Nitish Kumar Bhavishyavani 2024: नीतीश कुमार 2024 के चुनाव में प्रधानमंत्री बनेंगे?, क्या कहती हैं उनकी कुंडली

Nitish Kumar Bhavishyavani 2024 Election: आने वाले चुनाव में नीतीश कुमार की कुडली में ग्रहों की स्थिति कैसी है। क्या वो प्रधानमंत्री बन सकते है, या नहीं । राजनीति में आने वाला समय में क्या परिणाम लेकर आ रहा है दिन जानिए...

Update: 2023-06-28 03:29 GMT

2024 me Nitish Kumar ka Bhavishya (2024 के चुनाव पर क्या कहती है नीतीश कुमार की कुंडली): नीतीश कुमार कुशल प्रशासक और चतुर राजनीतिज्ञ है। जो उनकी जन्म कुंडली बनाता है। नीतिश कुमार के लिए फिलहाल राहु की महादशा में केतु की अंतर्दशा है। केतु की दशा के चलते फिलहाल वो मानसिक उलझन, असहजों से गुजरेंगे। नीतीश की कुंडली में राहु और सूर्य की ऊंचाई तक पहुंचाते पहुंचाते रह जाएगा।

कुंडली में मंगल दशम भाव में पावरफुल था और उसको शनि चौथे घर से देख रहा था। जनता के प्यार के साथ नाम और ख्याति मिली। आने वाला समय सत्ता सुख तो देगा, लेकिन फिलहाल केंद्र की सत्ता से दूर रखेगा, लोकप्रियता के बावजूद सत्ता के शीर्ष पर रहने का सपना अधूरा रहेगा। जानते हैं 2024 में चुनाव के बाद कैसा रहेगा।

नीतीश कुमार की जन्मतिथि (Nitish Kumar Birth Date)

नीतीश कुमार की जन्मतिथि 1 मार्च 1951 में

समय- दोपहर 1.20 में

जन्म स्थान भक्तियारपुर, बिहार में

कुंडली की स्थिति (Nitish Kumar Kundali)

उनकी जन्मतिथि के अनुसार कुंडली में मिथुन लग्न की कुंडली में बुध और शनि का राजयोग इस कुंडली की सबसे बड़ी खासियत है। यहां लग्नेश बुध भाग्य भाव में शनि की राशि में विराजमान हैं वही शनि भाग्येश होकर चौथे भाव में बुध की राशि में विराजमान हैं।नौवें भाव के स्वामी शनि और चौथे भाव के स्वामी बुध की युति है इससे राजयोग बनता है। .ये दशा नीतिश कुमार को महत्वाकांक्षी, अनुशासित और सार्थक व्यक्तित्व बनाता है। उच्च का शुक्र मंगल के साथ विराजमान है। नीतीश कुमार की कुंडली में, सूर्य नौवें भाव में गुरू, बुध के साथ विराजमान है औ राहु कुंभ में है।

नीतीश कुमार राहु दसवें भाव में गुरु और सूर्य के साथ विराजमान है। गुरु बुध और राहु के साथ नवम भाव में विराजमान है। ऐसा व्यक्ति न्याय के रास्ते पर चलने वाला होता है।

गुरु सातवें भाव का स्वामी है। नीतीश कुमार की ये अंतर्दशा बदलाव का संकेत थी जो आरजेडी के गठबंधन का कारण बनी और वे सत्ताधीश होते रहे है।

राजनीति में अभी नीतिश कुमार की मजबूत स्थिति रहेगी। जो शनि की अंतर्दशा से प्रभावित है और शनि राजयोग है। फिलहाल नीतीश कुमार साढ़े साती के प्रभाव में है। इसलिए समय चुनौतीपूर्ण रहेगा। नीतीश कुमार की कुंडली में दसवें भाव का स्वामी बुध, चंद्र और राहु के साथ बारहवें भाव में है जो विवाद देगा। उनके लिए अच्छा नहीं है। उन्हें सत्ता में बाधाओँ का सामना करना पड़ सकता है।

2024 के चुनाव में नीतीश कुमार की राशि में प्रधानमंत्री बनने के योग ?

राहु शनि की वजह से नीतीश कुमार को थोड़ा नुकसान होगा। कुंडली में नवम भाव में राहु गुरु के साथ गुरु-चांडाल योग है, केंद्र की सत्ता अभी उनके हाथों से दूर है। राहु-केतु में नीतीश के लिए उलझने पैदा करेंगे। उनकी कुंडली में शुक्र के प्रभाव से मालव्य राजयोग बनने वाला है। जब 2024 में चुनाव का समय रहेगा तब उस वक्त शुक्र अस्त रहेगा, इसलिए मालव्य राजयोग का परिणाम उन्हें नहीं मिलेगा। गुरु भी अस्त रहेंगे। ऐसे में नीतीश के ग्रहों के चलते उनके प्रधानमंत्री बनने की उम्मीद कम ही है। नीतीश कुमार के कुंडली में सप्तम के स्वामी पर केतु का प्रभाव भविष्य में इनके पीएम बनने की कोई भी सम्भावना कम करेगा। तो आने वाले समय में इन्हे राजनीति लाभ तो मिलेगा, लेकिन शीर्ष पर पहुंचन में अभी वक्त लगेगा।

चंद्रमा नीच ,दशम भाव में उच्च के शुक्र के साथ विराजमान हैं। इस योग के कारण इनके जीवन में संघर्ष के बाद सफलता मिली। जब छठे भाव का स्वामी उच्च होकर केंद्र में विराजमान है। जो शक्तिशाली बनाता है। अगर नीतिश की कुंडली में मंगल को देखे तो बेहद बलवान है इस कारण वो शासन करने और अपनी योजनाओं और नीतियों को पूर करने में सफल रहे है।

नीतीश कुमार की कुंडली दोष से नुकसान

गुरु केन्द्राधिपत्य सप्तम भाव का कारक है। इससे गठबंधन की राजनीति और राहु केतु का प्रभाव और शनि के साथ षडाष्टक दोष होने के कारण काम नहीं कर सकते हैं।शनि और गुरु अष्टम और षष्ठम का संबंध बनने के कारण इन्हे संबंध बिगड़ जाते है। उसके बाद फिर आरजेडी के पास गए और फिर अलग हुए और फिर वर्तमान में उनके साथ है। हर नीच के चन्द्रमा और गुरु के कारण इनके साथ हो रहा है।
शनि -राहु का गोचर चौथे - छठे भाव से कार्य की अधिकता होगी और इससे सेहत में ऊंच नीच रहेगा। अक्टूबर के बाद इनके लिए समय अनुकूल नहीं है। राहु आगे इन्हे परेशान करेगा। नीतीश कुमार 2024 के चुनाव में जो भी परिणाम हो ,लेकिन उनकी लोकप्रियता में इजाफा के एक कद्दावर विपक्षी के रुप में उभरने में कानयाब हो सकते है....

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