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इटावा: सांसद राम शंकर कठेरिया बोले- किसानों के हित में है कृषि कानून

भारत सरकार के यशस्वी प्रधानमंत्री मा. नरेंद्र मोदी जी द्वारा किसानों के हित में लाया गया बिल अवश्य ही भारत की विकसित दिशा एवं दशा को निर्धारित करेगा । जिस बिल का विरोध कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी पार्टियों द्वारा किया जा रहा है।

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Published on: 14 Dec 2020 1:20 PM GMT
इटावा: सांसद राम शंकर कठेरिया बोले- किसानों के हित में है कृषि कानून
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इटावा: सांसद राम शंकर कठेरिया बोले- किसानों के हित में है कृषि कानून photos (social media)

इटावा : कृषि बिल के विरोध में पूरे देश जहां विरोध प्रदर्शन जारी है उसी के साथ आज इटावा सांसद रामशंकर कठेरिया ने सिचाई विभाग गेस्ट हाउस में प्रेसवार्ता करते हुए कहा कि सरकार किसानों की आय को बढ़ाने के लिए अनेक प्रकार की योजनाओं और सेवाओं को शुरू कर रही है। जिसके माध्यम से किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार हो सके। और किसानों की आय को बढ़ाया जा सके। जिसके लिए मोदी सरकार द्वारा एक नया किसान बिल लाया गया। जो किसानों की फसल, बाजार, फसल मूल्य तथा बाजार मूल्य आदि से जुड़ा हुआ है ।

कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी पार्टियों का विरोध

भारत सरकार के यशस्वी प्रधानमंत्री मा. नरेंद्र मोदी जी द्वारा किसानों के हित में लाया गया बिल अवश्य ही भारत की विकसित दिशा एवं दशा को निर्धारित करेगा । जिस बिल का विरोध कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी पार्टियों द्वारा किया जा रहा है यूपीए सरकार में कांग्रेसी वित्तमंत्री ने खुद कबूल किया था कि मंडी एक्ट में बदलाव की आवश्यकता है।

विरोधी दल कर रहा किसानों को भृमित

जब उन्ही बदलावों को आज भारत सरकार कर रही है तो कांग्रेस सरकार समेत विरोधी दल किसानों को भृमित कर अपने राजनैतिक हितों को साधने के लिए आंदोलन करवा रहे है । किसान आंदोलन में लगने वाले देश विरोधी नारे, भारत सरकार के प्रधानमंत्री के लिए अमर्यादित शब्दों का प्रयोग साथ ही साथ खलिस्तान एवं पाकिस्तान समर्थन में लगने वाले नारे खुद ब खुद ही इसे अलोकतांत्रिक आंदोलन बना देते है ।

प्रथम बिल

केंद्र सरकार ने किसानों को देश में कहीं भी फसल बेचने को आजाद किया है। ताकि राज्यों के बीच कारोबार बढ़ेगा। जिससे मार्केटिंग और ट्रांसपोर्टेशन पर भी खर्च कम होगा।

द्वितीय बिल

इस बिल में सरकार ने किसानों पर राष्ट्रीय फ्रेमवर्क का प्रोविज़न किया गया है। यह बिल कृषि पैदावारों की बिक्री, फार्म सर्विसेज़, कृषि बिजनेस फर्मों, प्रोसेसर्स, थोक विक्रेताओं, बड़े खुदरा विक्रेताओं और एक्सपोर्टर्स के साथ किसानों को जुड़ने के लिए मजबूत करता है. कांट्रेक्टेड किसानों को क्वॉलिटी वाले बीज की सप्लाई यकीनी करना, तकनीकी मदद और फसल की निगरानी, कर्ज की सहूलत और फसल बीमा की सहूलत मुहैया कराई गई है ।

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तृतीय बिल

इस बिल में अनाज, दाल, तिलहन, खाने वाला तेल, आलू-प्‍याज को जरूरी चीजो की लिस्ट से हटाने का प्रावधान रखा गया है। जिससे किसानों को अच्छी कीमत मिले।

रिपोर्ट : उवैश चौधरी

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