसमें मौजूदा समय पर करीब 1600 दिव्यांग छात्र-छात्राएं अध्ययनरत है। बुधवार को जैसे ही विश्वविद्यालय स्टाफ को जानकारी मिली कि प्रदेश सरकार ने संचालन की जिम्मेदारी ले ली है। सभी की खुशी का ठिकाना न रहा। विश्वविद्यालय स्टाफ ने बैठक बुलाकर सरकार के निर्णय पर खुशी जताई।

मौजूदा समय यहां पर करीब दो दर्जन सेमेस्टरों की पढ़ाई होती है। दिव्यांगों के लिए ब्रेल लिपि की पढ़ाई होती है। यहां पर दूरस्थ शिक्षा की व्यवस्था है। इसके साथ ही संस्कृत व कंप्यूटर विषय अनिवार्य किया गया है। यहां पर पीएचडी की सभी कक्षाएं संचालित है। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग सेे सभी विषयों में पीएचडी का अधिकार मिला है। विश्वविद्यालीय में दिव्यांग छात्रों के लिए निशुल्क भोजन, छात्रावास, अल्प शुल्क में शैक्षिक सुविधाएं उपलब्ध है।

विश्वविद्यालय से डिग्री हासिल कर देश के सभी राज्यों में शिक्षक समेत अन्य क्षेत्र में यहां के छात्र-छात्राएं सेवाएं दे रहे हैं। यहां पर दृष्टि, श्रवण और अस्थि बाधित दिव्यांग शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। यूपी के अलावा बिहार, उड़ीसा, राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, बंगाल, देहरादून से भी दिव्यांग यहां ग्रहण कर रहे हैं। संगीत, खेल, योग, शिक्षा, ललित कला आदि के छात्रों ने राज्य के बाहर प्रतियोगिताओं में बेहतर प्रदर्शन किया है।

युवा संसद महोत्सव में सूर्यदेव ने किया प्रतिनिधित्व

युवा कार्यक्रम एवं खेल विकास मंत्रालय एवं नेहरू युवा केंद्र के संयुक्त तत्वाधान में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में 27 फरवरी 2019 को दिल्ली के विज्ञान भवन में राष्ट्रीय युवा संसद महोत्सव का आयोजन हुआ था। जिसमें दिव्यांग विश्वविद्यालय के छात्र सूर्यदेव सिंह युवा सांसद के रूप में लोकसभा बांदा-चित्रकूट का प्रतिनिधित्व किया। सूर्यदेव ने प्रथम स्थान अर्जित कर यहां से महोत्सव में शामिल होने वाले प्रथम छात्र रहे है।

बोले जिम्मेदार-

प्रो शिशिर पांडेय, कुलपति जगद्गुरु रामभद्राचार्य दिव्यांग विश्वविद्यालय ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने देश को विश्व गुरु बनाने के रास्ते पर ले जाने का संकल्प लिया है। शिक्षा व शोध कला में शुरू से ही जगद्गुरु रामभद्राचार्य ने विश्वविद्यालय को अपनी ऋषि परंपरा को आधुनिक रुप दिया है। अब सामाजिकता स्थापित हो गई है, जिससे उन्होंने शासन को समर्पित कर दिया है। इससे कानूनी व शासनिक रुप में मान्यता बढ़ जाती है। दिव्यांग अपने आप अभूतपूर्व कल्पना की बात है। भले ही वह अंग से हीन हो, लेकिन बुद्धि में प्रखर होते है। सरकार ने विश्वविद्यालय को अपने साथ लेकर पूरे देश के दिव्यांगों के प्रति वात्सल्य पूर्ण भाव व्यक्त किया है।

Sunil Shukla (Chitrakoot)

Sunil Shukla (Chitrakoot)

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