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Jhansi News: डीएम ने अधिकारियों को अलर्ट रहने के दिए निर्देश, नदी किनारे लगाए चेतावनी के साइन बोर्ड
Jhansi News: जिलाधिकारी रविंद्र कुमार ने कलेक्ट्रेट में जन सुनवाई के दौरान जनपद व आसपास हो रही लगातार बारिश के दृष्टिगत चेक डैम से छोड़े जा रहे पानी के कारण उत्पन्न सम्भावित बाढ़ के मद्देनजर एवं आकाशीय बिजली से राहत एवं बचाव कार्य से सम्बन्धित विभिन्न विभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया।
Jhansi News: जिलाधिकारी रविंद्र कुमार ने कलेक्ट्रेट में जन सुनवाई के दौरान जनपद व आसपास हो रही लगातार बारिश के दृष्टिगत चेक डैम से छोड़े जा रहे पानी के कारण उत्पन्न सम्भावित बाढ़ के मद्देनजर एवं आकाशीय बिजली से राहत एवं बचाव कार्य से सम्बन्धित विभिन्न विभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया।
दीवारों के सहारे टेक लगाकर ना हो खड़े
जिलाधिकारी ने जन सुनवाई के दौरान आकाशीय बिजली से अपना बचाव कैसे करें, इसके बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि जब आप घरों में हो तो आकाशीय बिजली या वज्रपात होने के समय इन निर्देशों का पालन शत-प्रतिशत करें जैसे कि बिजली उपकरणों, स्विचों,तारों और टेलीफोन का प्रयोग ना करें। खिड़की के कांच, टीन की छत, गीले सामानों और लोहे के हैंडलों से दूर रहें। दीवारों के सहारे टेक लगाकर खड़े ना हो स्नान करना तुरंत रोक दें। उन्होंने कहा कि इन बचाव से ही हम अपने और अपनों को सुरक्षित कर सकते हैं।
जनसमुदाय को राहत पहुंचाना हम सभी का कर्तव्य
संभावित बाढ़ के दृष्टिगत जिलाधिकारी ने कहा कि किसी भी आपदा के आने से पूर्व व बाद की स्थिति से निपटते हुए जनसमुदाय को राहत पहुंचाना हम सभी का कर्तव्य है। सम्भावित बाढ़ एवं अतिवृष्टि को दृष्टिगत रखते हुए राहत एवं बचाव कार्य से जुड़े सभी सम्बन्धित विभागीय अधिकारी द्वारा बनाई गई कार्य योजना के आधार यदि जिले में अचानक आपदा आती है तो पीड़ितों को राहत एवं सहायता प्रदान की जा सके।
बाढ़ आ भी जाती है तो तत्काल बाढ़ पीड़ितों की करे मदद
उन्होने कहा कि विगत वर्षो में बांधों से वर्षा जल छोड़े जाने के कारण बाढ़ जैसी स्थिति के अनुभव के आधार पर जो गॉवों बाढ़ से प्रभावित हुए , सम्बन्धित विभागीय अधिकारी उन गांवों का लगातार दौरा करते हुए गांव वालों से सीधा संवाद स्थापित करें और राहत एवं बचाव कार्य के लिए पूरी तैयारी चाक-चौबन्द कर लें। ताकि यदि बाढ़ आ भी जाती है तो तत्काल बाढ़ पीड़ितों की मदद और सहायता करके उन्हें सुरक्षित किया जा सके।
लोगों को नदी किनारे व गहरे पानी में जाने से रोका जाए
जिलाधिकारी ने संभावित बाढ़ के दृष्टिगत निर्देश दिए कि ऐसे क्षेत्र जहां पर दुर्घटनाओं की संभावना प्रबल रहती है। वहां पर चेतावनी के बोर्ड लगाए जाएं और लोगों को नदी किनारे व गहरे पानी में जाने से रोका जाए। उन्होंने इस मौके पर ग्राम प्रधान, लेखपाल, ग्राम सचिव तथा रोजगार सेवक को भी निर्देशित किया कि लोगों को ऐसी दुर्घटना बाहुल्य क्षेत्र में जाने से रोका जाए। जिलाधिकारी ने कहा कि विगत वर्ष में आयी बाढ़ अथवा बांधों से छोड़े गए पानी के दौरान कितने क्यूसेक पानी बाढ़ में आया था। उसी के मद्देनजर राहत एवं बचाव कार्य के सभी तैयारियां चाक चौबन्द कर ली जाए, ताकि सम्भावित बाढ़ यदि आ भी जाती है, तो तत्काल बाढ़ प्रभावित गाँवों में बाढ़ पीड़ितों को राहत मुहैया करायी जा सके। उन्होंने अधिशासी अभियंता बाढ़ कार्य खण्ड को निर्देश दिया है कि वे जिले में स्थापित सभी संवेदनशील बांधों पर पैनी नजर रखें।
बाढ़ को देखते हुए पशुओं को चारे की कोई दिक्कत ना हो
उन्होने निर्देश दिया है कि जनपद की सभी 40 बाढ़ चौकियों पर स्वास्थ्य टीम की व्यवस्था के साथ-साथ बरसात के दिनों में होने वाली संक्रामक बीमारियों से बचाव हेतु तथा यदि किसी भी व्यक्ति के बाढ़ के दौरान सांप काट लेता है तो उनसे बचाव हेतु एंटीवेनम सहित अन्य व्यवस्थाओं को चुस्त-दुरूस्त रखा जाए। सम्भावित बाढ़ को देखते हुए पशुओं को चारे की कोई दिक्कत न होने पावे, इसके लिए भूसा के इंतजाम की आवश्यक कार्यवाही तथा पशुओं को बरसात के दिनों में होने वाली बीमारियों के बचाव हेतु शत-प्रतिशत टीकाकरण कराने हेतु मुख्य पशुचिकित्साधिकारी को निर्देश दिया।
राप्ती के घटते-बढ़ते जलस्तर पर पैनी नजर रखे
जिलाधिकारी ने सभी उपजिलाधिकारियों/तहसीलदारों/नोडल अधिकारियों एवं बाढ़ चौकी प्रभारियों को निर्देश दिया है कि वे राप्ती के घटते-बढ़ते जलस्तर पर पैनी नजर रखते हुए अपने-अपने क्षेत्रों में व्यापक निगरानी रखें। सम्भावित बाढ़ के मद्देनजर नाव और नाविकों की सूची एवं उनका मोबाइल नम्बर, स्कूलों में तैनात रसोईयां, सफाईकर्मी, रोजगार सेवक एवं गांवों में तैनात अन्य कर्मचारियों की भी सूची एवं मोबाइल नम्बर अपडेट रखें, ताकि जरूरत पड़ने पर इन लोगों की सहायता ली जा सके। जनपद में 40 बाढ़ चौकियां स्थापित है, सभी बाढ़ प्रभावित गांवों के सापेक्ष कुल 41 नाविकों को नामित कर लिया गया है।
इस नंबर पर करें कॉल
इसके अतिरिक्त जनपद में बुंदेलखंड बाढ़ नियंत्रण कक्ष की स्थापना बेतवा परिसर बेतवा भवन में की जा चुकी है। कक्ष का फोन नंबर - 05102332580 है।