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गोरखपुर: 500 रुपये के लिए बेटी ने पिता को बना लिया पति, CM तक पहुंचा मामला

सच्चाई सामने आने के बाद पेंशन तो निरस्त कर दिया गया है लेकिन अपनी गलती छिपाने के लिए अभी इस मामले में न तो एफआईआर हुई है और न ही कोई विभागीय कार्रवाई।

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Published on: 11 Dec 2020 11:23 AM IST
गोरखपुर: 500 रुपये के लिए बेटी ने पिता को बना लिया पति, CM तक पहुंचा मामला
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गोरखपुर: 500 रुपये के लिए बेटी ने पिता को बना लिया पति, CM तक पहुंचा मामला (PC: social media)

गोरखपुर: सिर्फ 500 रुपये के लिए कोई बेटी पिता को पति बना सकती है। समाज में हर कोई कहेगा नहीं। लेकिन विकृत होते समाज में ऐसी घटनाएं हो रही हैं। 500 रुपये के लिए पिता को पति बनाने का मामला गोरखपुर के सहजनवा का है। मामला तब खुला जब शिकायत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ नाथ के पास पहुंची। अब प्रशासनिक अधिकारी मामले की जांच कर कार्रवाई की तैयारी में हैं।

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सहजनवा में अपने पिता को ही पति बनाकर एक युवती पिछले तीन साल से विधवा पेंशन ले रही थी। शिकायत के बाद जब यह फर्जीवाड़ा सामने आया तो लोगों के पैरो तले जमीन खिसक गई। पता चला कि जिस पिता को युवती ने पति बनाया है वह भी जीवित है और उसका फर्जी मृत्यु प्रमाणपत्र बन गया है। यही नहीं विवाहिता कागज में एक बच्चे की मां भी बन गई है।

सच्चाई सामने आने के बाद पेंशन तो निरस्त कर दिया गया है

सच्चाई सामने आने के बाद पेंशन तो निरस्त कर दिया गया है लेकिन अपनी गलती छिपाने के लिए अभी इस मामले में न तो एफआईआर हुई है और न ही कोई विभागीय कार्रवाई। निराश्रितों की मदद के लिए शासन द्वारा वृद्धा व विधवा पेंशन के रूप में मुहैया कराया जाता है। पिपरौली ब्लाक के ग्राम पंचायत पिपरौली में फर्जी दस्तावेज लगाकर विधवा पेंशन लेने का मामला सामने आया है। पिपरौली निवासी मोहम्मद कैश पुत्र आशिक अली ने मुख्यमंत्री पोर्टल सहित जिले के उच्च अधिकारियों को शिकायत कर आरोप लगाया कि गांव की एक युवती फर्जी दस्तावेज लगाकर तीन साल से विधवा पेंशन ले रही है।

ब्लाक कर्मचारियों द्वारा जिस महिला को विधवा पेंशन दिया जा रहा है

शिकायतकर्ता ने अपनी शिकायत में बताया कि ब्लाक कर्मचारियों द्वारा जिस महिला को विधवा पेंशन दिया जा रहा है। कथित तौर पर जिसे उसका पति बताया गया है वह जिंदा है। ब्लाक कर्मचारियों की मिलीभगत से 25 अप्रैल को महिला के पति का मृत्यु प्रमाण पत्र जारी किया गया तथा कुटुम्ब परिवार रजिस्टर में उसका एक बच्चा भी दिखाया गया है। यही नहीं यह भी आरोप है कि जिसे महिला का पति बताया जा रहा है वह दरअसल वह उसका पिता है। कूट रचित दस्तावेज तैयार कर विभागीय कर्मचारियों की मदद से तीन साल से महिला को विधवा पेंशन दिया जा रहा है।

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मोहम्मद कैश ने बताया कि मुख्यमंत्री के पोर्टल पर शिकायत करते हुए मुकदमा दर्ज करने की मांग की है। पिपरौली ब्लाक के अधिकारियों ने पेंशन तो निरस्त कर दिया पर अपना गर्दन फंसता देख कार्रवाई से कतराने लगे। मुख्यमंत्री पोर्टल पर अधिकारियों ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि जांच के दौरान पेंशन को निरस्त कर दिया गया है।

रिपोर्ट- पूर्णिमा श्रीवास्तव

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