रंगदारी वसूली पर बड़ी कार्यवाही, एटा के जेलर सस्पेंड, अधिकारियों को जारी नोटिस

एटा कोतवाली नगर पुलिस भी अभी घटनाक्रम की जांच कर रही है। जेल में लगे पीसीओ द्वारा कैदी को क्या 5 बार महीने में बात कराई जाती है। जेल में लगे पीसीओ से की जा रही बात की रिकॉर्डिंग की कोई व्यवस्था नहीं है।

Chitra Singh
Published on: 20 Jan 2021 1:05 PM GMT
रंगदारी वसूली पर बड़ी कार्यवाही, एटा के जेलर सस्पेंड, अधिकारियों को जारी नोटिस
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रंगदारी वसूली पर बड़ी कार्यवाही, एटा के जेलर सस्पेंड, अधिकारियों को जारी नोटिस

एटा: जनपद मुख्यालय स्थित जिला कारागार एटा में बीती दो दिन पूर्व कैदी के द्वारा रंगदारी मांगने के मामले में जांच करते हुए डीआईजी जेल अखिलेश कुमार ने जांच रिपोर्ट डीजी जेल को सौंपी गई थी, जिसमें जेलर आरके गौतम को दोषी माना गया है। वही जेल अधीक्षक पी पी सिंह और दूसरे जेलर भदौरिया के खिलाफ कारण बताओ नोटिस दिया गया है। इस पूरे घटनाक्रम की जांच चार लोगों के द्वारा की जा रही है, जिसमें 18 जनवरी को कोतवाली नगर में 386/507 आईपीसी के तहत अभियोग पंजीकृत कर लिया गया है।

घटनाक्रम की जांच जारी

एटा कोतवाली नगर पुलिस भी अभी घटनाक्रम की जांच कर रही है। जेल में लगे पीसीओ द्वारा कैदी को क्या 5 बार महीने में बात कराई जाती है। जेल में लगे पीसीओ से की जा रही बात की रिकॉर्डिंग की कोई व्यवस्था नहीं है। जिस मशीन से रिकॉर्डिंग की जाती है। वह मशीन खराब पड़ी है, जिसके बारे में जेल प्रशासन के द्वारा कई बार मुख्यालय को इस बात की जानकारी दी भी गई थी, फिर भी उसे गंभीरता से लेते हुए शासन ने मशीन सही नहीं कराई गयी।

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कैदी ने ढाई मिनट तक की बात

घटना क्रम के अनुसार, जैथरा थाना क्षेत्र के कैदी अनिल दुबे के द्वारा दो लोगों की हत्या के मामले में आजीवन कारावास की सजा काट रहा है। कैदी अनिल दुबे और पीड़ित संजीव यादव दोनो लोगो के गांव के पास में ही है। दोनों की पुरानी रंजिश चली आ रही है। हालांकि 4 दिसंबर को कैदी अनिल दुबे के द्वारा संजीव यादव से 2:30 मिनट बात की गई थी, जिसकी शिकायत अब आकर संजीव यादव ने पुलिस से की है।

District Prison Etah

जेलर के खिलाफ 'कारण बताओ' नोटिस जारी

सूत्रों की माने तो मामला आपसी रंजिश का है। दोनों ही लोग एक दूसरे को पहले से जानते हैं। फिलहाल इस पूरे मामले पर डीजी जेल भी निगरानी बनाए हुए हैं। उनके द्वारा डिप्टी जेलर आरके गौतम को सस्पेंड कर दिया गया है। वहीं जेल अधीक्षक केपी सिंह को और दूसरे जेलर के खिलाफ 'कारण बताओ' नोटिस दिया गया है। अब आने वाला वक्त ही बताएगा इस पूरे मामले में और किसके खिलाफ कार्यवाही होती है।

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जेल अधीक्षक ने दी जानकारी

जेल अधीक्षक पीपी सिंह ने बताया कि जेल में बंद कैदी अनिल दुबे की आगरा के डाक्टर संजीव यादव से बात न होने की पुष्टि हो गयी है। उनकी जेल में बंद कैदी अनिल से पुरानी रंजिश हैं। रंजिश में हीएक षड्यंत्र के तहत यह किया गया है। उन्होंने बताया कि कोरोना काल में शासन के आदेश पर कैदियों के लिए हर महीने में पांच बार बात करने के लिए पीसीओ की व्यवस्था की गयी थी, जिसके तहत ही बात की जाती है। जांच में आरोपी व्यक्ति के बात करने की पुष्टि की थी। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

रिपोर्ट- सुनील मिश्रा

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