मनोरोग को गलत तरीके से दिखाते हैं ‘मेंटल है क्या’ के पोस्टर : इंडियन साइकीऐट्रिक सोसाइटी
आईपीएस ने सीबीएफसी प्रमुख प्रसून जोशी को लिखे पत्र में कहा कि उसे ‘‘कई मामलों पर’’ आपत्ति है और एकता कपूर के बालाजी मोशन पिक्चर्स की फिल्म मानसिक स्वास्थ्य देखभाल कानून 2017 की कई धाराओं का उल्लंघन करती प्रतीत होती है।
मुंबई: ‘इंडियन साइकीऐट्रिक सोसाइटी’ (आईपीएस) ने केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) को पत्र लिखकर कहा है कि कंगना रणौत और राजकुमार राव अभिनीत फिल्म ‘मेंटल है क्या’ के पोस्टर मनोरोग को गलत तरीके से पेश करते हैं।
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आईपीएस ने सीबीएफसी प्रमुख प्रसून जोशी को लिखे पत्र में कहा कि उसे ‘‘कई मामलों पर’’ आपत्ति है और एकता कपूर के बालाजी मोशन पिक्चर्स की फिल्म मानसिक स्वास्थ्य देखभाल कानून 2017 की कई धाराओं का उल्लंघन करती प्रतीत होती है।
पत्र में कहा गया, ‘‘हमें फिल्म के शीर्षक पर गंभीर आपत्ति है जिसके जरिए मनोरोग और मनोरोगियों को अपमानजनक, भेदभावपूर्ण और अमानवीय तरीके से दिखाया गया है।’’
उसने कहा, ‘‘हम फिल्म का शीर्षक तत्काल प्रभाव से बदलने की मांग करते हैं ताकि मानसिक स्वास्थ्य सेवा लेने वालों की गैरत को और नुकसान न पहुंचे।’’
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आईपीएस ने कहा कि देश के हर नागरिक के लिए मानसिक स्वास्थ्य देखभाल कानून 2017 का पालन करना आवश्यक है और मानसिक स्वास्थ्य के बारे में जागरुक होना एवं इससे जुड़ी दकियानूसी सोच को बदलना कानूनी दायित्व है।
उसने फिल्म से कानून का उल्लंघन करने वाली सामग्री हटाए जाने की भी मांग की।
(भाषा)