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इमरान 'तालिबान का ऑफिस' खोलना चाहते थे, अब इंडिया की मुश्किलें बढेंगी

Rishi
Published on: 26 July 2018 9:11 PM IST
इमरान तालिबान का ऑफिस खोलना चाहते थे, अब इंडिया की मुश्किलें बढेंगी
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नई दिल्ली: पाकिस्तान में इमरान खान पीएम की कुर्सी से कुछ ही क़दमों की दूरी पर हैं। इमरान पर इस चुनाव के पहले से ही सेना की कठपुतली होने के आरोप लगते रहे हैं। पीएम बनने के बाद इंडिया के साथ वो कैसे पेश आने वाले हैं। इसकी बानगी आज उनके पहले भाषण में देखी जा चुकी है, जब उन्होंने कश्मीर राग अलापा। इलेक्शन कैम्पेनिंग के समय भी इमरान इंडिया को घसीटते रहे।

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कर चुके हैं पीएम मोदी की तारीफ

इमरान ने चुनावी रैली में पीएम मोदी के बारे में कहा कि कुछ भी हो बंदा तो ईमानदार है, नहीं तो उसके भी विदेशों में पैसे होते बैंक अकाउंट होता।

निशाने पर नवाज, हमला इंडिया पर

इमरान ने अपने चुनावी कैम्पेन को धर्म, इंडिया और नवाज पर ही केन्द्रित रखा था। उन्होंने कई बार कहा कि इंडिया ने नवाज के साथ मिल सेना को कमजोर किया है।

इमरान ने आरोप लगाया कि 'मोदी के प्रति नरम रवैया' अपना कर नवाज कारोबारी हितों को आगे बढ़ाने के लिए काम कर रहे थे।

इमरान ने कहा कि, शरीफ ऐसे इंटरनेशनल एजेंडा के एजेंट हैं, जिसका उद्देश्य पाकिस्तान को बदनाम करना है।

मोदी पर हमलावर होते हुए उन्होंने अपनी रैलियों में कहा मोदी कश्मीर का मामला अपने तरीके से हल करना चाहते हैं, तो वह उनकी भूल है।

16 मई 2018 को पूर्व क्रिकेटर ने नवाज शरीफ पर हमला बोलते हुए कहा कि वह मोदी की भाषा बोल रहे हैं।

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आतंकियों के हिमायती इमरान

मानवाधिकार रक्षा के नाम पर इमरान ने आतंकवादियों के विरुद्ध ऑपरेशन का देश भर में विरोध किया। इससे आतंकी ग्रुप्स की सहानुभूति इमरान को मिली। इमरान को देश में तालिबान खान कहा जाता है। इमरान ने अपने समर्थकों से इस्‍लामिक वेलफेयर स्‍टेट का वादा किया है। तालिबान से सहानुभूति रखते हैं और उनको आतंकी नहीं बल्कि पख्तून नेता मानते हैं। इमरान पाकिस्तान में तालिबान का ऑफिस खोलने की बात भी पुरजोर तरीके से कह चुके है। तालिबानी आतंकी सामी-उल-हक के मदरसा को इमरान ने 55 करोड़ की बड़ी धनराशी दान की है। 2013 में अमेरिकी ड्रोन हमले में जब तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान का कमांडर वली-उर-रहमान मारा गया तो इमरान ने उसे 'शांति समर्थक' बताया था।

इंडिया के लिए बड़ा खतरा

इमरान के पीएम बनते ही इंडिया को कश्मीर में बड़ा बदलाव देखने को मिल सकता है। क्योंकि इसके बाद घाटी में आतंकी गतिविधियों में तेजी आने की आशंकाओं से इंकार नहीं किया जा सकता। पाक आर्मी के दुस्साहस भी बढ़ेंगे, क्योंकि जब देश का पीएम ही उसकी कठपुतली होगा तो वो उनकी हां में हां ही मिलाएगा। सबसे बड़ी बात ये है कि इमरान की भारत नीति सेना और आईएसआई के मुताबिक ही रहने वाली है।



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Rishi

Rishi

आशीष शर्मा ऋषि वेब और न्यूज चैनल के मंझे हुए पत्रकार हैं। आशीष को 13 साल का अनुभव है। ऋषि ने टोटल टीवी से अपनी पत्रकारीय पारी की शुरुआत की। इसके बाद वे साधना टीवी, टीवी 100 जैसे टीवी संस्थानों में रहे। इसके बाद वे न्यूज़ पोर्टल पर्दाफाश, द न्यूज़ में स्टेट हेड के पद पर कार्यरत थे। निर्मल बाबा, राधे मां और गोपाल कांडा पर की गई इनकी स्टोरीज ने काफी चर्चा बटोरी। यूपी में बसपा सरकार के दौरान हुए पैकफेड, ओटी घोटाला को ब्रेक कर चुके हैं। अफ़्रीकी खूनी हीरों से जुडी बड़ी खबर भी आम आदमी के सामने लाए हैं। यूपी की जेलों में चलने वाले माफिया गिरोहों पर की गयी उनकी ख़बर को काफी सराहा गया। कापी एडिटिंग और रिपोर्टिंग में दक्ष ऋषि अपनी विशेष शैली के लिए जाने जाते हैं।

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