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CM योगी का तोहफा: किया प्रयोगशाला का लोकार्पण, यहां 13 नए BSL-2
झांसी मण्डल के जनपद जालौन सहित 13 नयी बायोसेफ्टी सेकेण्ड जेनरेशन (बी0एस0एल0-2) प्रयोगशालाओं का लोकार्पण किया। इनमें से 10 प्रयोगशालाए प्रदेश के विभिन्न राजकीय मेडिकल कॉलेजों तथा 03 प्रयोगशालाएं निजी मेडिकल कॉलेजों में स्थापित की गई हैं।
झाँसी: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से राज्य में झांसी मण्डल के जनपद जालौन सहित 13 नयी बायोसेफ्टी सेकेण्ड जेनरेशन (बी0एस0एल0-2) प्रयोगशालाओं का लोकार्पण किया। इनमें से 10 प्रयोगशालाए प्रदेश के विभिन्न राजकीय मेडिकल कॉलेजों तथा 03 प्रयोगशालाएं निजी मेडिकल कॉलेजों में स्थापित की गई हैं।
05 हजार टेस्ट सम्पन्न किए
राजकीय मेडिकल कॉलेजों में स्थापित प्रयोगशालाएं-जनपद जालौन, आजमगढ़, अम्बेडकरनगर, सहारनपुर, बस्ती, बहराइच, फिरोजाबाद, अयोध्या, बांदा तथा बदांयू के मेडिकल कॉलेजों में तथा निजी मेडिकल कॉलेजों में स्थापित लैब्स-जी0एस0मेडिकल कॉलेज हापुड़, मेयो इन्स्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज, बाराबंकी तथा तीर्थांकर महावीर यूनिवर्सिटी, मुरादाबाद के मेडिकल कॉलेज में स्थापित की गई हैं। इन प्रयोगशालाओं द्वारा निरन्तर कार्य करते हुए प्रतिदिन लगभग 05 हजार टेस्ट सम्पन्न किए जा सकेगें।
प् प्रशिक्षित टेक्नीशियन कार्य करेंगे, कोविड-19 के विरुद्ध संघर्ष कम होगा
इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रयोगशालाओं में जितने कुशल और प्रशिक्षित टेक्नीशियन कार्य करेंगे, कोविड-19 के विरुद्ध संघर्ष उतना ही प्रभावी और सफल होगा। उन्होने कहा कि प्रयोगशालाओ द्वारा लगातार कार्य करके अधिक से अधिक टेस्ट पूरी पारदर्शिता व गुणवत्तापूर्ण ढंग से सम्पन्न किए जाएं। उन्होने कहा कि जब तक कोविड-19 की कोई कारगर दवा अथवा वैक्सीन विकसित नहीं हो जाती, तब तक अधिक से अधिक टेस्टिंग ही इसके विरुद्ध सबसे बड़ा हथियार है। टेस्टिंग के माध्यम से कोविड-19 की चेन को नियंत्रित करके व्यापक पैमाने पर जीवन रक्षा की जा सकती है।
फाइल
सीएम योगी ने कहा कि कोविड-19 पर प्रभावी नियंत्रण के लिए इससे 05 श्रेणियों के लोगों-अधिक उम्र, कोमॉर्बिडिटी, कम इम्युनिटी, गर्भवती महिलाओं तथा बच्चों को सुरक्षित रखने के साथ-साथ शेष लोगों में संक्रमण की स्थिति में समुचित उपचार उपलब्ध कराने की जरूरत है। इससे कोविड-19 से होने वाली जनहानि पर प्रभावी नियंत्रण लगाया जा सकता है।
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कुल टेस्ट का 05 प्रतिशत टेस्ट
कोविड-19 के प्रकोप के शुरुआत के बाद से 04 लॉकडाउन तथा 03 अनलॉक की गतिविधियां सम्पन्न हो चुकी हैं। 01 सितम्बर, 2020 से अनलॉक का चैथा चरण लागू होगा। उन्होने कहा कि कोविड-19 के लक्षणरहित मामलों की संख्या अधिकतम होने के कारण अब चुनौती अधिक है। इसलिए सर्विलांस, डोर-टू-डोर सर्वे, अधिक से अधिक टेस्टिंग की आवश्यकता है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री जी द्वारा लागू लॉकडाउन के दौरान प्रदेश में कोरोना वायरस की जांच हेतु केजीएमयू, लखनऊ में स्थापित मात्र एक माइक्रोबायलॉजी लैब ही समर्थ थी। 23 मार्च, 2020 को इस लैब द्वारा 72 टेस्ट किए गए। निरन्तर प्रयास से वर्तमान में डेढ़ लाख टेस्ट प्रतिदिन किए जा रहे हैं। इसमें आरटीपीसीआर से लगभग 45 हजार, ट्रूनेट मशीनों से लगभग 03 हजार तथा शेष रैपिड एन्टीजन टेस्ट किए जा रहे हैं। प्रारम्भ में जहां प्रदेश में देश में होने वाले कुल टेस्ट का 05 प्रतिशत टेस्ट किया जा रहा था, वहीं वर्तमान में यह 15 प्रतिशत हो गया है। अब प्रदेश में प्रति 10 लाख जनसंख्या पर 24 हजार टेस्ट किए जा रहे हैं, जो एक बड़ी प्रगति है।
राज्य सरकार ने कोविड-19 के विरुद्ध संगठित ढंग से कार्य किया है। प्रधानमंत्री जी ने प्रत्येक जनपद में लैब बनाए जाने की बात कही थी। राज्य सरकार ने पहले चरण में सभी पुराने मेडिकल कॉलेजों में एक-एक प्रयोगशाला स्थापित करायी। आज 10 अन्य राजकीय मेडिकल कॉलेजों में प्रयोगशालाए स्थापित हो गई हैं। इसी प्रकार सभी मण्डल मुख्यालयों में लैब स्थापना का कार्य सम्पन्न हो गया है।
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राज्य सरकार प्रदेशवासियों को मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड-19 के सम्बन्ध में हर सम्भव बचाव व उपचार की सुविधा सुलभ कराने के लिए प्रतिबद्ध है। इसके लिए निरन्तर कार्य किया जा रहा है। निकट भविष्य में प्रदेश के राजकीय क्षेत्र में 03 बीएसएल-03 लैब-मेडिकल कॉलेज शाहजहांपुर, जीआईएमएस ग्रेटर नोएडा तथा एसएसपीएच नोएडा स्थापित की जाएगी। इसके अतिरिक्त, राजकीय मेडिकल कॉलेज कन्नौज एवं गोरखपुर में भी बी0एस0एल0-03 लैब की सुविधा का विस्तारीकरण किया जा रहा है। इस अवसर पर मण्डलायुक्त सुभाष चन्द्र शर्मा, जिलाधिकारी आन्द्रा वामसी, एसएसपी दिनेश कुमार पी, प्राचार्य मेडीकल कालेज डा साधना कौशिक, निदेशक पैरामेडीकल कालेज डा एसएन सेंगर सहित सम्बन्धित विभागों के अधिकारी व चिकित्सक उपस्थित रहे।