चंडीगढ़: हरियाणा की बीजेपी सरकार में एक महिला आईएएस अधिकारी को डर लग रहा है। उनका दर्द जब किसी ने नहीं सुना तो एक फेसबुक पोस्ट के माध्यम से उन्होंने सोशल मीडिया पर शेयर किया। इस पोस्ट में उन्होंने एक सीनियर अधिकारी पर नोटिंग करने से रोकने की धमकी देने और हैरेसमेंट के चार्ज लगाए हैं। इस मामले में पीडि़त अधिकारी ने हर संभव दरवाजा खटखटाया है, लेकिन कोइ राहत न मिलती देख सोशल मीडिया को अपना हथियार बनाया है। यह प्रकरण सियासी गलियारों सहित ब्यूरोक्रेसी में चर्चा का विषय बना हुआ है।
11 घंटे पहले की पोस्ट, मच गया हड़कंप
आईएएस रानी नागर ने अपने फेसबुक पोस्ट पर लिखा है कि उन्होंने बीते 9 मई को हरियाणा सरकार के पशुपालन विभाग में अतिरिक्त सचिव का पद ग्रहण किया है। इसके बाद से उनका शोषण किया जा रहा है। इतना ही नहीं रानी नागर ने पशुपालन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव सुनील गुलाटी पर यौन शोषण के गंभीर इल्ज़ाम भी लगाए हैं। रानी नागर ने अपनी फेसबुक वॉल पर लिखा है कि, 'नमस्कार! मैं आप सभी को मेरे साथ हो रहे यौन शोषण के बारे में सूचित करना चाहती हूं, मैंने दिनांक 09 मई 2018 से अतिरिक्त सचिव, पशुपालन विभाग, हरियाणा सरकार, चंडीगढ़ पद का कार्यभार ग्रहण किया था। विभाग में मेरे उच्च अधिकारी श्री सुनील के गुलाटी जी, आईएएस, अतिरिक्त मुख्य सचिव, पशुपालन विभाग, हरियाणा सरकार हैं।'
'मेरे उच्च अधिकारी सुनील के गुलाटी जी एवं इनके साथियों द्वारा मेरा यौन शोषण किया जा रहा है, मैं आपके साथ कुछ पत्र साझा कर रही हूँ, जो मैंने माननीय राष्ट्रपति महोदय भारत गणराज्य कार्यालय की सरकारी वेबसाइट पर उपलब्ध ई-मेल व माननीय भारत सरकार कार्यालय की सरकारी वेबसाइट 'मेरी सरकार' पर विभिन्न तिथियों पर भेजे हैं।'
मामले के बाद तरह-तरह की चर्चाएं
आईएएस रानी नागर के पोस्ट के बाद तरह तरह की चर्चाओं का दौर शुरू हो गया है। इस मामले के बाद से समूचे हरियाणा प्रदेश में कानाफूसी शुरु हो गई है। सूत्रों की मानें तो सरकारी कार्यालयों से लेकर सोशल मीडिया तक, हर जगह यही चर्चा हो रही है कि फर्स्ट क्लास अफ़सरों से इस तरह की उम्मीद नहीं की जा सकती है। हालांकि अभी तक सुनील के गुलाटी की तरफ से किसी भी बयान का आना बाकी है, उसके बाद ही तस्वीर मुकम्मल तौर पर साफ़ हो पाएगी।