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Lucknow News: नगर निगम ने IAS, PCS अफसरों का काटा चलान, बिना लाइसेंस के श्वान पालने वालों पर कार्रवाई
Lucknow News: नगर निगम की एक टीम ने ऐसे लोगों के खिलाफ मुहिम शुरू की और पालतू कुत्ते टहला रहे मालिकों से रजिस्ट्रेशन दिखाने को कहा। निगम की इस काईरवाई की जद में IAS – PCS अफसर भी आई। आम लोगों के साथ-साथ उनका भी चलान कटा।
Lucknow News: हाल फिलहाल में पालतू कुत्तों द्वारा लोगों पर हमले की कई घटनाएं सामने आ चुकी हैं। लंबे समय से पेट डॉग्स की हरकतों के लिए उनके मालिकों को जवाबदेह बनाने की मांग होती रही है। राजधानी लखनऊ में भी श्वान मालिकों पर जवाबदेही तय करने के खातिर पालतू जानवरों का रजिस्ट्रेशन अनिवार्य कर दिया गया है। लेकिन लोगों ने नगर निगम के इस फरमान को हल्के में लिया। जिसके बाद निगम ने ऐसे लोगों के खिलाफ कार्रवाई शुरू कर दी है।
आम लोग तो क्या जिम्मेदार पद पर आसीन लोगों ने भी नगर निगम के आदेश को ठेंगा दिखाते हुए अपने पालतू जानवरों का रजिस्ट्रेशन नहीं करवाया। गुरूवार सुबह को नगर निगम की एक टीम ने ऐसे लोगों के खिलाफ मुहिम शुरू की और पालतू कुत्ते टहला रहे मालिकों से रजिस्ट्रेशन दिखाने को कहा। निगम की इस काईरवाई की जद में IAS – PCS अफसर भी आई। आम लोगों के साथ-साथ उनका भी चलान कटा।
11 लोगों का कटा चलान
नगर निगम की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक, गुरूवार सुबह को गोमती नगर, हजरतगंज, गोखले मार्ग समेत शहर के अलग-अलग इलाकों में अभियान चलाया गया। इस अभियान के दौरान टीम को 11 लोग ऐसे मिले जिन्होंने अपने पालतू कुत्ते का रजिस्ट्रेशन नगर निगम में नहीं करवाया था। इन श्वान मालिकों से रजिस्ट्रेशन फीस के अलावा 5 हजार रूपये का जुर्माना भी वसूला गया। सभी से कुल 46 हजार रूपये की वसूली हुई।
लखनऊ में कितने हैं पालतू जानवर
लखनऊ नगर निगम के मुताबिक, शहर में ऐसे लोगों की संख्या 8 हजार के करीब है, जिन्होंने कुत्ता या बिल्ला पाल रखा है। इनमें से 2 हजार लोगों ने ही अपने पालतू जानवरों का रजिस्ट्रेशन नगर निगम में कराया है। शेष 6 हजार का कोई रिकॉर्ड निगम प्रशासन के पास नहीं है। बार-बार अपील किए जाने के बावजूद लोगों की उदासीनता को देखते हुए निगम ने आखिरकार सुबह-सुबह चेकिंग करने का अभियान शुरू किया है। नगर निगम के अपर नगर आयुक्त एके राव ने कहा कि सभी जोन में इस अभियान को सख्ती से चलाया जाएगा।
कितना है रजिस्ट्रेशन शुल्क ?
लखनऊ नगर निगम ने पालतू कुत्तों के लिए रजिस्ट्रेशन की फीस तय कर रखी है। अगर आपका श्वान देसी नस्ल का है तो आपको 200 रूपये रजिस्ट्रेशन फीस देनी होगी, वहीं कुत्ता विदेशी नस्ल का है तो 400 रूपये देना होगा। नगर निगम में रजिस्टर्ड कोई पालतू कुत्ता अगर किसी को काटता है तो मालिक पर मुकदमा नहीं होगा। लेकिन अगर वो पंजीकृत नहीं है तो इस सूरत में मालिक पर मुकदमा दर्ज होगा।