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Jhansi News: नहर विभाग की भूमि पर वर्षों पुरानी दुकानों पर चला बाबा का बुल्डोजर, दुकानदार हुए बेरोजगार, भारी आक्रोश
Jhansi News: दुकानदारों का आरोप है कि एकदम से अचानक प्रशासनिक कार्रवाई से दुकानदार अपना दुकान के अंदर रखा हुआ लाखों का सामान भी नहीं हटा पाए और प्रशासन द्वारा दुकानें तोड़ने का कार्य शुरू कर दिया गया।
Jhansi News: पूछ कस्बे के बाबई रोड पर नहर विभाग की जमीन पर बनी वर्षों पुरानी पक्की दुकानों पर बाबा बुल्डोजर चला, जिससे कई दुकानदार बेरोजगार हो गए। करीब 20 दुकानदारों को अपने रोजगार से हाथ धोना पड़ा। वर्षों पुरानी दुकानों पर दुकानदार दुकानें किराए पर लिए थे, परंतु दुकानदारों एवं दुकान मालिक के बीच न्यायालय में मुकदमा चलता रहा जिसमें दुकानदारों को न्यायालय द्वारा एक नोटिस भी दिया गया जिसमें दुकानें खाली करने के लिए कहा गया था। इसी के तहत आज एसडीएम मोठ, सीओ मोठ के अलावा पूछ समथर मोठ का पुलिस प्रशासन लाव लश्कर के साथ बाबा के बुल्डोजर को लेकर दुकानों पर आ खड़ा हुआ जिससे दुकानदारों के हाथ पैर फूल गए।
दुकानदारों का आरोप है कि एकदम से अचानक प्रशासनिक कार्रवाई से दुकानदार अपना दुकान के अंदर रखा हुआ लाखों का सामान भी नहीं हटा पाए और प्रशासन द्वारा दुकानें तोड़ने का कार्य शुरू कर दिया गया। जिससे करीब 20 दुकानदारों द्वारा आनन-फानन में अपनी-अपनी दुकानों से सामान हटाया जाने लगा। कस्बे में एकदम अफरा-तफरी का माहौल मच गया। सैकड़ों लोगों की भीड़ जमा हो गई। देखते ही देखते बुल्डोजर द्वारा सभी दुकानों को जमींदोज कर दिया गया। दुकानदारों का आरोप है कि कस्बे में नजूल एवं ग्राम सभा की जमीन पर सैकड़ों लोग कब्जा किए हैं जिस पर प्रशासन ने आज तक कोई कार्रवाई नहीं की है बावजूद इसके सभी दुकानदारों की दुकानें अचानक तोड़कर दुकानदारों की रोजी रोटी का जरिया ही नेस्तनाबूद कर दिया।
फिलहाल इस प्रशासनिक कार्यवाही से जहां दुकानदारों में भारी आक्रोश व्याप्त है तो वहीं सवाल इस बात का भी है कि कस्बे के अंदर जो नजूल एवं ग्राम सभा की जमीन पर वर्षों से लोग कब्जा किए हैं क्या प्रशासन का बुल्डोजर यहां भी गरजेगा यह एक सवालिया निशान है। उक्त कार्रवाई से पीड़ित दुकानदारों के घरों में मातम सा छा गया एवं इस कार्रवाई से उनके रोजगार एवं भरण पोषण का जरिया भी खत्म हो गया। जिस प्रकार से प्रशासन द्वारा दोनों तरफ से सड़क जाम करके अचानक कार्रवाई की गई जिससे अवैध कब्जाधारकों में भी भारी दहशत व्याप्त है।