Jhansi News: पुष्पेंद्र प्रकरण में थानेदार, दारोगा सहित दो सिपाही निलंबित
Jhansi News: झांसी पुलिस अब मानवाधिकार आयोग के खुलेआम धज्जियां उड़ा रही हैं। थाने में तीन दिनों से बंधक बनाकर रखे गए युवक ने कैंपस के अंदर चाकू मारकर गला काट लिया था।
Jhansi News: झांसी पुलिस अब मानवाधिकार आयोग के खुलेआम धज्जियां उड़ा रही हैं। इसी का जीता जागता उदाहरण उल्दन थाने में मिला है। इसी थाने में तीन दिनों से बंधक बनाकर रखे गए युवक ने कैंपस के अंदर चाकू मारकर गला काट लिया था। इस मामले में एडीजी के आदेश पर गठित की गई टीम ने जांच की। जांच में थानेदार, दारोगा व दो सिपाहियों को उक्त मामले में दोषी पाया। इसकी रिपोर्ट एसएसपी झाँसी को दी गई। देरशाम एसएसपी ने थानेदार, दारोगा व दोनों सिपाहियों को निलंबित कर दिया है।
मालूम हो कि उल्दन थाना क्षेत्र के ग्राम बिजना निवासी विनोद अहिरवार ने उल्दन थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि वह दिल्ली में परिवार के सदस्यों के साथ काम करने गया था। 18 जनवरी की रात अज्ञात चोरों ने उसके मकान का ताला तोड़कर सोने चांदी के जेवरात चोरी कर लिया। चोरी गए सामान की कीमत 80 हजार रुपया है। इसकी जानकारी मिलते ही वह लोग दिल्ली से वापस गांव आ गए थे।
पूछताछ के लिए पुष्पेंद्र को थाना बुलाया गया था
इस मामले में पुलिस ने 21 जनवरी को अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया था जबकि शक गांव में रहने वाले पुष्पेंद्र अहिरवार पर जताया था। इस मामले की विवेचना उपनिरीक्षक रामकरण चौधरी कर रहे थे। विवेचक ने पूछताछ के लिए पुष्पेंद्र को थाना बुलाया था। पूछताछ के पहले वह बाथरुम जाने की बात कहकर गेट पर गया। वहां चाकू मार लिया जिससे वह घायल हो गया। उपचार के लिए उसे मेडिकल कालेज लाया गया था। अब हालात में काफी सुधार आया है।
उधर, अपर पुलिस महानिदेशक कानपुर जोन आलोक कुमार ने घटना को गंभीरता से लिया था। एडीजी के आदेश पर एसपी देहात नैपाल सिंह, सीओ लाइन श्वेता सिंह के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया गया था। टीम ने सोमवार को उल्दन थाना पहुंचकर घटना की जांच की। उन्होंने ड्यूटी में तैनात पुलिसकर्मियों समेत अन्य लोगों से गहराई पूछताछ की। थाने के रिकार्ड भी चेक किए गए। आसपास के लोगों के भी बयान लिए गए थे। कई घंटे तक जांच हुई। जांच रिपोर्ट सोमवार की देररात एसएसपी को सौंप दी। जांच में थानेदार अजय सिंह भदौरिया, उपनिरीक्षक रामकरन चौधरी, सिपाही नवनीत राजपूत, रॉकी राजपूत को दोषी पाया गया। इस मामले में एसएसपी ने थानेदार, दारोगा व दोनों सिपाहियों को निलंबित कर दिया है।
पुलिस की पिटाई से क्षुब्ध होकर पुष्पेंद्र ने जान देने की है कोशिश
पुष्पेंद्र के परिजनों का कहना है कि थाने में पुलिस की पिटाई से क्षुब्ध होकर पुष्पेंन्द्र ने जान देने की कोशिश की है। परिजनों ने पुलिस से कहा है कि वह कोई कार्रवाई नहीं चाहते हैं। वह चाहते हैं कि पुष्पेंद्र का इलाज ठीक हो जाए। इसी तरह के बयान परिजनों ने जांच कमेटी को दिए हैं।
खुलेआम मानवाधिकार आय़ोग का उल्लंघन
योगी सरकार में खुलेआम मानवाधिकार आय़ोग के आदेशों का उल्लंघन किया जा रहा है। थानों में कई दिनों तक आरोपियों को रोका जा रहा हैं। पिटाई भी की जा रही हैं। पुलिस की प्रताड़ना से पुष्पेंद्र ने उक्त कदम उठाया था। जबकि आयोग के स्पष्ट आदेश हैं कि पूछताछ के लिए थाने बुलाए जाने वाले व्यक्ति को नहीं रोका जाए।
इलाइट चौकी में अजय सोनी ने लगाई थी फाँसी
बताते हैं कि नवंबर 2021 में इलाइट चौकी में कारोबारी अजय सोनी ने फाँसी लगा ली थी। कुछ दिनों बाद इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई थी। अजय को भी पूछताछ के लिए चौकी लाया गया था लेकिन, पुलिस की पिटाई से क्षुब्ध होकर अजय सोनी ने फाँसी लगा ली थी। इस मामले में तत्कालीन नवाबाद प्रभारी विजय कुमार पांडेय, मुंशी विवेक कुमार और एक अन्य सिपाही को निलंबित कर दिया गया था।