गोमती नदी पर आएगी लंदन की टेम्स जैसी फीलिंग, जारी है सौंदर्यीकरण

Update: 2016-04-02 12:05 GMT

लखनऊ: सुंदर से लंबे-लंबे पाम के पेड़, बैठने के लिए खास तरह के बेंच, साइकिल वालों के लिए साइकिल ट्रैक और पैदल चलने के लिए अलग जॉगिंग ट्रैक, खूबसूरत गमले और उनमें लगे रंगीन फूल, सामान खरीदने के लिए प्लाजा, चारों तरफ हरियाली और पार्कों के बीच लगे रंगीन फव्वारे, ये किसी विदेश में बसी नदी या किसी फिल्म के सेट का कोई सीन नहीं है बल्कि लखनऊ में बसी गोमती नदी के सुंदरीकरण की एक झलक है।

जी हां, जल्द ही आप गोमती नदी के किनारों पर सैर सपाटे का मजा ले सकेंगे। सूत्रों का कहना है कि जल्द ही नवाबों की नगरी की गोमती नदी लंदन की टेम्स नदी के जैसी दिखाई देगी। नदी में गिरने वाले नालों के गंदे पानी पर रोक लगाई जाएगी। सिंचाई विभाग कम से कम समय में गोमती रिवर फ्रंट के काम को पूरा करने का दावा कर रहा है। सिंचाई विभाग के ऊपर लगी एलईडी स्क्रीन पर गोमती रिवर फ्रंट के बारे में शाम सात बजे से रात 11 बजे तक जानकारी दी जा रही है।

नदी के किनारे लगे गमले

कहां से कहां तक होगा बदल जाएंगे नजारे

टीले वाली मस्जिद के पास बने पक्का पुल से लेकर शहीद पथ तक गोमती नदी के किनारों को संवारा जाएगा। हनुमान सेतु, लाॅमार्ट, बैकुंठ धाम और गोमती नगर के मरीन ड्राइव पर इसकी खूबसूरती का काम तेजी पर है। गमले भी लगा दिए गए हैं। 11 सौ करोड़ की लागत से बनने वाले इस प्रोजेक्ट को सिंचाई विभाग ने 11.8 किमी तक डायाफ्राम वाॅल बनाने का काम पूरा कर लिया है। अधीक्षण अभियंता के अनुसार गोमती नदी के सौंदर्यीकरण का सारा काम अक्टूबर 2016 तक पूरा कर लिया जाएगा। गोमती नदी की सफाई का काम लगातार जारी है।

हरियाली के लिए किये जा रहे इंतजाम

नालों के डायवर्जन के साथ गाद भी हटाई जाएगी

गोमती नदी में खूबसूरती पर दाग बनने वाले नालों को भी गोमती नदी में गिरने से रोका जाएगा। इसमें गिरने वाले नालों को पूरी तरह डायवर्ट किया जा रहा है। इसके अलावा नदी में दिखने वाली गाद को भी साफ करवाया जा रहा है।

इनसे बढ़ेगा नदी के किनारों का आकर्षण

- मिट्टी के गमलों के बजाय पक्के गमले लगाए गए हैं। इससे उनके टूटने फूटने का डर नहीं होगा और मिट्टी के बहने से होने वाली गंदगी कम रहेगी।

- गमलों में रंग बिरंगे फूलों के पौधे लगाए जाएंगे।

मरीन ड्राइव पर खूबसूरती बढ़ाते फूल

- साइकिल ट्रैक और जाॅगिंग ट्रैक की व्यवस्था अलग अलग रहेगी, इससे दोनों रास्तों पर गुजरने वालों को कोई दिक्कत नहीं होगी।

- छोटे बच्चों के लिए झूले लगवाए जाएंगे। रंगीन फव्वारे आकर्षण का केंद्र बनेगे।

- बोटिंग का शौक रखने वालों के लिए इंतजाम किए जाएंगे, इसके लिए नौका घाट बनवाया जाएगा।

- बैठने के लिए स्टाइलिश सीटें बनवाई जाएंगी।

- बच्चों को खेलने के लिए विशेष उपकरण लगवाए जाएंगे।

- चलने वाले ट्रैक के अगल-बगल पाम के पेड़ लगवाए जाएंगे।

खूबसूरती बढ़ाते पाम के पेड़

- योग करने वालों और खिलाड़ियों की सुविधाओं का भी ध्यान रखा जाएगा।

- पार्कों में हरियाली के लिए लाॅन बनाए जाएंगे।

- नागरिकों को पक्षियों और नदी से जोड़ने के लिए खास इंतजाम किए जाएंगे।

- 300 कारों के लिए पार्किंग बनवाई जाएगी।

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