कौन है, मथुरा में मौत के तांडव का मास्टरमाइंड, क्या थी डिमांड ?

Update: 2016-06-03 10:37 GMT

मथुरा: सत्याग्रह के नाम पर सालों तक सरकार और पुलिस-प्रशासन की नाक में दम करने वाले इस शख्स का नाम रामवृक्ष यादव है। मथुरा में जारी संग्राम का ये सबसे बड़ा आरोपी है। यह यूपी के गाजीपुर का रहने वाला है।

कौन है उपद्रवियों का लीडर

-उपद्रव में शामिल तीन हजार लोगों का नेता का नाम रामवृक्ष यादव बताया जा रहा है।

-रामवृक्ष यादव बाबा जयगुरुदेव का शिष्य रह चुका है।

-जयगुरुदेव की विरासत के लिए समर्थन नहीं मिलने पर उसने अलग गुट बना लिया था।

समानांतर सरकार चला रहा था

-इसके बाद जवाहरबाग में 280 एकड़ जमीन पर कब्जा कर समानांतर सरकार चलाने लगा था।

-रामवृक्ष यादव के खिलाफ पहले से हत्‍या की कोशिश, जमीन कब्‍जा करने सहित आठ केस चल रहे हैं।

-फायरिंग के दौरान रामवृक्ष घायल हो गया। उसे पुलिस ने हिरासत में ले लिया है।

ऐसे किया 280 एकड़ जमीन पर कब्जा

-इनकी 9 सूत्रिय मांग है, जिसके लिए ये 2 साल पहले दिल्‍ली जाकर सत्‍याग्रह करने वाले थे।

-दिल्‍ली में जगह नहीं मिलने की वजह से इन्‍होंने मथुरा के जवाहर बाग में ही अपना डेरा जमा लिया।

-हालांकि, मथुरा प्रशासन ने इन्‍हें एक दिन के लिए यहां सत्‍याग्रह करने की इजाजत दी थी।

-लेकिन सत्‍याग्रहियों ने एक दिन बीतने के बाद भी यह जगह खाली करने से मना कर दिया।

-इसके बाद प्रशासन ने इन्‍हें कई बार समझाने और जगह खाली करवाने की कोशिश की, लेकिन ये नहीं मानें।

-इस दौरान इन्‍होंने कई बार समझाने गए अधिकारियों के साथ मारपीट भी की।

ये थी उपद्रवियों की अजीबोगरीब मांग

-खुद को सुभाषचंद्र बोस का अनुयायी कहने वाले ये लोग पेट्रोल और डीजल की कीमत एक रुपए लीटर करने की मांग कर रहे हैं।

-देश में सोने के सिक्कों का प्रचलन किया जाए।

-आजाद हिंद फौज के कानून माने जाएं। इसी की सरकार देश में शासन करे।

-जयगुरुदेव का मृत्यु प्रमाण पत्र दिया जाए।

-आजाद हिंद बैंक करेंसी से लेन-देन शुरू की जाए।

-खुद को सत्याग्रही कहने वाले इन उपद्रवियों की मांग है कि जवाहरबाग की 280 एकड़ जमीन 'सत्‍याग्रहियों' को सौंप दी जाए।

-'सत्‍याग्रहियों' के बीच में पुलिस कोई कार्रवाई न करे।

-देश में अंग्रेजों के समय से चल रहे कानून खत्‍म किए जाएं।

-पूरे देश में मांसाहार पर बैन लगाया जाए। मांसाहार करने वालों को सजा दी जाए।

-उपद्रवियों का नारा था, 'आजाद हिंद बैंक करेंसी से लेन-देन करना होगा, नहीं तो भारत छोड़ना होगा'।

 

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