29 March ka Rashifal: 29 मार्च को शनि का मीन राशि में प्रवेश, जानिए क्या होगा असर
29 March ka Rashifal: न्याय के कारक ग्रह शनि 29 मार्च, शनिवार, चैत्र अमावस्या तिथि को रात्रि 11.01 बजे अपनी मूल त्रिकोण कुंभ राशि से निकल कर देव गुरु बृस्पति की मीन राशि में प्रवेश करेंगे।;
rashifal news (social media)
29 March ka Rashifal: न्याय के कारक ग्रह शनि 29 मार्च, शनिवार, चैत्र अमावस्या तिथि को रात्रि 11.01 बजे अपनी मूल त्रिकोण कुंभ राशि से निकल कर देव गुरु बृस्पति की मीन राशि में प्रवेश करेंगे। वहां शनि 3 जून, 2027 को सुबह 06.05 तक रहेंगे। शनि ग्रह एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करने के लिए करीब ढाई वर्ष का समय लगाते हैं। 12 राशियां पार करने में 30 साल लगते हैं। ज्योतिष में शनिग्रह को न्यायाधिपति और कर्मफलदाता ग्रह माना जाता है। शनि का राशि परिवर्तन कुंडली में शनि की महादशा, अंतर्दशा, शनि की ढैया या साढ़ेसाती वाली राशियों लिए ज्यादा प्रभाव डालता है।
शनि के मीन राशि में प्रवेश से कर्क-वृश्चिक राशि में ढैया समाप्त हो जाएगी। सिंह-धनु राशि में ढैया प्रारंभ होगी। मकर राशि में साढ़ेसाती समाप्त हो जाएगी। मेष राशि पर साढ़ेसाती प्रारंभ होगी। कुंभ राशि पर साढ़ेसाती की तीसरी तथा मीन पर दूसरी ढैय्या चलेगी। शनि मकर, कुम्भ राशि का स्वामी होता है, तुला राशि में उच्च का तथा, मेष राशि में नीच का होता है। शनि की तृतीय, सप्तम और दशम - तीन दृष्टि होती है।
उपाय
शनि के अशुभ प्रभाव को कम करने के लिए हर शनिवार को पीपल और शमी वृक्ष की पूजा करना, शनि मन्त्र का जाप, हनुमान जी की पूजा, भगवान शिव की पूजा करनी चाहिए तथा सात मुखी रुद्राक्ष पहनना लाभदायक हो सकता है। इससे शनि दोष कम होता है। शनिवार को सरसों का तेल, काले तिल, कंबल, काली उड़द, लोहे के बर्तनों और जूते-चप्पलों का दान भी किया जा सकता है। शनि देव कर्मों का परिणाम देते हैं, अत: अच्छे कर्म करने चाहिए।
राशि प्रभाव
- मेष राशि - शनि का द्वादश भाव में गोचर, साढ़ेसाती की शुरआत होगी, व्यय बढ़ेगा, स्वास्थ का ध्यान रखें, नौकरी में ट्रान्सफर/ समस्या का सामना हो सकता है, व्यापार में अधिक परिश्रम करना होगा, यात्राएं करनी पड़ सकती हैं।
- वृषभ राशि - शनि का एकादश भाव में गोचर, आर्थिक दृष्टिकोण काफी अच्छा रहेगा। स्वास्थ, करियर हेतु अच्छा है और व्यापार में सफलता मिलेगी।
- मिथुन राशि - शनि का दशम भाव में गोचर। करियर, नौकरी, व्यपार हेतु अच्छे परिणाम, स्वास्थ ठीक रहेगा।
- कर्क राशि - शनि का नवम भाव में गोचर।शनि की अष्टम ढैया समाप्त होगी, व्यापर में चल रही परेशानी खत्म होंगी, ऋण से राहत, आर्थिक स्थिति अच्छी होगी।
- सिंह राशि - शनि का अष्टम भाव में गोचर। शनि की अष्टम ढैय्या शरू होगी, स्वास्थ, पारिवारिक संबंधों का ध्यान रखें, कार्य क्षेत्र में उतार चढ़ाव, नौकरी में ट्रांसफर, रिसर्च के कार्य में सफलता, विदेशी कंपनी से व्यापार का अवसर मिल सकता है।
- कन्या राशि - शनि का सप्तम भाव में गोचर।नौकरी, करियर में उत्तम, व्यापार में साझेदारों से मतभेद हो सकता है, कारोबार के नए अवसर मिल सकते हैं।
- तुला राशि - शनि का छठे भाव में गोचर।स्वास्थ में लाभ , आर्थिक स्थिति में सुधार , नौकरी, करियर में उन्नति, पारिवारिक सुख में वृद्धि।
- वृश्चिक राशि- शनि का छठे भाव में गोचर, शनि की ढैया से मुक्ति, कार्य बनेगे, आर्थिक क्षेत्र में सफलता, स्वास्थ की चिंता रहेगी।
- धनु राशि - शनि का चतुर्थ भाव में गोचर, ढैय्या का प्रारम्भ, व्यवसाय में सुधार, वाद विवाद से बचें, मेहनत से करियर में सफलता एवं आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
- मकर राशि - शनि का तृतीय भाव में गोचर,. करियर में सफलता, आर्थिक स्थिति मजबूत होगी. नए अवसर मिलेंगे, धन और प्रसिद्धि मिलेगी।
- कुंभ राशि - शनि का द्वितीय भाव में गोचर, आय में वृद्धि, करियर/ नौकरी में पदोन्नति,. आर्थिक लाभ , मेहनत का अच्छा परिणाम मिल सकता है.
- मीन राशि - शनि का प्रथम भाव में गोचर जीवन में तरक्की, मान-प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी, व्यक्तिगत और व्यावसायिक सफलता, आलस एवं कार्यो को टालने से बचें।