बुखार से पीडित मरीज के प्राइवेट पार्ट का किया आपरेशन, डॉक्टर की लापरवाही से युवक के पैर कटे

Update: 2018-09-25 14:44 GMT

रायबरेली: धरती के भगवान माने जाने वाले डाक्टर अगर बीमार मरीजों से अपने पैसे की हवस पूरी करने लगे तो लोगों का भरोसा डाक्टरों पर से उठने लगेगा। ऐसा ही एक मामला रायबरेली में सामने आया है। जहाँ शहर के निजी राधा कृष्ण नर्सिंग होम के डाक्टर ने बुखार से पीड़ित एक मरीज के गुप्तांग का ऑपरेशन कर दिया और उसे ठीक हुए बिना ही अस्पताल से छुट्टी दे दी। कुछ दिन बाद युवक की हालत फिर बिगड़ी उसके पैरो में सूजन हुई और परिजन उसे अस्पताल ले कर पहुंचे तो फिर उसका इलाज किया और उसकी तबियत बिगड़ी तो उसे लखनऊ रेफेर कर दिया जहाँ उसके दोनों पैर काटने पड़े। पीड़ित अपने परिवार सहित आज न्याय मांगने के लिए पुलिस अधीक्षक के पास आया।

जबरन डिस्‍चार्ज भी किया

रायबरेली जिले के मिल एरिया थाना क्षेत्र के जैतुपुर गांव के रहने वाले तीन मासूम बच्चियों के पिता अशोक की मई महीने में तबियत ख़राब हुई , परिजन उसे लेकर शहर के निजी अस्पताल राधाकृष्ण नर्सिंग होम लेकर पहुंचे। डाक्टरों ने उसके इलाज के लिए 15000 रूपये की मांग की जिसे परिजनों ने पूरा किया जिसके बाद मरीज का इलाज शुरू हुआ। नर्सिंग होम के डाक्टरों ने उसके गुप्तांग का ऑपरेशन कर उसको कुछ दिनों तक अपने यहाँ भर्ती रखा लेकिन उसकी तबियत सही नहीं हुई। कुछ दिन बाद नर्सिंग होम संचालक ने उसे जबरन डिस्चार्ज कर दिया। कुछ दिन बाद अशोक की तबियत फिर बिगड़ी , उसके पैर में सूजन आ गयी। परिजन उसे लेकर 18 मई को दुबारा पहुंचे और इस बार डाक्टरों ने उसे तीन दिन तक भर्ती रखा और फिर उसे इलाज के लखनऊ रेफेर कर दिया। लखनऊ में जाँच के बाद उसके दोनों पैर काटने पड़े। धरती के भगवान् द्वारा इलाज के नाम पर ठगे गये अशोक अब दोनों पैरो से लाचार हो चुका है। अब वह न्याय की मांग के लिए अधिकारियो के चक्कर काट रहा है।

मामले की जांच के लिए कमेटी गठित

वहीं निजी नर्सिंग होम द्वारा गलत इलाज और पैर और गुप्तांग काटे जाने की घटना से पूरे स्वस्थ्य महकमे को कठघरे में खड़ा कर दिया है। सीएमओ डॉ डी के सिंह ने इस पूरे मामले में जांच के लिए दो सर्जन और दो सहायक सीएमओ सहित चार सदस्यीय टीम का गठन किया गया है जो तीन दिनों में रिपोर्ट देगी। जिस पर सख्त कार्यवाही की जाएगी।

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