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हर शख्स हैरानः कोरोना मरीजों के बीच डीएम रवीश गुप्ता को देखकर
उन्होंने मरीजों से वार्तालाप करते हुए बोला कि किसी को भी परेशान होने की ज़रूरत नही है। स्वास्थ्य विभाग के साथ ही पूरा ज़िला प्रशासन आप सभी के साथ है।
संतकबीरनगर: कोरोना के मरीजों से मिलना तो दूर, यहां तक की उनके परिवार के लोग भी उनके नज़दीक भी जाना नही चाहते। बहुत से लोग उनसे दूरी बनाकर रखते हैं। लेकिन संतकबीरनगर ज़िले के डीएम रवीश गुप्ता की दरियादिली देखने लायक हैं। जब एक बड़ी जिम्मेदारी उठाते हुए पी पी ई किट पहनकर कोरोना पॉज़िटिव मरीजों से मिले उनके वार्ड में पहुंच गए।
संतकबीरनगर जिले के डीएम रवीश गुप्ता ने ज़िले में अपनी एक अलग तरह की छवि बना रखी है। रवीश गुप्ता आए दिन किसी न किसी अंदाज में नजर आते हैं जिसको लेकर वो अक्सर सुर्खियों में बने रहते हैं और लोगों को डीएम का हर अंदाज़ पसंद भी आता है।
डीएम ने अपने अंदाज में इसकी पड़ताल की
दरअसल आये दिन सोशल मीडिया या अन्य माध्यमों के ज़रिए यह बात निकल कर सामने आती है कि जिस वार्ड में कोरोना के मरीज भर्ती किए जाते हैं, वहां उनका ठीक से इलाज नहीं किया जाता है। साथ ही उन्हें कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है और इन्हीं सब को लेकर डीएम रवीश गुप्ता ने अपने अंदाज में इसकी पड़ताल की और लोगों को ये बताने की कोशिश की है। उन्होंने बोला कि ये सब महज़ एक अफ़वाह के अलावा और कुछ नही है। बाकायदा कोविड-19 प्रोटोकॉल के तहत डीएम ने पीपीई किट पहना और अचानक से एक वार्ड में पहुंच गए, जहां कोरोना के मरीजों का इलाज चल रहा था।
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स्वास्थ्य कर्मियों से मंगवाया पीपीई किट
आपको बता दें कि DM रवीश गुप्ता आज दोपहर अचानक अपने आवास से निकलकर सेंटथॉमस इन्टर कॉलेज पर पहुंचे। जहां कोरोना के मरीजों के लिए एल वन वार्ड बनाया गया है। उसमें कोरोना के मरीज़ भी भर्ती हैं। उसके बाद उन्होंने स्वास्थ्य कर्मियों से पीपीई किट मंगवाया और उसे पहनकर सीधा कोरोना वार्ड में पहुंच गए। जहां पर कोरोना के पॉज़िटिव मरीज़ भर्ती थे। वो लोग एक एक कर मरीज़ों से उनका हाल जाना। वहीं जब मरीज़ों को ये जानकारी हुई कि ये ज़िले के DM हैं तो सभी हैरान रह गए। मानो जैसे उनको कितनी एनर्जी मिल गई हो। वहीं डीएम करीब एक घंटे तक वार्ड में मौजूद रहे। और बारी बारी से सभी मरीजों का हाल जाना और उन्हें हिम्मत दी।
परेशान होने की ज़रूरत नही
उन्होंने मरीजों से वार्तालाप करते हुए बोला कि किसी को भी परेशान होने की ज़रूरत नही है। स्वास्थ्य विभाग के साथ ही पूरा ज़िला प्रशासन आप सभी के साथ है। जिसके बाद वार्ड में भर्ती मरीजों ने डीएम का शुक्रिया अदा किया। वहीं डीएम को अपने नज़दीक पाकर और उनका ये अंदाज देखकर वार्ड में मौजूद स्वास्थ्य कर्मियों का सीना भी गर्व से चौड़ा हो गया। यकीनन आप यह कह सकते हैं कि इस तरह की तस्वीर आपने अभी तक शायद ही कहीं देखी होगी। किसी जिले का DM कोरोना पॉज़िटिव मरीजों से मिलने और उनका हाल जानने के लिए उनके वार्ड में जाकर उनके दुख-सुख में शरीक होकर उन्हें हौसला देता है कि हमे हिम्मत नही बल्कि कोरोना को हराना है।
वहीं DM रवीश गुप्ता की अगर परिचय की बात करें तो वह 2012 बैच के IAS ऑफिसर हैं। जो मूल रूप से यूपी के देवरिया ज़िले के रहने वाले हैं, जिन्होंने बीटेक के साथ MBA भी किया हुआ है। इस वक्त सन्तकबीरनगर ज़िले में बतौर डीएम के पद पर तैनात हैं और ज़िले में एक अच्छे DM के तौर पर जाने जाते है, जो कोरोना जैसी वैश्विक महामारी के इस दौर में कागज़ी नही बल्कि ज़मीन पर काम कर रहे हैं।
रिपोर्टर- साहिल खान, सन्तकबीरनगर
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