New Guidelines For Coaching's: गुमराह करने वाली कोचिंगों पर कसेगी लगाम, केंद्र तैयार कर रहा गाइडलाइन

New Guidelines For Coaching's: भारत में तरह तरह की कोचिंगों की भरमार है और वे सभी बढ़चढ़ कर लुभावने विज्ञापन देती हैं। जिनमें बड़े-बड़े दावे होते हैं और कोई जवाबदेही नहीं है। अब सरकार इस ट्रेंड पर लगाम कसने जा रही है।

Report :  Neel Mani Lal
Update:2024-01-10 21:53 IST

New Guidelines For Coaching's: भारत में तरह तरह की कोचिंगों की भरमार है और वे सभी बढ़चढ़ कर लुभावने विज्ञापन देती हैं। जिनमें बड़े-बड़े दावे होते हैं और कोई जवाबदेही नहीं है। अब सरकार इस ट्रेंड पर लगाम कसने जा रही है।

केंद्र सरकार कोचिंग क्षेत्र में भ्रामक विज्ञापनों को नियंत्रित करने के लिए दिशानिर्देश ला रही है। सरकार ने एक समिति का गठन किया जिसने दिशानिर्देशों का मसौदा तैयार करने के लिए निजी कोचिंग संस्थानों के मालिकों और प्रबंधन को सूचीबद्ध किया है। समिति ने असज को अपनी पहली बैठक की।

समिति ने पाया है कि दिशानिर्देश जारी करने की तत्काल आवश्यकता है और बैठक में चर्चा के अनुसार मसौदा जल्द से जल्द जारी किया जाना चाहिए। समिति के अध्यक्ष उपभोक्ता मामले विभाग के सचिव और सीसीपीए के मुख्य आयुक्त रोहित कुमार सिंह हैं, साथ ही अन्य सदस्य आयुक्त (सीसीपीए), कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग (डीओपीटी), शिक्षा मंत्रालय, राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय (एनएलयू) के अलावा दिल्ली, फिटजी, खान ग्लोबल स्टडीज और इकिगई लॉ प्रतिनिधि हैं। बैठक में लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी (एलबीएसएनएए) ने भी भाग लिया।

लगाया गया था जुर्माना

पिछले साल सितंबर में, भारत की उपभोक्ता नियामक संस्था, केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) ने झूठे दावों और भ्रामक विज्ञापनों के लिए सिविल सेवा तैयारी कोचिंग संस्थान इकरा आईएएस संस्थान के खिलाफ 1,00,000 रुपये का जुर्माना लगाया था। इसने संस्थान को भ्रामक विज्ञापन हटाने और अनुचित व्यापार प्रथाओं को रोकने का निर्देश दिया था।

रोहित सिंह कहते हैं, कि ''उपभोक्ता के हितों की सुरक्षा सीसीपीए के लिए सर्वोपरि चिंता का विषय है।' उन्होंने विशेष रूप से कोचिंग क्षेत्र में विज्ञापनों से संबंधित कुछ पहलुओं को संबोधित करने में स्पष्टता की आवश्यकता पर प्रकाश डाला। उन्होंने आगे कहा कि सीसीपीए दृढ़ता से उपभोक्ताओं के अधिकारों की रक्षा करने में विश्वास करता है और यह सुनिश्चित करता है कि उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 के प्रावधानों का उल्लंघन करने वाले किसी भी सामान या सेवाओं का कोई गलत या भ्रामक विज्ञापन न किया जाए।

सभी कोचिंगें कवर होंगी

दिशानिर्देश सभी कोचिंग संस्थानों पर लागू होंगे, चाहे वे ऑनलाइन हों या भौतिक और फॉर्म, प्रारूप या माध्यम की परवाह किए बिना सभी प्रकार के विज्ञापनों को कवर करेंगे। दिशानिर्देश में ये भी कहा जायेगा कि कोचिंग संस्थान सफलता दर या चयन की संख्या या किसी भी अन्य प्रथाओं के बारे में झूठे दावे नहीं करेंगे जो उपभोक्ता के लिए गलतफहमी पैदा कर सकते हैं या उपभोक्ता की स्वायत्तता और पसंद को नष्ट कर सकते हैं।

उपभोक्ताओं को गुमराह किया जा रहा

सीसीपीए ने देखा है कि कुछ कोचिंग संस्थान जानबूझकर सफल उम्मीदवारों द्वारा चुने गए पाठ्यक्रमों, पाठ्यक्रम की अवधि और उम्मीदवारों द्वारा भुगतान की गई फीस के संबंध में महत्वपूर्ण जानकारी छिपाकर उपभोक्ताओं को गुमराह करते हैं। सीसीपीए ने यह भी देखा कि कुछ कोचिंग संस्थान सत्यापन योग्य साक्ष्य उपलब्ध कराए बिना 100 फीसदी चयन, 100 फीसदी नौकरी की गारंटी और प्रारंभिक और मुख्य परीक्षा की गारंटी जैसे दावे करने में भी शामिल हैं।

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