लखनऊः बाबासाहेब भीमराव अम्बेडकर यूनिवर्सिटी में नॉनवेज पर पूरी तरह बैन लगने की सूचना के बाद मचे घमासान पर यूनिवर्सिटी प्रशासन ने अपनी सफाई दी है। आरोपों का खंडन करते हुए यूनिवर्सिटी प्रशासन ने कहा कि हॉस्टल मेस के मेन्यू में पहले से ही नॉनवेज नहीं था तो फिर उसपर रोक का कोई सवाल ही नहीं उठता है। फिर भी इस बात को लेकर एक नोटिस जारी कर दिया गया है कि मेस में नॉनवेज नहीं बनाया जाएगा।
बाहर से लेकर खा सकते हैं नॉनवेज
बीबीएयू के प्रॉक्टर कमल जयसवाल ने newztrack को बताया कि हॉस्टल परिसर में नॉनवेज पर बैन लगाने वाली बात बिल्कुल गलत है क्योंकि हॉस्टल के अंदर कोई भी बच्चा अपने रूम में बाहर से नॉनवेज लाकर खा सकता है।
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-मेस के मेनू में नॉनवेज इस वजह से नहीं है क्योंकि नॉनवेज का चार्ज ज्यादा होता और हर बच्चे के बस की बात नहीं होती है कि वो इस पैसे को दे पाए। इसी वजह से मेस में नॉनवेज नहीं है।
तो इस वजह से मेनू से गायब हुआ था नॉनवेज
-यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट ने कहा कि दो साल पहले बीबीएयू हॉस्टल के मेन्यू में नॉनवेज शामिल था।
-जिस दिन नॉनवेज बनता उस दिन खाने की क्वॉलिटी बहुत घटिया रहती थी।
-बच्चों ने इसका विरोध किया तो मेस इंचार्ज ने कहा कि नॉनवेज बनाने में उनका नुकसान होता है।
-उस दिन बच्चे ज्यादा खाना खाते हैं और पैसे नार्मल खाने का ही देते हैं।
-इसके बाद मेस के मेन्यू से नॉनवेज हटा दिया गया।
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बीमार बच्चों के लिए अलग से सुविधा
-हॉस्टल मेस में उन बच्चों को विशेष सुविधा दी जाती है जो किसी कारणवस बीमार हो जाते हैं।
-ऐसे में उन बच्चों को पूरा हक है कि वो अपना मनपसंद खाना बनवा के खा सकते हैं।
-इसे लेकर दूसरे बच्चों ने शिकायत की थी कि बच्चे मेस में नॉनवेज भी बनवाते है।
-अगर किसी बीमार बच्चे ने मेस में नॉनवेज बनवाया तो उनपर सख्त कार्रवाई होगी।