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Kanpur news: इंक मशीन में शार्ट सर्किट से लगी आग, आग देख मजदूर बाहर भागे, हुआ लाखों का नुकसान

Kanpur News: औद्योगिक क्षेत्र रनियां में एक फैक्ट्री में भीषण आग लग गई, जिसमें प्लास्टिक दाने, प्लास्टिक पन्नी तथा प्रिंटिंग करने वाली मशीनें हैं,घटना के दौरान फैक्ट्री चालू थी।

Anup Panday
Published on: 20 Jun 2023 3:40 PM IST
Kanpur news: इंक मशीन में शार्ट सर्किट से लगी आग, आग देख मजदूर बाहर भागे, हुआ लाखों का नुकसान
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Short Circuit in Ink Machine, Kanpur

Kanpur News: औद्योगिक क्षेत्र रनियां में एक फैक्ट्री में भीषण आग लग गई, जिसमें प्लास्टिक दाने, प्लास्टिक पन्नी तथा प्रिंटिंग करने वाली मशीनें हैं,घटना के दौरान फैक्ट्री चालू थी। काम कर रहे मजदूर आग की लपटों को देख जान बचाने के लिए भाग खड़े हुए, दमकल कर्मियों ने कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। आग से लाखों रुपए का नुकसान है।

एक्सेस इंडिया पॉलीमर्स फैक्ट्री में लगी आग

रनिया के चिराना रोड पर एक्सेस इंडिया पॉलीमर्स फैक्ट्री है, जिसमें प्लास्टिक के दाने से प्लास्टिक की पन्नी बनाई जाती है। और प्रिंटिंग होती थी। मंगलवार को काम हो रहा था,उसी दौरान इंक प्रिंटिंग मशीन में अचानक शॉर्ट सर्किट से आग लग गई। धीरे धीरे आग ने अपना रूप ले लिया,आग को देख सुपरवाइजर बृजेंद्र सिंह, गौरव सिंह ने सहयोगियों के साथ आग बुझाने के उपकरण से काबू करने का प्रयास किया लेकिन प्लास्टिक दान,प्लास्टिक पन्नी तथा कच्चे माल में आग लगने से फैल चुकी थी,देखते ही देखते आग ने विकराल रूप ले लिया। आग को देख मजदूर व अन्य कर्मी बाहर की तरफ भाग खड़े हुए, घटना की जानकारी मलिक मोहम्मद अफजल, मोहम्मद नसीम को दी, घटना की जानकारी पर फायर व रनियां पुलिस मौके पर पहुंची,माती फायर स्टेशन से तीन गाड़ी घटना स्थल पर पहुंच गई, जहां दमकल कर्मियों ने करीब एक घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका,प्लास्टिक होने के चलते कई घंटे तक आग से धुआं उठता रहा,

देर रात कर रहे थे 10 मजदूर काम

सुपरवाइजर बृजेंद्र सिंह ने बताया कि लगभग 10 मजदूर काम कर रहे थे। कोई जनहानि नहीं हुई है, वहीं मालिक ने कहा कि आग से कितना क्या नुकसान हुआ है,ये बताना मुश्किल है, इस संबंध में मुख्य अग्निशमन अधिकारी सुरेंद्र सिंह ने बताया कि प्रथम दृष्टया शॉर्ट सर्किट से आग लगने की बात सामने आई है,इनके पास फायर की एनओसी नहीं है, उन्होंने बताया कि फैक्ट्री अभी शुरुआती दौर में है,जिसका ट्रायल चल रहा था। फिर भी मामले की छानबीन की जा रही है।

बिना एनओसी के चल रही गई फैक्ट्री

औद्योगिक क्षेत्रों में जमीन मालिकों ने अपनी बिल्डिंग खड़ी कर किराए पर दे दी है, जिसमें एक नहीं तीन तीन फैक्ट्रियां छोटे-छोटे ग्रुप में खुली हुई है जिसमें ना तो कोई सरकारी परमिशन न ही फायर की एनओसी होती है,घटना के बाद ही प्रशासन इनके दस्तावेज चेक करता है, जिसमें कोई रिकार्ड नहीं मिलता,फिर भी इन फैक्ट्री मालिक पर कार्यवाही नहीं होती है।

Anup Panday

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